Jabalpur News: मूंग-उड़द की फर्जी खरीदी दिखाकर पौने दो करोड़ का चूना लगाने वालों से होगी वसूली

मूंग-उड़द की फर्जी खरीदी दिखाकर पौने दो करोड़ का चूना लगाने वालों से होगी वसूली
  • कलेक्टर ने आरआरसी जारी करने कृषि विभाग को दिए निर्देश
  • जांच दल ने पाया कि ई-उपार्जन पोर्टल के अनुसार 12928 क्विंटल मूंग और 8734 क्विंटल उड़द ऑनलाइन खरीदी की गई थी।

Jabalpur News: बसेडी उपार्जन केंद्र एमएलटी वेयर हाउस मजीठा में करीब 55 लोगों के फर्जी नामों से मूंग-उड़द की खरीदी दिखाकर शासन को एक करोड़ 86 लाख 63 हजार 188 रुपए का आर्थिक नुकसान पहुंचाया गया है। मामले में 10 लोगों के विरुद्ध एफआईआर दर्ज कराई गई है। यह राशि वसूल करने कलेक्टर ने आरआरसी जारी करने निर्देश दिए हैं। आराेपियों द्वारा राशि जमा न करने की स्थिति में संपत्ति कुर्क करने की कार्रवाई भी की जा सकती है। इस फर्जीवाड़े में समिति प्रबंधक से लेकर वेयर हाउस संचालक और सहकारी बैंक के प्रबंधक तक आरोपित हैं।

गौरतलब है कि सहायक संचालक कृषि रवि आम्रवंशी द्वारा 7 सितंबर को भेड़ाघाट थाना में इस आशय की रिपोर्ट दर्ज कराई गई है कि मूंग-उड़द उपार्जन के लिए सेवा सहकारी समिति बसेडी का गोदाम स्तरीय उपार्जन केंद्र एमएलटी वेयर हाउस मजीठा में बनाया गया है। समिति द्वारा 16 जुलाई से 6 अगस्त तक उपार्जन कार्य किया गया। उपार्जन में अनियमितता की शिकायत प्राप्त होने पर कलेक्टर द्वारा एसडीएम राजस्व शहपुरा की अध्यक्षता में एक जांच टीम गठित की गई।

जांच दल ने पाया कि ई-उपार्जन पोर्टल के अनुसार 12928 क्विंटल मूंग और 8734 क्विंटल उड़द ऑनलाइन खरीदी की गई थी। जबकि वास्तविक रूप से सत्यापन करने पर मूंग 11257 क्विंटल और उड़द 8434 क्विंटल भंडारित पाई गई। इसके अतिरिक्त मूंग 295 क्वि. और उड़द 410 क्वि. बोरियों में मिला।

राशि में पाया गया बड़ा फेरबदल

जांच में यह बात भी सामने आई कि किसानों की मूंग व उड़द जिसकी तुलाई की गई थी मगर ऑनलाइन फीडिंग नहीं की गई थी, किसानों को वापसी उपरांत कुल 1934 क्विंटल मूंग की राशि 1 करोड़ 67 लाख 90 हजार 988 रुपए और 253 क्विंटल उड़द की राशि 18 लाख 72 हजार 200 रुपए की कमी पाई गई है।

इस प्रकार कुल 1 करोड़ 86 लाख 63 हजार 188 रुपए की मूंग व उड़द की किसानों के नाम से फर्जी एंट्री कर उनके साथ धोखाधड़ी एवं शासन को आर्थिक क्षति पहुंचाने का प्रयास किया गया। जानकारों का कहना है कि किसी भी मामले में राशि वसूलने रेवेन्यू रिकवरी सर्टिफिकेट (आरआरसी) जारी किया जाता है। इसके बाद भी अगर संबंधित द्वारा राशि जमा नहीं की जाती है तो संपत्ति कुर्क की जाती है।

प्रकरण में संबंधितों को प्रथम दृष्ट्या आरआरसी जारी करने के निर्देश दिए गए हैं। इसके बाद अगली कार्रवाई की जाएगी।

-राघवेंद्र सिंह, कलेक्टर

Created On :   19 Sept 2025 6:24 PM IST

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