राहुल का कैंडल मार्च : प्रियंका से धक्का-मुक्की, चिल्लाकर कहा- घर चले जाओ
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। उन्नाव गैंगरेप और कठुआ रेप-मर्डर केस के खिलाफ गुरुवार रात को कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने इंडिया गेट पर कैंडल मार्च निकाला। राहुल के इस कैंडल मार्च में प्रियंका गांधी वाड्रा और रॉबर्ट वाड्रा समेत कई कांग्रेसी नेता-कार्यकर्ता शामिल हुए। इस दौरान राहुल और प्रियंका के साथ कुछ कार्यकर्ताओं ने धक्का-मुक्की भी की। जिसके बाद प्रियंका काफी गुस्सा हो गई और चिल्लाकर कार्यकर्ताओं से कह दिया कि "जिसे धक्का देना है, वो घर चले जाए।" इंडिया गेट पर राहुल ने कहा कि "आज महिलाओं को घर से बाहर निकलने में डर लग रहा है, सरकार को इनके लिए कुछ करना चाहिए।"
पति और बेटी के साथ पहुंची थीं प्रियंका
राहुल गांधी के इस कैंडल मार्च में प्रियंका अपने पति रॉबर्ड वाड्रा और बेटी के साथ पहुंची थीं। इस मार्च में हजारों की संख्या में कार्यकर्ता शामिल हुए, जिस वजह से भीड़ काफी बढ़ गई। भीड़ के कारण प्रियंका बाहर नहीं निकल पा रहीं थीं। इतना ही नहीं प्रियंका भीड़ को कोहनी मारते हुए आगे बढ़ रहीं थीं। इस दौरान उनकी बेटी भी भीड़ में फंस गई और रोने लगी। जिसके बाद प्रियंका ने अपनी बेटी को भीड़ से बाहर निकाला और उसे चुप कराया। इसके बाद भी जब पानी सिर से ऊपर जाता दिखा, तो प्रियंका का गुस्सा देखने को मिला। प्रियंका ने गुस्से में कार्यकर्ताओं से कहा कि "आप यहां क्या करने आए हैं और क्या कर रहे हैं। अब आपको साथ चलना है तो चलिए। और जिसे धक्का मारना है वो शांति से घर चला जाए।"
इंडिया गेट पर Priyanka Gandhi Vadra से कांग्रेस के ही कार्यकर्ताओं ने बदसलूकी की। नाराज प्रियंका वाड्रा ने एक कार्यकर्ता को कोहनी मारी। #JusticeforAsifa pic.twitter.com/wki08MTscA
— Chandra Prakash (@CPism) April 12, 2018
राहुल के साथ भी हुई धक्का-मुक्की
राहुल गांधी के एक ट्वीट पर हजारों कार्यकर्ता रात को इंडिया गेट पहुंच गए और कैंडल मार्च में शामिल हुए। इस दौरान प्रियंका ही नहीं, बल्कि खुद राहुल को भी धक्का-मुक्की का सामना करना पड़ा। इसके बाद स्पेशल प्रोटेक्शन ग्रुप (एसपीजी) की टीम ने राहुल को भीड़ से बाहर निकाला। हालांकि कुछ देर बाद राहुल वापस आए और लोगों से बातचीत की। मार्च खत्म होने के बाद भी भीड़ इतनी थी कि राहुल को कार की छत पर बैठकर वहां से जाना पड़ा।
कैंडल मार्च में राहुल ने क्या कहा?
कैंडल मार्च को संबोधित करते हुए कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने कहा "देश में महिलाओं के खिलाफ एक के बाद एक जो घटनाएं हो रही हैं, हत्या की, बलात्कार की, हिंसा की, उसके खिलाफ हम खड़े हैं। हम चाहते हैं कि सरकार उसके खिलाफ कार्रवाई करे। आज हिंदुस्तान की महिलाओं को बाहर निकलने से डर लग रहा है। हम चाहते हैं कि सरकार इन समस्याओं का हल निकाले, ताकि भारत की महिलाएं शांति से जी सकें।" इसके आगे राहुल ने कहा कि "ये राजनीतिक नहीं, बल्कि राष्ट्रीय मसला है। ये हमारी महिलाओं का मामला है। यहां पर सब पार्टी के लोग खड़े हैं। आम जनता और महिलाएं भी खड़ी हैं। मेरा सिर्फ इतना कहना है कि देश में महिलाओं के खिलाफ जो अत्याचार हो रहे हैं, सरकार को उसके खिलाफ कुछ करना चाहिए।"
Like millions of Indians my heart hurts tonight. India simply cannot continue to treat its women the way it does.
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) April 12, 2018
Join me in a silent, peaceful, candlelight vigil at India Gate at midnight tonight to protest this violence and demand justice.
राहुल ने अपने ट्वीट में क्या कहा?
कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी ने गुरुवार रात 9:39 पर अपने ऑफिशियल ट्विटर हैंडल पर कैंडल मार्च निकालने की जानकारी दी। उन्होंने अपने ट्वीट में लिखा "लाखों भारतीयों की तरह आज की रात मैं भी दुखी हूं। आज जिस तरह से महिलाओं के साथ व्यवहार किया जा रहा है, उसे बर्दाश्त नहीं किया जा सकता। इस हिंसा और न्याय की मांग के लिए मेरे साथ शांतिपूर्ण कैंडल मार्च में इंडिया गेट पर शामिल हों।"
क्या है कठुआ रेप-मर्डर केस?
दरअसल, 10 जनवरी को जम्मू-कश्मीर के कठुआ जिले की हीरानगर तहसील के रसाना गांव से एक 8 साल की बच्ची अगवा हो गई थी। इस बच्ची के साथ कई दिनों तक रेप किया गया और बाद में उसकी हत्या कर दी गई। गांव के जंगलों में बच्ची की लाश पड़ी मिली थी। क्राइम ब्रांच की चार्जशीट के मुताबिक, बच्ची को अगवा करके गांव के एक धार्मिक स्थल में रखा गया था, जहां उसे बार-बार नशा दिया और कई बार रेप किया गया। बच्ची को अपनी हवस का शिकार बनाने के बाद आरोपियों ने पहले बच्ची का गला घोंटा और बाद में उसके सिर पर पत्थर मार कर उसकी हत्या कर दी।
क्या है उन्नाव गैंगरेप केस?
उन्नाव गैंगरेप केस पिछले साल जून का है। दरअसल, उत्तर प्रदेश के उन्नाव जिले के माखी गांव में रहने वाली एक नाबालिग लड़की को पिछले साल 4 जून को गांव से अगवा कर लिया गया था। इस मामले में पीड़िता और उसके परिवार ने गैंगरेप का आरोप बांगरमऊ सीट से बीजेपी विधायक कुलदीप सिंह सेंगर और उसके साथियों पर लगाया। पीड़िता का आरोप है कि वो पिछले एक सालों से हर जगह दरवाजा खटखटा रही है, लेकिन किसी ने मदद नहीं की। पीड़िता का कहना है कि जब उन्होंने आरोपी विधायक के खिलाफ शिकायत दर्ज करवानी चाही, तो उन्हें धमकाया गया और उल्टा उसके पिता पर ही झूठा केस लगा दिया गया। इसके बाद पीड़िता के पिता को पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया और कथित तौर पर उसके पिता की मौत पुलिस कस्टडी में हो गई। जिसके बाद ये मामला और बढ़ गया। इतना ही नहीं पीड़िता और उसके परिवार ने सीएम योगी आदित्यनाथ के घर के बाहर जान देने की भी कोशिश की।
Created On :   13 April 2018 9:24 AM IST