मल्लिकार्जुन खड़गे का बड़ा दांव, गहलोत-पायलट को साथ में लाने की 'चुनावी चाल', क्या है हाईकमान का प्लान

मल्लिकार्जुन खड़गे का बड़ा दांव, गहलोत-पायलट को साथ में लाने की चुनावी चाल, क्या है हाईकमान का प्लान
  • गहलोत-पायलट को साथ में लाने की कवायद
  • भाजपा को घेरने की क्या है रणनीति?
  • राजस्थान फतह करने की कांग्रेस की 'प्लानिंग'

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। कर्नाटक विधानसभा चुनाव में बेहतर प्रदर्शन करने के बाद कांग्रेस पार्टी आत्मविश्वास से लबरेज नजर आ रही है। जिसको देखते हुए पार्टी राजस्थान विधानसभा चुनाव की तैयारियों में जुट गई है। इस साल के आखिर में होने वाले चुनाव को देखते हुए पार्टी हाईकमान ने अहम बैठक बुलाई है। इसके अलावा राजस्थान कांग्रेस में जिस तरह दो फाड़ नजर आ रही है। इस खाई को भरने के लिए कांग्रेस के शीर्ष नेतृत्व जल्द से जल्द समाधान करने के मूड में है ताकि प्रदेश के विधानसभा चुनाव में एक बार फिर जीत हासिल की जा सके।

दरअसल, कांग्रेस पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे राजस्थान कांग्रेस के नेताओं के साथ बैठक करने वाले हैं। जिनमें प्रदेश के तमाम नेता मौजूद रहने वाले हैं। साथ ही पार्टी के राष्ट्रीय स्तर के नेता भी इस बैठक में भाग लेंगे। जानकारी के मुताबिक, खड़गे ने मूल रूप से इस बैठक में कांग्रेस पार्टी के कद्दावर नेता और प्रदेश के पूर्व डिप्टी सीएम सचिन पायलट को बैठक में भाग लेने के लिए कहा है। साथ ही इस बैठक में राजस्थान के सीएम अशोक गहलोत भी मौजूद होने वाले हैं। सूत्रों के मुताबिक, मल्लिकार्जुन खड़गे दोनों नेताओं में चल रहे गतिरोध को लेकर बड़े ही चिंतित हैं। खड़गे ने निर्णय लिया है कि जल्द से जल्द दोनों नेताओं में सुलह करानी होगी ताकि पार्टी को इसका खामियाजा आगामी विधानसभा चुनाव के नतीजों से न उठाना पड़े।

बैठक का क्या है उद्देश्य?

मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, कांग्रेस आलाकमान ने राजस्थान कांग्रेस के नेताओं की बैठक 26 मई को दिल्ली में बुलाई है। जिसमें राजस्थान कांग्रेस के दो बड़े चेहरे मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और पूर्व डिप्टी सीएम सचिन पायलट शामिल होने वाले हैं। इसके अलावा बैठक में सीएम गहलोत और पायलट गुट के नेता भी हिस्सा लेने वाले हैं। खबरें की मानें तो, इस बैठक का उद्देश्य पायलट-गहलोत को एक करने का है ताकि दोनों नेताओं में बेहतर संबंध बन सके। जिससे पार्टी को चुनाव में फायदा मिलेगा। वहीं इस बैठक में राजस्थान कांग्रेस के प्रदेशाध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा भी मौजूद होने वाले हैं, जो मल्लिकार्जुन खड़गे को अपना रिपोर्ट कार्ड सौंपेंगे।

खड़गे गहलोत सरकार से काम काज का ब्योरा मांगेंगे

गहलोत-पायलट विवाद के अलावा इस बैठक में सरकार के कामकाज पर भी चर्चा होगी। जानकारी के मुताबिक, खड़गे अशोक गहलोत से सरकार द्वारा किए गए काम काज का ब्योरा मांगेंगे और सरकार द्वारा किए गए किस काम को जनता में ले जाने से पार्टी को फायदा मिलेगा, इस पर भी चर्चा करेंगे। खड़गे गहलोत से उनके मंत्रियों द्वारा किए गए बीते साढ़े चार साल का रिपोर्ट कार्ड भी मांगेंगे। जिसके हिसाब से ही पार्टी आगे की प्लानिंग तैयार करेगी। खबरें ऐसी भी हैं कि खड़गे गहलोत और पायलट की मौजूदगी में दोनों नेताओं से सारी कड़वाहट भूलने और विधानसभा चुनाव की तैयारियों में जुटने की बात कह सकते हैं ताकि भाजपा को विस चुनाव में बड़ी मात दी जा सके।

रंधावा ने गहलोत-पायलट पर क्या कहा?

वहीं इस पूरे मामले पर कांग्रेस पार्टी के दिग्गज नेता और राजस्थान के एआईसीसी प्रभारी एसएस रंधावा ने कहा कि, यह बैठक इस साल के चुनाव को देखते हुए हो रहा है ताकि पार्टी कर्नाटक विधानसभा चुनाव जैसे शानदार प्रदर्शन कर सके। इस बैठक में किसी तरह की व्यक्तिगत बातचीत नहीं होगी, केवल चुनाव को लेकर चर्चा होने वाली है। पायलट एवं गहलोत को लेकर जब उनसे सवाल पूछा गया तो उनका कहना था कि ये दोनों नेता प्रदेश के केवल एकमात्र नेता नहीं हैं। इन दोनों के अलावा राजस्थान में और भी नेता हैं जिनसे बातचीत हो रही है।

साथ आएंगे गहलोत-पायलट?

दिल्ली में पार्टी हाईकमान की बैठक शुरू होने से पहले राजनीतिक गलियारों में चर्चाएं तेज हो गई हैं कि क्या इस मीटिंग के बाद गहलोत-पायलट साथ आएंगे? सियासत के जानकारों का कहना है कि, पार्टी हाईकमान की ये अच्छी पहल है। लेकिन देखना होगा 26 मई के बैठक के बाद दोनों नेता साथ में दिखे जाते हैं या नहीं। राजनीतिक विश्लेषकों का कहना है कि, कोशिश अच्छी है लेकिन पिछले कुछ दिनों में जिस तरह पायलट ने अपनी ही सरकार के खिलाफ धरना प्रदर्शन से लेकर अनशन एवं यात्रा तक मोर्चा खोला, वो सारी बातें गहलोत को याद होंगी। जो बेहतर संबंध करने में बड़ा रोड़ा पैदा कर सकती है।

Created On :   25 May 2023 5:12 AM GMT

Tags

और पढ़ेंकम पढ़ें
Next Story