UP: योगी सरकार ने दी बाबा रामदेव के फूड पार्क को मंजूरी
- उत्तर प्रदेश कैबिनेट ने योग गुरु बाबा रामदेव के पतंजलि फूड पार्क के प्रोजेक्ट को मंजूरी दे दी है।
- बैठक में पतंजलि फूड पार्क को जमीन देने के प्रस्ताव पर मुहर लगी।
- यूपी सरकार फूड पार्क को स्थापित करने के लिए ग्रेटर नोएडा में जमीन देगी।
डिजिटल डेस्क, लखनऊ। उत्तर प्रदेश कैबिनेट ने योग गुरु बाबा रामदेव के पतंजलि फूड पार्क के प्रोजेक्ट को मंजूरी दे दी है। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट की बैठक में पतंजलि फूड पार्क को जमीन देने के प्रस्ताव पर मुहर लगी। यूपी सरकार फूड पार्क को स्थापित करने के लिए ग्रेटर नोएडा में जमीन देगी।
मेगा परियोजना के लिए पतंजलि आयुर्वेद, हरिद्वार को प्रदान की जा रही विशेष सुविधाएं एवं रियायतें अब मेमर्स पंतजलि फूड एंड हर्बल पार्क नोएडा प्रा.लि. को भी प्रदान की जाएंगी।भूमि की सबलीज की सुविधा के साथ ही भूमि आवंटन दर में प्रचलित आवंटन दर से 25% की छूट प्रदान की जाएगी। #UPCabinet pic.twitter.com/xiXJXELGCH
— CM Office, GoUP (@CMOfficeUP) June 19, 2018
सीएम योगी की अध्यक्षता में लोकभवन में कैबिनेट की बैठक हुई। बैठक के बाद यूपी सरकार के प्रवक्ता सिद्धार्थ नाथ सिंह ने बताया कि, कैबिनेट ने बाबा रामदेव के फूड पार्क को ग्रेटर नोएडा में जमीन देने के प्रस्ताव को मंजूरी दे दी है। इसके साथ ही 11 अन्य प्रस्तावों पर भी बैठक में मुहर लगी है।
फूड पार्क के लिए ग्रेटर नोएडा में जमीन देगी यूपी सरकार
यूपी सरकार 6 हजार करोड़ रुपये की लागत से बनने वाले इस फूड पार्क को ग्रेटर नोएडा में जमीन देगी। इसमें बड़ा निवेश होगा, जिससे 10 हजार से ज्यादा लोगों को रोजगार मिलेगा। पतंजलि आयुर्वेद में पतंजलि मेगा फूड पार्क भी शामिल किया गया है।
पूर्व सीएम अखिलेश यादव ने पतंजलि फूड पार्क का किया था शिलान्यास
गौरतलब है कि तत्कालीन मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने 2016 में नोएडा में यमुना एक्सप्रेस-वे औद्योगिक विकास प्राधिकरण में पतंजलि फूड पार्क का शिलान्यास किया था। यूपी सरकार ने पतंजलि आयुर्वेद को यमुना एक्सप्रेस-वे पर 425 एकड़ से अधिक जमीन फूड और हर्बल पार्क की स्थापना के लिए दी थी। जिसके बाद पतंजलि की तरफ से यमुना एक्सप्रेस-वे प्राधिकरण को फूड पार्क के लिए भूमि हस्तांतरित करने की अपील की थी, लेकिन जमीन का आवंटन कैबिनेट के फैसले से हुआ था, इसलिए आवंटित जमीन के किसी भी हिस्से का अलग हस्तांतरण भी कैबिनेट से ही हो सकता था।
आचार्य बालकृष्ण की चेतावनी के बाद हरकत में आई यूपी सरकार
वहीं आचार्य बालकृष्ण ने चेतावनी दी थी कि यूपी सरकार की उदासीनता के कारण पतंजलि इस परियोजना को कहीं और ले जाएगी। कैबिनेट के फैसले के बाद अब यमुना एक्सप्रेस-वे अथॉरिटी में पतंजलि को आवंटित 425 एकड़ जमीन में से एक हिस्सा पतंजलि फूड एवं हर्बल पार्क के नाम आवंटित होगा।
Created On :   20 Jun 2018 11:50 AM IST