महिला पर ठगी का आरोप बिखर गया परिवार, अनाथ हुए बच्चे

a woman suicide during police interrogation in a fraud case
महिला पर ठगी का आरोप बिखर गया परिवार, अनाथ हुए बच्चे
महिला पर ठगी का आरोप बिखर गया परिवार, अनाथ हुए बच्चे

डिजिटल डेस्क.नागपुर। हंसता-खेलता परिवार देखते ही देखते ऐसा बिखरा की घर के बच्चों के सिर से माता-पिता का साया ही उठ गया। वाक्या ठगी से जुड़ा है।  ठगी के आरोप में घिरी महिला से पूछताछ के दौरान पुलिस ने इस तरह परेशान किया कि त्रस्त महिला ने सुसाइड कर लिया। महिला के पति की डेढ़ वर्ष पूर्व एक एक्सीडेंट में मौत हुई थी। घटना प्रताप नगर थानांतर्गत हुआ है। महिला पर नौकरी के नाम पर दस लाख रुपए गबन करने का आरोप था। आकस्मिक मृत्यु का प्रकरण दर्ज किया गया है। पुलिस ने उसके घर से सुसाइड नोट बरामद किया है। 

बेहोशी की हालत में मिली
स्वावलंबी नगर स्थित अनुराधा अपार्टमेंट निवासी सारिका प्रदीप धुमाल (38) मंगलवार की सुबह करीब साढ़े आठ बजे के दौरान अपने घर में ही बेहोशी की हालत में पाई गई। पुत्री निमिषा और पुत्र सप्तक ने उसे इस हालत में देखकर मौसी संगीता गुणवंत उबाले (साईनाथ नगर निवासी) को फोन पर सूचना दी। उसके बाद सारिका को निजी अस्पताल में ले जाया गया, मगर इलाज के पूर्व ही चिकित्सकों ने उसे मृत घोषित कर दिया।  

आर्थिक तंगी से जूझ रही थी
सारिका की बड़ी बहन संगीता ने बताया कि सारिका पति के साथ जॉब प्लेसमेंट का आफिस चलाती थी। डेढ़ वर्ष पूर्व उसके पति की सड़क हादसे में मौत हो गई। इससे सारिका टूट गई और तनाव में जी रही थी। आर्थिक तंगी होने से निमिषा का कालेज में दाखिला भी नहीं हो पाया। पुत्री की पढ़ाई छूटने से तनाव पहले से भी ज्यादा बढ़ गया था। 

प्रकरण इस प्रकार है 
मानेवाड़ा निवासी त्रिभुवनदास गाढवे नामक व्यक्ति ने सारिका पर दस लाख रुपए के गबन का आरोप  लगाया है।  दरअसल त्रिभुवनदास ने अपने पुत्र की नौकरी के लिए सारिका को रुपए दिए थे। इस बारे में उसकी बहन का कहना है कि सारिका उससे तीन से साढ़े तीन लाख रुपए ही लेने की बात कहती थी। रुपए का लेन-देन करते वक्त सारिका ने त्रिभुवनदास को कोरा स्टैंप पेपर हस्ताक्षर करके दिया था। त्रिभुवनदास ने स्टैंप पेपर पर रकम बढ़ा दी थी। सात से दस लाख रुपए उस पर लिखे गए थे। कुछ दिनों पूर्व त्रिभुवनदास ने प्रताप नगर थाने में सारिका के खिलाफ नौकरी की आड़ में दस लाख रुपए का गबन करने की शिकायत की थी। प्रकरण की जांच उपनिरीक्षक संदीप येरपुडे कर रहे थे। पूछताछ के लिए तीन दिन पहले सारिका को थाने भी बुलाया गया था। इसके पूर्व सारिका ने त्रिभुवनदास को सात लाख रुपए का चेक दिया था, जो बाउंस हो गया। इससे भी सारिका पर दबाव बढ़ गया था। संगीता का कहना है कि मामला लेन-देन से जुड़ा होने के कारण पुलिस को प्रकरण कोर्ट में भेज देना चाहिए था।, मगर उसे लगातार परेशान किया जा रहा था। त्रस्त होकर

पूछताछ के लिए बुलाया था 
शिकायत होने से सिर्फ उसे पूछताछ के लिए बुलाया गया था। महिला की मानसिक स्थिति पहले से ही खराब थी। तनाव के चलते उसने आत्मघाती कदम उठाया होगा।  
-शिवाजी गायकवाड, निरीक्षक प्रताप नगर थाना

 

Created On :   31 Jan 2018 11:59 AM IST

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