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सेंडबोआ सांप की तस्करी करते 3 आरोपी गिरफ्तार, वन विभाग की कार्रवाई
डिजिटल डेस्क,आर्णी/यवतमाल। दो मुंहे सांप की तस्करी की फिराक में घूम रहे तीन आरोपियों को वन विभाग ने गिरफ्तार किया है। बताया जा रहा है कि शनिवार को आर्णी के जवला ग्राम में मालन सांप पकड़कर उसकी तस्करी होने की खुफिया जानकारी वन विभाग को मिली। जिसके आधार पर वनविभाग के कर्मियों ने सुबह पहले गुप्त रूप से जांच की। दोपहर में जवला ग्राम में दिगंबर देवराव कांबले के घर में जब वनकर्मी पहुंचे तो उन्हें प्लास्टिक के डिब्बे में दोमुंहा मालन सांप दिखाई दिया। दिगंबर देवराव कांबले, लखन गणेश मानकर, अमोल राजु भगत को सांप के साथ गिरफ्तार किया। तीनों आरोपियों पर मामला दर्ज किया गया है। सांप की कीमत 5 से 6 लाख रुपए होने का अनुमान लगाया जा रहा है।
पूरे मामले का पर्दाफाश होगा
वन परिक्षेत्रधिकारी ने सी. एस. गावंडे ने कहा कि इन तीनों से कड़ी पूछताछ की जा रही है। जल्दी ही खरीदने वालों का पता चलेगा । इस मामले से अंतरराज्य गिरोह होने का अंदेशा है। शीघ्र ही पर्दाफाश किया जाएगा।
नागपुर में घूस लेते पूर्व मेयर गिरफ्तार
इधर, नागपुर में विवादों में रहने वाले पूर्व मेयर उमरेडकर व एक सिपाही को एसीबी ने रंगे हाथों रिश्वत लेते पकड़ा है। कार्रवाई मानकापुर थाने के सामने ही एसीबी ने की है। मानकापुर थाने में दोनों आरोपियों के खिलाफ प्रकरण दर्ज कर उन्हें गिरफ्तार किया गया है।
जमीन खरीदी-बिक्री का मामला
मिली जानकारी के अनुसार आरोपी विजय रामभाऊ झोलदेव मानकापुर थाने में नायक पुलिस सिपाही के पद पर तैनात है, जबकि दूसरा आरोपी पूर्व महापौर देवराव गंगाधर उमरेडकर है। शुक्रवार की दोपहर करीब 12 बजे मानकापुर थाने के सामने एसीबी (भ्रष्टाचार प्रतिबंधक विभाग) के दस्ते ने 25 हजार रुपए की रिश्वत शिकायतकर्ता सुरेश (काल्पनिक नाम) से स्वीकार करते हुए सिपाही विजय और पूर्व महापौर देवराव उमरेडकर को पकड़ा है। रिश्वत की रकम पूर्व महापौर की मध्यस्थता और उन्हीं के हाथों से स्वीकार की गई थी, तभी एसीबी ने छापा मारा।
मामला दबाने मांगी घूस
अमरावती रोड स्थित मंगलधाम सोसायटी निवासी सुरेश ने मौजा गोधनी स्थित जमीन खरीदी-बिक्री के करारनामे में किसी व्यक्ति को धोखा दिया है, जिसकी शिकायत मानकापुर थाने में की गई थी। उसी शिकायत के संबंध में सुरेश को 6 नवंबर को सिपाही विजय ने पूछताछ के लिए थाने बुलाया था। थाने जाने पर विजय ने पहले तो उस पर लंबी कार्रवाई करने की धौंस जमाई, उसके बाद कार्रवाई नहीं करने के बदले उससे 40 हजार रुपए की रिश्वत मांगी थी।
चेक बाउंस मामले में भी मिली सजा
देवराव उमरेडकर के नाम नागपुर शहर का सबसे कम समय के लिए महापौर बनने का रिकार्ड है। भाजपा के टिकट पर वे चुनकर आए थे। 5 मार्च 2007 से 16 जून 2007 तक महापौर रहे। जाति वैधता प्रमाणपत्र अवैध पाए जाने पर उन्हें इस्तीफा देना पड़ा था। उमरेडकर का विवाद से चोली-दामन का साथ भी रहा। चेक बाउंस मामले में उन्हें कोर्ट ने सजा भी सुनाई है। उनके इन कारनामों से पार्टी की छवि भी खराब हुई है।
Created On :   11 Nov 2017 6:47 PM IST