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स्कूल में पॉलिथिन ओढ़कर बैठे रहे मासूम, जानिए इसकी वजह

डिजिटल डेस्क, छिंदवाड़ा/परासिया। विकासखंड के स्कूलों में शिकायतों के बाद भी व्यवस्थाएं नहीं बन पा रही है। कहीं स्कूल भवन जर्जर अवस्था मेें हैं, तो कहीं छत से बरिश का पानी बच्चों पर गिर रहा है। ऐसा ही कुछ हाल कन्हरगांव जन शिक्षा केंद्र के शासकीय प्राथमिक शाला चिखलाडोंमरी में देखने को मिला। जहां स्कूल की कक्षाओं में बच्चे पॉलिथिन ओढ़कर पढ़ाई करते नजर आए हैं।
भास्कर टीम बारिश में शिक्षा की स्थिति का जायजा लेने अचानक प्राथमिक शाला चिखलाडोंमरीपंहुची। इस स्कूल में बच्चों के बैठने के लिए तीन कमरे बने हैं। तीनों कमरों में पहली कक्षा से पांचवी कक्षा तक बच्चें 22 अध्यनरत हैं। लेकिन बारिश होते ही इन कमरों की छत टपकने लगती है। भास्कर टीम जब स्कूल में पहुंची तो बारिश हो रही थी। और कमरों में बच्चे पॉलिथिन की चादर ओढ़कर बैठे हुए थे। स्कूल में दो शिक्षक पदस्थ है और वे भी इसी हालात में बच्चों को पढ़ाने के लिए मजबूर हैं।
नए भवन के निर्माण पर उठ रहे सवाल
ग्राम चिखलाडोंमरी का स्कूल भवन नया भवन है और कुछ साल पहले ही बनाया गया है। इस भवन की पूरी छत टपक रही है। -जब बारिश शुरू हो जाती है बच्चों को एक ही कमरें में बुलाकर बैठा लिया जाता है। और पढ़ाई बंद कर दी जाती है। नए शाला भवन के यह हाल भवन निर्माण पर सवालिया निशान खड़ेे कर रहे हैं।
जन शिक्षक ने किया निरीक्षण
कन्हरगांव जनशिक्षा केन्द्र के जन शिक्षक वीरेन्द्र शर्मा बुधवार को प्राथमिक शाला पहुंचे। शाला में 16 बच्चों की उपस्थिति थी वहीं एक शिक्षक के प्रशिक्षण में जाने की जानकारी मिली है। इस दौरान एक कमरे में पांचों कक्षाओं के छात्र- छात्राएं पॉलिथिन आढ़कर बैठे थे। शाला के प्रधानपाठक सुरेश नागले ने बताया कि बारिश में भवन के तीनों कमरों में छत से पानी टपकता है। जिससे बारिश होने पर एक ही कमरे में कक्षा लगाकर पढ़ाई कराई जाती है। छत की मरम्मत के लिए प्रस्ताव बना कर भेजा गया है।
Created On :   31 Aug 2017 10:18 PM IST