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ओवैसी का कांग्रेस पर हमला, UAPA जैसे कानून बनाने के लिए ठहराया जिम्मेदार

हाईलाइट
- ओवैसी ने लगाई कांग्रेस को फटकार
- बिल को ओवैसी ने बताया सामाजिक आडंबर
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। एआईएमआईएम सांसद असदुद्दीन ओवैसी ने बुधवार को लोकसभा में कांग्रेस को गैरकानूनी गतिविधि (रोकथाम) अधिनियम [यूएपीए] जैसे कानून बनाने के लिए दोषी ठहराया, उन्होंने कहा, चलो एक कांग्रेस नेता को इस कानून में गिरफ्तार किया जाना चाहिए, तभी उन्हें पता चलेगा।
उन्होंने यूएपीए संशोधन बिल पर बहस में भाग लेते हुए कहा, "इसके लिए मैं कांग्रेस पार्टी को दोषी मानता हूं। वे इस कानून को लाने के लिए मुख्य दोषी हैं। जब वे सत्ता में होते हैं तो वे बीजेपी से बड़े होते हैं।
ओवैसी ने भाजपा की अगुवाई वाली सरकार पर भी हमला किया और कहा कि यूएपीए विधेयक ने अनुच्छेद 14 और 21 का उल्लंघन किया जिससे न्यायिक अधिकारों को नुकसान पहुंचा।
यह विधेयक अनुच्छेद 14 और 21 का उल्लंघन करता है और मेरे विचार में, किसी को भी केवल सरकार की भावना के आधार या केवल संदेह होने पर आतंकवादी नहीं कहा जा सकता है। इसका निर्णय कानून की अदालत द्वारा किया जाना चाहिए। यह सामाजिक आडम्बर है। इस बिल में न्यायिक समीक्षा का अभाव है और मैं जानना चाहता हूं कि संसदीय संप्रभुता कहां जा रही है ?
ओवैसी के अलावा, टीएमसी सांसद महुआ मोइत्रा ने भी केंद्र पर हमला किया और कहा कि यूएपीए विधेयक बिना किसी प्रक्रिया के व्यक्तियों को आतंकवादी के रूप में नामित करना चाहता है। उनका यह भी विचार था कि यह विधेयक राज्य की शक्तियों को भी छीन लेता है और इसे संघीय, संविधान-विरोधी और जन-विरोधी भी कहा जाता है।
बता दें कि गैरकानूनी गतिविधियाँ (रोकथाम) संशोधन विधेयक, 2019 को लोकसभा में गृह मंत्रालय के मंत्री अमित शाह द्वारा 8 जुलाई को पेश किया गया था। विधेयक गैरकानूनी गतिविधियाँ (रोकथाम) अधिनियम, 1967 में संशोधन करता है। अधिनियम आतंकवाद से निपटने के लिए विशेष प्रक्रियाएँ प्रदान करता है।
अधिनियम के तहत, केंद्र सरकार एक संगठन को आतंकवादी संगठन के रूप में नामित कर सकती है यदि वह: (i) आतंकवाद के कृत्यों में भाग लेतैा है। (2) आतंकवादियों को तैयार करता है। (3) आतंकवाद को बढ़ावा देता है। (iv) अन्यथा इसमें शामिल पाया जाता है।
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ध्यान रखें की प्रॉपर्टी RERA अप्रूव्ड हो
कोई भी प्रॉपर्टी खरीदने से पहले इस बात का ध्यान रखे कि वो भारतीय रियल एस्टेट इंडस्ट्री के रेगुलेटर RERA से अप्रूव्ड हो। रियल एस्टेट रेगुलेशन एंड डेवेलपमेंट एक्ट, 2016 (RERA) को भारतीय संसद ने पास किया था। RERA का मकसद प्रॉपर्टी खरीदारों के हितों की रक्षा करना और रियल एस्टेट सेक्टर में निवेश को बढ़ावा देना है। राज्य सभा ने RERA को 10 मार्च और लोकसभा ने 15 मार्च, 2016 को किया था। 1 मई, 2016 को यह लागू हो गया। 92 में से 59 सेक्शंस 1 मई, 2016 और बाकी 1 मई, 2017 को अस्तित्व में आए। 6 महीने के भीतर केंद्र व राज्य सरकारों को अपने नियमों को केंद्रीय कानून के तहत नोटिफाई करना था।