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दैनिक भास्कर हिंदी: सोनू सूद : विलेन से ऐसे बने हीरो

हाईलाइट
- सोनू सूद : विलेन से ऐसे बने हीरो
नई दिल्ली, 3 जून (आईएएनएस)। दुनिया में कोरोनावायरस महामारी ने सबको प्रभावित किया है। चारों ओर माहौल काफी गंभीर और तनावपूर्ण है। इस बीच राहत दिलाने वाली बात यह है कि लोग एक-दूसरे की मदद करने के लिए आगे आ रहे हैं। मदद का हाथ बढ़ाने वालों में एक नाम सोनू सूद का भी है जिन्होंने फिल्मों में ज्यादातर विलेन और सहायक अभिनेता का किरदार निभाया है लेकिन इस कोरोना काल में प्रवासी मजदूरों के बीच वह हीरो बनकर उभरे हैं।
यह बात साबित होती है उनके ट्विटर अकाउंट से। सहायता के लिए दर-दर भटक रहे इन प्रवासियों के लिए बॉलीवुड अभिनेता सोनू सूद मसीहा बनकर उभरे।
सोनू अकसर फिल्मों में विलेन के किरदार में दिखते रहे हैं, लेकिन कोरोनाकाल में उन्होंने जो कर दिखाया, वह उन्हें वास्तविक जिंदगी का हीरो बनाता है। सोनू अब तक अपने प्रयास से हजारों की तादाद में मजूदरों को उनके घरों तक पहुंचा चुके हैं। इन मजूदरों की जुबां पर अब केवल एक ही नाम है और वह सोनू सूद।
ट्विटर पर लोगों ने सोनू से तमाम मदद मांगी और अभिनेता बिना हिचकिचाए उनके लिए आगे आए।
एक ने सोनू से ट्विटर पर कहा, प्लीज सर हमारी मदद कर दीजिए। उम्मीद की आखिरी किरण हैं आप। हम दो लोग मुंबई में फंसे हैं और घर जाना चाहते हैं। प्लीज सर आप से हाथ जोड़ के प्रार्थना।
सोनू ने इस पर प्रतिक्रिया देते हुए लिखा, घर जाने के लिए थोड़ा परिश्रम..अपना एड्रेस भेजने का कष्ट करें।
किसी ने बड़ी ही आस लगाए सोनू से कहा, कल से पैदल जा रहे हैं भाई, आप तो रिप्लाई नहीं कर रहे।
इस पर अभिनेता ने लिखा, अबे रुक बे।।।। पैदल जाए तेरे दुश्मन। डिटेल्स भेज।
सीआरपीएफ के एक जवान ने उनके प्रति आभार जताते हुए ट्वीट किया है, भाई आप भगवान के वह बंदे हो, जिसने सबका दिल जीत लिया है। आपने देश के फौजियों का साथ दिया। आपका धन्यवाद और ढेर सारा प्यार।
सोनू ने इन्हें जवाब देते हुए लिखा, सैल्यूट है भाई को। सही हीरो आप हो भाई।
सोनू के ट्विटर हैंडल को देखकर यह समझा जा सकता है कि वह एक सेलेब्रिटी के तौर पर नहीं, बल्कि एक आम इंसान बनकर इस दुख की घड़ी में लोगों का साथ निभा रहे हैं। आज सोनू सिर्फ एक अभिनेता नहीं, बल्कि किसी के भाई तो किसी के बेटे हैं। कोरोनाकाल में इंसानियत की जो छवि सोनू ने पेश की है, वह वाकई में काबिले तारीफ है।
भोपाल: स्कोप कॉलेज में विश्वस्तरीय प्रशिक्षण वर्कशाप की स्थापना
डिजिटल डेस्क, भोपाल। स्कोप कॉलेज ऑफ इंजीनियरिंग ने अपने छात्र -छात्राओं के भविष्य को संवारने के लिये भारत के आटोमोबाइल क्षेत्र में अग्रणी कम्पनी हीरो मोटोकार्प के साथ एक करार किया जिसमें ऑटोमोबाइल क्षेत्र में स्किल डेवलपमेंट के लिये एक विश्वस्तरीय प्रशिक्षण वर्कशाप की स्थापना संस्था के प्रांगण में की गई है। ये अपने आप में एक अद्वतीय पहल है तथा सभी अत्याधुनिक सुविधाओं से सुसज्जित है। इसमें सभी नवीनतम कम्प्यूटराइज्ड