Center Action on Sonam Wangchuk: केंद्र सरकार का सोनम वांगचुक के खिलाफ बड़ा एक्शन, लद्दाख में हिंसक प्रदर्शन के चलते NGO की विदेशी फंडिंग हुई रद्द

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। केंद्र सरकार ने लद्दाख के जलवायुक कार्यकर्ता सोनम वांगचुक के खिलाफ बड़ा एक्शन लिया है। केंद्र सरकार ने गुरुवार को वांगचुक की नॉन प्रोफिट ऑर्गेनाइजेशन का FCRA रजिस्ट्रेशन रद्द कर दिया है। बता दें, लद्दाख में बुधवार को सोनम वांगचुक के नेतृत्व में केंद्र शासित प्रदेश को राज्य का दर्जा देने की मांग के दौरान हिंसक विरोध प्रदर्शन हुआ था। इसके 24 घंटे बाद अब केंद्र सरकार ने सोनम वांगचुक के खिलाफ यह कदम उठाया है। गृह मंत्रालय ने स्टूडेंट्स एजुकेशनल एंड कल्चरल मूवमेंट ऑफ लद्दाख (SECMOL) का FCRA लाइसेंस रद्द कर दिया जो सोनम वांगचुक से जुड़ी है।
केंद्र सरकार ने सोनम वांगचुक की संस्था का रद्द किया FCRA रजिस्ट्रेशन
बता दें, हाल ही में केंद्रीय जांच ब्यूरो ने वांगचुक से जुड़े संस्थानों में FCRA (विदेशी अंशदान विनियमन) कानून के कथित उल्लंघन की जांच पड़ताल शुरू की थी। इस बारे में एक अधिकारी ने बताया कि प्रारंभिक जांच कुछ समय से चल रही थी, लेकिन इस मामले में अभी तक कोई प्राथमिकी दर्ज नहीं की गई है।
मालूम हो कि, साल 1988 में सोनम वांगचुक ने स्टूडेंट्स एजुकेशनल एंड कल्चरल मूवमेंट ऑफ लद्दाख की स्थापना की थी। इस संगठन का उद्देश्य लद्दाख में शिक्षा सुधार, पर्यावरण संरक्षण और सांस्कृतिक गतिविधियों के क्षेत्र में काम करना था। केंद्र सरकार के एक्शन से लद्दाख में राजनीतिक और सामाजिक हलचल तेज हो गई है। बता दें, वागंचुक पहले से ही लद्दाख की पर्यावरणीय और संवैधानिक मांगों को लेकर घिरे हुए हैं।
10 सिंतबर से भूख हड़ताल पर है सोनम वांगचुक
बता दें, 10 सितंबर से सोनम वांगचुक ने लद्दाख को छठी अनुसूची में शामिल करने और राज्य का दर्जा देने की मांग को लेकर भूख हड़ताल शुरू की थी। लेकिन, बुधवार को क्षेत्र में 1989 के बाद प्रदर्शन हिंसक हो गया था। इस दौरान युवाओं ने भाजपा मुख्यालय और हिल काउंसिल पर अटैक किया था। साथ ही वाहनों को आग के हवाले कर दिया था। इसके बाद पुलिस और अर्धसैनिक ने स्थिति को सामान्य करने के लिए आंसू गैस के गोले दागे। हिंसक झड़पों के दौरान चार प्रदर्शनकारियों की मौत हो गई। जबकि, 30 पुलिसकर्मी समेत 80 से ज्यादा लोग घायल हो गए।
इस दौरान गृह मंत्रालय ने बयान जारी करते हुए कहा कि सोनम वांगचुक ने अपने भड़काऊ बयानों के जरिए भीड़ को उकसाया। हिंसक घटनाओं के बीच उन्होंने अपना उपवास तोड़ा और स्थिति को नियंत्रित करने के लिए कोई व्यापक प्रयास किए बिना एम्बुलेंस से अपने गांव चले गए।
Created On :   25 Sept 2025 8:49 PM IST