नागपुर में होगी बेडरोल की धुलाई, साकार होगी मैकेनाइज्ड लॉन्ड्री

Bedroll washing will be done in Nagpur, Mechanized Laundry will be realized
नागपुर में होगी बेडरोल की धुलाई, साकार होगी मैकेनाइज्ड लॉन्ड्री
एसी कोच नागपुर में होगी बेडरोल की धुलाई, साकार होगी मैकेनाइज्ड लॉन्ड्री

डिजिटल डेस्क, नागपुर। ट्रेनों के एसी कोच में बेडरोल फिर से उपलब्ध कराने की घोषणा के बाद मैकेनाइज्ड लॉन्ड्री उपक्रम को शुरू करने की कवायद तेज कर दी गई है। यह उपक्रम कोरोना संक्रमण के कारण 2 साल से ठंडे बस्ते में पड़ा था। अधिकारियों की मानें, तो अप्रैल महीने तक इसे शुरू किया जाने वाला है। इसके शुरू होने के बाद नागपुर मंडल के बेडरोल यहीं पर साफ किए जाएंगे।
पार्टनरशिप में होगा काम : वर्ष 2011-12 के रेल बजट में देशभर में मैकेनाइज्ड लॉन्ड्री बनाने की घोषना की गई थी। इसमें नागपुर का शामिल था। इस लॉन्ड्री में रेलवे में उपयोग होने वाले बेडरोल आदि की धुलाई की जाएगी। इसके शुरू होने से विदर्भ के बेरोजगार युवकों को रोजगार भी मिलेगा। 15 करोड़ रुपए का रेलवे ने इसके लिए प्रावधान रखा था। इसकी टेंडर प्रक्रिया हुई थी, लेकिन लागत ज्यादा रहने से कोई भी सामने नहीं आ रहा था। अब इसे पार्टनरशिप में चलाया जाएगा। 

लॉन्ड्री के लिए जर्मनी से मशीनें मंगाई गई थीं, लेकिन वर्ष 2020 में कोरोना संक्रमण शुरू होने से यह साकार नहीं पाया। संक्रमण फैलने के डर से ट्रेनों में बेडरोल की सप्लाई बंद थी, इसलिए यह प्रकल्प ठंडे बस्ते में चला गया था। हाल ही में रेल मंत्रालय की ओर से गाड़ियों में बेडरोल फिर से उपलब्ध  करने की घोषणा से इसे शुरू करने की कवायद तेज कर दी गई है। 

इस तरह मिलेगा फायदा : नागपुर मंडल की कुल 6 गाड़ियों के बेडरोल निजी लॉन्ड्री के माध्यम से धोए जाते हैं। प्रति बेडरोल करीब 12 रुपए के हिसाब से 3250 बेडरोल धोए जाने से रोजाना रेलवे को 40 हजार रुपए खर्च करने पड़ते हैं। रेलवे की खुद की लॉन्ड्री शुरू होने से रेलवे को आर्थिक बचत होगी।

Created On :   13 March 2022 3:38 PM IST

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