मशीन के द्वारा टू-व्हीलर ऑटोमोबाइल कार्यशाला प्रशिक्षण दिया जायेगा। इस वर्कशाप में उद्घाटन के अवसर पर कम्पनी के जनरल मैनेजर सर्विसेज श्री राकेश नागपाल, श्री मनीष मिश्रा जोनल सर्विस हेड - सेंट्रल जोन, श्री देवकुमार दास गुप्ता - डी जी एम सर्विस, एरिया मैनेजर श्री राम सभी उपस्थिति थे। साथ ही संस्था के वरिष्ठ अधिकारी डॉ. अजय भूषण, डॉ. देवेंद्र सिंह, डॉ. मोनिका सिंह, अभिषेक गुप्ता आदि उपस्थित थे। संस्था के सभी शिक्षकगण तथा छात्र-छात्रायें उपस्थित थे।
कार्यक्रम की शुरूआत सरस्वती वंदना से की गई , डॉ. मोनिका सिंह ने अतिथियों का संक्षिप्त परिचय दिया। डॉ. अजय भूषण ने सभी का स्वागत किया और बताया कि आने वाला समय कौशल विकास आधारित शिक्षा का है। कर्यक्रम में आईसेक्ट ग्रुप के कौशल विकास के नेशनल हेड अभिषेक गुप्ता ने ग्रुप के बारे मे विस्तार से बताया कि किस तरह हमेशा से आईसेक्ट ग्रुप ने कौशल विकास को हमेशा प्राथमिकता से लिया है। कार्यक्रम में एएसडीसी के सीईओ श्री अरिंदम लहिरी ऑनलाइन आकर सभी को बधाई दी तथा छात्र - छात्राओं को उनके उज्जवल भविष्य के लिये शुभाषीस भी दी।
कार्यक्रम में डॉ. देवेंद्र सिंह ने बताया कि कौशल विकास आधारित शिक्षा सनातन काल से भारतवर्ष में चली आ रही है मध्यकालीन समय में कौशल विकास पर ध्यान नही दिया गया परंतु आज के तेजी से बदलते हुए परिवेश में विश्व भर में इसकी आवश्यकता महसूस की जा रही है। इसी आवश्यकता को देखते हुये स्कोप कॉलेज ऑफ इंजीनियरिंग में कुछ ही समय में विभिन्न क्षेत्रों के सात सेंटर ऑफ एक्सीलेंस की स्थापना की गई है जो की विभिन्न क्षेत्रों मे छात्र- छात्राओं के कौशाल विकास मे महत्वपूर्ण भूमिका निभायेंगे।
भोपाल: सीआरपीएफ की 93 महिला पुलिसकर्मियों की बुलेट यात्रा का रबीन्द्रनाथ टैगोर विश्वविद्यालय में हुआ आगमन
डिजिटल डेस्क, भोपाल। इंडिया गेट से जगदलपुर के लिए 1848 किमी की लंबी बुलेट यात्रा पर निकलीं सीआरपीएफ की 93 महिला पुलिसकर्मियों का रबीन्द्रनाथ टैगोर विश्वविद्यालय की राष्ट्रीय सेवा योजना इकाई ने विश्वविद्यालय परिसर में आगमन पर भव्य स्वागत किया। लगभग 300 स्वयंसेवकों तथा स्टाफ सदस्यों ने गुलाब की पंखुड़ियों से पुष्प वर्षा करते हुए स्वागत किया। वहीं उनके स्वागत में एन एस एस की करतल ध्वनि से पूरा विश्वविद्यालय परिसर गुंजायमान हो उठा। इस ऐतिहासिक बाइक रैली में शामिल सभी सैन्यकर्मियों का स्वागत विश्वविद्यालय के डीन ऑफ एकेडमिक डॉ संजीव गुप्ता, डिप्टी रजिस्ट्रार श्री ऋत्विक चौबे, कार्यक्रम अधिकारी श्री गब्बर सिंह व डॉ रेखा गुप्ता तथा एएनओ श्री मनोज ने विश्वविद्यालय की तरफ से उपहार व स्मृतिचिन्ह भेंट कर किया। कार्यक्रम की भूरि-भूरि प्रशंसा करते हुए डिप्टी कमांडेंट श्री रवीन्द्र धारीवाल व यात्रा प्रभारी श्री उमाकांत ने विश्वविद्यालय परिवार का आभार किया। इस अवसर पर लगभग 200 छात्र छात्राएं, स्वयंसेवक व एनसीसी कैडेट्स समस्त स्टाफ के साथ स्वागत में रहे मौजूद।
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