दिल्ली में कांग्रेस की बैठक शुक्रवार को, क्या पायलट पर नरम पड़ रही पार्टी?

IANS News
Update: 2023-05-25 13:35 GMT
Congress meeting in Delhi on Friday: Is the party going soft on Pilot?
डिजिटल डेस्क, जयपुर। राजस्थान कांग्रेस प्रभारी सुखजिंदर सिंह रंधावा और मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के बयानों का मूल्यांकन किया जाए तो लगता है कि पार्टी ने पूर्व उपमुख्यमंत्र सचिन पायलट के प्रति नरमी बरतने का मन बना लिया है।हालांकि पायलट ने राज्य सरकार को उनकी तीन मांगें पूरी करने के लिए 15 दिनों का अल्टीमेटम दिया है। ये मांगें हैं : राजस्थान लोक सेवा आयोग को भंग कर उसका पुनर्गठन करना, पेपर लीक के कारण आर्थिक रूप से पीड़ित लाखों छात्रों को मुआवजा देना और वसुंधरा राजे के नेतृत्व वाली पिछली भाजपा सरकार के दौरान हुए कथित भ्रष्टाचार के मामलों की उच्चस्तरीय जांच कराना।

उनका 15 दिन का अल्टीमेटम मई के अंत तकका है। गहलोत सरकार फिलहाल इस मुद्दे पर चुप्पी साधे हुई है। रंधावा ने गुरुवार को चुनावी साल में कांग्रेस में अंदरूनी कलह को खत्म करने की बात कही। उन्होंने कहा, जिस पार्टी में एक्शन होगा, वहां लड़ाई-झगड़े होंगे। वह पार्टी या घर ही क्या, जहां कुछ नहीं होता। जयपुर सर्किट हाउस में मीडिया से बात करते हुए उन्होंने कहा, हम लड़ाई को नियंत्रित करेंगे। चुनावी रणनीति तय करने के लिए दिल्ली में शुक्रवार को होने वाली कांग्रेस की बैठक में सचिन पायलट के शामिल होने के सवाल पर रंधावा ने कहा, क्या आपको इसमें कोई शक है? क्या ये कांग्रेस पार्टी के नेता नहीं हैं? कल की बैठक में आपको इसका जवाब मिल जाएगा।

सचिन पायलट के अल्टीमेटम पर रंधावा ने कहा, पायलट ने कांग्रेस को कोई अल्टीमेटम नहीं दिया है। जिन्हें अल्टीमेटम दिया गया है, वह इसका जवाब देंगे। मुझे अभी तक कोई अल्टीमेटम नहीं मिला है। अगर पायलट ने कांग्रेस आलाकमान को अल्टीमेटम दिया होता, तो मैं जवाब देता। कांग्रेस ने शुक्रवार को दिल्ली में चुनावी राज्यों मध्यप्रदेश, छत्तीसगढ़ और राजस्थान के नेताओं की बैठक बुलाई है, जिसमें विधानसभा चुनाव की रणनीति पर चर्चा की जाएगी। रंधावा ने कहा कि शुक्रवार को एआईसीसी के दफ्तर में चारों राज्यों के पार्टी नेताओं की बैठक होगी। इसमें राजस्थान के सीएम अशोक गहलोत, प्रदेश पार्टी अध्यक्ष गोविंद सिंह डोटासरा सहित कई नेता व चारों सह प्रभारी भाग लेंगे। उन्होंने दावा किया कि सचिन पायलट इस बैठक में हिस्सा लेंगे।

पायलट पर रंधावा के रुख को देखकर कहा जा सकता है कि पार्टी ने पायलट के मामले में सख्त रुख के बजाय नरम रुख अपनाने का फैसला किया है। पार्टी नेताओं ने कहा कि सुलह के लिए बीच का रास्ता निकाले जाने के संकेत मिल रहे हैं। पार्टी नेताओं ने कहा कि अशोक गहलोत भी पायलट पर आक्रामक होने के बजाय एकजुट होकर चुनाव लड़ने की बात कर रहे हैं, जिसे सुलह का रास्ता निकालने के संकेत के रूप में देखा जा रहा है। पायलट के अल्टीमेटम पर गहलोत ने बुधवार को कहा था, मीडिया चीजों को बहुत ज्यादा फैलाता है, हम इसे नहीं मानते हैं। हम मानते हैं कि अगर पूरी कांग्रेस एकजुट होकर लड़ेगी तो हम चुनाव जीत जाएंगे। उन्होंने बैठक में कहा, हमारे यहां अनुशासन है, एक बार आलाकमान फैसला कर देता है, तो हर कोई उस फैसले को स्वीकार करता है। पहले सोनिया थीं, अब खड़गे साहब हैं, राहुल गांधी हैं। एक बार जब वे निर्णय लेते हैं, तो हर कोई उनके फैसले को स्वीकार करता है और अपना काम करना शुरू कर देता है।

(आईएएनएस)

अस्वीकरण: यह न्यूज़ ऑटो फ़ीड्स द्वारा स्वतः प्रकाशित हुई खबर है। इस न्यूज़ में BhaskarHindi.com टीम के द्वारा किसी भी तरह का कोई बदलाव या परिवर्तन (एडिटिंग) नहीं किया गया है| इस न्यूज की एवं न्यूज में उपयोग में ली गई सामग्रियों की सम्पूर्ण जवाबदारी केवल और केवल न्यूज़ एजेंसी की है एवं इस न्यूज में दी गई जानकारी का उपयोग करने से पहले संबंधित क्षेत्र के विशेषज्ञों (वकील / इंजीनियर / ज्योतिष / वास्तुशास्त्री / डॉक्टर / न्यूज़ एजेंसी / अन्य विषय एक्सपर्ट) की सलाह जरूर लें। अतः संबंधित खबर एवं उपयोग में लिए गए टेक्स्ट मैटर, फोटो, विडियो एवं ऑडिओ को लेकर BhaskarHindi.com न्यूज पोर्टल की कोई भी जिम्मेदारी नहीं है|

Tags:    

Similar News