कर्नाटक में पीएम के दौरे से पहले सड़क के काम में गड़बड़ी पर 2 इंजीनियर निलंबित

2 engineers suspended for disturbances in road work ahead of PMs visit in Karnataka
कर्नाटक में पीएम के दौरे से पहले सड़क के काम में गड़बड़ी पर 2 इंजीनियर निलंबित
कर्नाटक कर्नाटक में पीएम के दौरे से पहले सड़क के काम में गड़बड़ी पर 2 इंजीनियर निलंबित

डिजिटल डेस्क, बेंगलुरू। कर्नाटक सरकार ने शुक्रवार को बृहत बेंगलुरु महानगर पालिका (बीबीएमपी) से जुड़े दो इंजीनियरों को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की 20 जून को बेंगलुरु यात्रा के लिए किए गए घटिया सड़क निर्माण को लेकर निलंबित कर दिया।

बेंगलुरू नागरिक निकाय, बीबीएमपी और बेंगलुरु विकास प्राधिकरण (बीडीए) द्वारा सड़कों का घटिया निर्माण करने के बाद भाजपा सवालों के घेरे में आ गई थी। पीएमओ ने इस मुद्दे पर मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई के कार्यालय से भी स्पष्टीकरण मांगा है।बीबीएमपी ने इंजीनियरों को नोटिस जारी कर मामले की जांच की थी। जांच में घटिया काम साबित हुआ। सहायक कार्यकारी अभियंता ए. रवि और सहायक अभियंता आई.के. विश्वास को जांच के बाद निलंबित कर दिया गया।

बेंगलुरु विश्वविद्यालय परिसर में मरियप्पनपाल्या मेन रोड के लिए किया गया सड़क का काम इतना घटिया था कि सड़क की परत हाथ से ही हट जा रही है।पार्टी के अंदरूनी सूत्रों ने पुष्टि की कि पीएम मोदी इस खबर से परेशान हैं। वह काम को लेकर भी चिंतित थे, क्योंकि पार्टी आगामी विधानसभा चुनावों के मद्देनजर एक साफ छवि बनाने की कोशिश कर रही है।

मामले की गंभीरता को देखते हुए मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई ने बीबीएमपी आयुक्त को निर्देश दिया था कि वह प्रधानमंत्री मोदी के शहर के दौरे से ठीक पहले बनाई गई सड़क के गड्ढे की जांच कराएं।मोदी के बीएएसई परिसर का उद्घाटन करने के दौरे से कुछ दिन पहले ही डॉ. बीआर अंबेडकर स्कूल ऑफ इकोनॉमिक्स (बीएएसई) के पास सड़क का निर्माण किया गया था।

कर्नाटक उच्च न्यायालय ने बेंगलुरु की नागरिक एजेंसियों की आलोचना करते हुए कहा था कि सड़कों की स्थिति में सुधार तभी होता है, जब केवल पीएम और राष्ट्रपति अक्सर बेंगलुरु जाते हैं। अदालत ने यह भी सवाल किया कि क्या एजेंसियों को अपना कर्तव्य निभाने के लिए पीएम को हर बार अलग-अलग सड़कों पर यात्रा करनी चाहिए।

बीबीएमपी ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की हालिया यात्रा से पहले राज्य की राजधानी में 14 किलोमीटर सड़कों के कायाकल्प के लिए 23 करोड़ रुपये खर्च करने को लेकर आलोचना की। डामर की सड़कों में कई स्थानों पर दरारें आ गई हैं और कुछ हिस्सों में सड़कें भी धंस गई हैं, जिससे जनता परेशान है।

अधिकारियों ने केंगेरी से कोम्मघट्टा (7 किमी), मैसूरु रोड (0.15 किमी), हेब्बल फ्लाईओवर (2.4 किमी), तुमकुरु रोड (0.90 किमी) और बेंगलुरु विश्वविद्यालय परिसर (3.6 किमी) में सड़कें बनाई थी। बीबीएमपी ने पीएम मोदी के दौरे से पहले मैदानों, फिक्स स्ट्रीट लाइट, पेंट की हुई सड़कों और कर्बों की भी मरम्मत की। बारिश के बीच युद्धस्तर पर काम किया गया। सूत्रों ने कहा कि ठेकेदारों ने पीएम के दौरे से पहले सड़कों के निर्माण के दौरान कथित तौर पर सभी दिशा-निर्देश हवा में उड़ा दिए।

आरोप है कि इमल्शन की जगह मिट्टी के तेल का इस्तेमाल किया गया, जिससे लागत काफी कम हो जाती है और कोलतार, (जिसे 110 से 140 डिग्री तापमान पर रखना पड़ता है) को 90 डिग्री से कम तापमान पर रखा गया। सूत्रों ने कहा कि जिम्मेदार इंजीनियर, (जिन्हें काम की अच्छे से देख-रेख करनी चाहिए थी) ने आंखें मूंद लीं।

 

 

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Created On :   22 July 2022 9:00 AM GMT

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