Jabalpur News: एल्गिन से नर्सिंग कॉलेज शिफ्ट करने की योजना अटकी, 4 साल से अधर में प्रोजेक्ट

एल्गिन से नर्सिंग कॉलेज शिफ्ट करने की योजना अटकी, 4 साल से अधर में प्रोजेक्ट
  • लेटलतीफी: मेडिकल यूनिवर्सिटी के आगे शिफ्ट करने की थी प्लानिंग, स्वास्थ्य और राजस्व विभाग के बीच उलझा है मामला
  • अधिकारियों के अनुसार राजस्व विभाग ने 3 एकड़ जमीन के बदले 9 करोड़ रुपयों की मांग रखी है।

Jabalpur News: संभाग के सबसे बड़े शासकीय अस्पतालों में शामिल रानी दुर्गावती (लेडी एल्गिन) अस्पताल परिसर में संचालित हो रहे रानी दुर्गावती नर्सिंग कॉलेज को अन्यत्र स्थानांतरित कर बिस्तर बढ़ाने की योजना ठंडे बस्ते में चली गई है। इस प्राेजेक्ट को स्वीकृति मिले अब 4 साल हाेने को हैं, लेकिन यह प्रोजेक्ट फिलहाल कागजों में ही सिमटकर रह गया है। दरअसल नर्सिंग कॉलेज के स्थानांतरण के लिए पहले तो जमीन चिन्हित करने में वक्त लगा और अब जब जमीन चिन्हित हो गई है तो मामला स्वास्थ्य विभाग और राजस्व विभाग के बीच उलझा हुआ है।

अधिकारियों के अनुसार राजस्व विभाग ने 3 एकड़ जमीन के बदले 9 करोड़ रुपयों की मांग रखी है। इतनी बड़ी रकम के लिए भोपाल से हरी झंडी नहीं मिली है। बता दें कि नर्सिंग कॉलेज की शिफ्टिंग के लिए पहले आयुर्वेद कॉलेज से सटी हुई जमीन चिन्हित की गई थी, लेकिन अतिक्रमण के चलते यहां शिफ्टिंग संभव नहीं थी, जिसके बाद प्रशासन द्वारा मेडिकल यूनिवर्सिटी से सटी हुई मेडिकल कॉलेज की भूमि पर नर्सिंग कॉलेज खोलने का प्रस्ताव दिया गया।

12 करोड़ की लागत से बनना है नर्सिंग कॉलेज

जानकारी के अनुसार रानी दुर्गावती नर्सिंग कॉलेज को शिफ्ट करने का निर्णय करीब 4 साल पहले हाे गया था। नर्सिंग कॉलेज की बिल्डिंग के निर्माण के लिए बजट स्वीकृत करने का प्रपोजल भी एनएचएम को भेजा जा चुका है, लेकिन जब तक भूमि आवंटन नहीं होगा, तब तक बजट भी सेंक्शन नहीं होगा। बता दें कि निर्माण करीब 12 करोड़ की लागत से होगा।

एल्गिन में रहता है मरीजों का दबाव

बता दें कि एल्गिन अस्पताल में वर्ष भर मरीजों का दबाव बना रहता है। न सिर्फ शहर, बल्कि ग्रामीण अंचलों से भी प्रसूति से जुड़े गंभीर मामले यहां रेफर किए जाते हैं, जिसके चलते गई बार बेड की किल्लत भी सामने आती है। समय के साथ अस्पताल में सुविधाओं के विस्तार को लेकर कई प्रोजेक्ट्स आए, लेकिन बिस्तरों की संख्या में इजाफा नहीं हो सका है।

3 एकड़ में अस्पताल, 2 एकड़ में चल रहा कॉलेज

वर्तमान में रानी दुर्गावती नर्सिंग कॉलेज, अस्पताल के करीब 2 एकड़ क्षेत्र में संचालित हो रहा है, जबकि अस्पताल परिसर ही करीब 3 एकड़ में है। कॉलेज के शिफ्ट होने के बाद एल्गिन अस्पताल के लिए बची हुई जगह उपलब्ध हो जाएगी। जिसका उपयोग अस्पताल में नए वार्ड, ओपीडी बनाने के लिए हो सकेगा। इसके अलावा आधुनिक लैब, डायग्नोसिस सेंटर, पार्किंग आदि बनाने में भी किया जा सकेगा।

नर्सिंग कॉलेज के लिए जमीन स्वीकृत नहीं हुई है, जिस जगह का चुनाव हुआ था, उसके लिए राजस्व विभाग द्वारा 9 करोड़ रुपयों की मांग की गई थी, जिसकी सूचना भोपाल भेज दी गई थी। अभी इस पर निर्णय नहीं हुआ है।

-डॉ. संजय मिश्रा, सीएमएचओ

500 बिस्तरों तक जानी है क्षमता

एल्गिन अस्पताल में 122 पलंग स्वीकृत हैं, जिन्हें बढ़ाकर 220 बिस्तरों के साथ संचालित किया जा रहा है।

नए वार्ड बनने से बिस्तरों की संख्या बढ़ेगी। इसे 500 बिस्तरों का अस्पताल बनाने की तैयारी है।

Created On :   31 May 2025 4:43 PM IST

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