यूएन महासभा में एकतरफा जबरदस्ती के उपायों को हटाने का आह्वान किया चीन ने

China calls for removal of unilateral coercive measures in UN General Assembly
यूएन महासभा में एकतरफा जबरदस्ती के उपायों को हटाने का आह्वान किया चीन ने
दुनिया यूएन महासभा में एकतरफा जबरदस्ती के उपायों को हटाने का आह्वान किया चीन ने
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डिजिटल डेस्क, बीजिंग। संयुक्त राष्ट्र में चीन के स्थायी प्रतिनिधिमंडल के अंतरिम प्रबंधक ताई बिंग ने 19 अक्तूबर को 25 देशों के प्रतिनिधि के रूप में संयुक्त राष्ट्र महासभा की तीसरी समिति के मानवाधिकार मुद्दों पर आम बहस में एक संयुक्त भाषण दिया। उन्होंने अपील की कि एकतरफा जबरदस्ती के उपाय मानवाधिकारों का गंभीर उल्लंघन करते हैं और मानवीय आपदाओं को बढ़ाते हैं। इसे तुरंत और पूरी तरह से हटाया जाना चाहिए।

ताई बिंग ने कहा कि विकासशील देश इसका खामियाजा भुगत रहे हैं, साथ ही दुनिया आपस में जुड़ी हुई वैश्विक चुनौतियों का सामना कर रही है। अंतर्राष्ट्रीय समुदाय को एकजुटता और सहयोग मजबूत करने और वास्तविक व प्रभावी बहुपक्षवाद को बनाए रखने की तत्काल आवश्यकता है। एकतरफा जबरदस्ती के उपाय न केवल संयुक्त राष्ट्र चार्टर और अंतरराष्ट्रीय कानूनों के उद्देश्यों एवं सिद्धांतों का उल्लंघन करते हैं, बल्कि बहुपक्षवाद और अंतरराष्ट्रीय संबंधों के बुनियादी मानदंडों के भी खिलाफ हैं। अफसोस की बात है कि अंतरराष्ट्रीय समुदाय ने एकतरफा दंडात्मक उपायों को तत्काल हटाने का आह्वान किया, लेकिन इन अवैध उपायों के लक्षित देशों व उनके लोगों के लिए विनाशकारी और यहां तक कि घातक परिणाम भी जारी हैं। एकतरफा जबरदस्ती के उपाय और उनके द्वितीयक प्रतिबंध मौजूदा मानवीय व आर्थिक चुनौतियों को बढ़ाते हैं। इससे खाद्य, दवा, सुरक्षित पेयजल, ईंधन और बिजली आदि आवश्यक वस्तुओं व सेवाओं की भारी कमी हो रही है और स्वास्थ्य व जीवन के अधिकारों सहित मानव अधिकार नकारात्मक रूप से प्रभावित हुए हैं।

ताई बिंग ने कहा कि 25 देश जी77 और चीन द्वारा पारित नवीनतम मंत्रिस्तरीय घोषणा का स्वागत हैं। उन्होंने कहा कि 25 देशों ने एकतरफा जबरदस्ती के उपायों के लिए अपना विरोध दोहराया है। उन्होंने आह्वान किया कि संबंधित देशों को एकतरफा जबरदस्ती के उपायों को तुरंत और पूरी तरह से रद्द करना चाहिए। साथ ही भविष्य में सभी देशों को ये एकतरफा प्रतिबंध नहीं लगाने चाहिए, जो अंतरराष्ट्रीय कानून और संयुक्त राष्ट्र चार्टर के खिलाफ हैं।

यह तीसरी बार है कि चीन ने संयुक्त राष्ट्र महासभा की तीसरी समिति में समान विचारधारा वाले देशों के प्रतिनिधि के रूप में एकतरफा जबरदस्ती के उपायों को समाप्त करने का आह्वान किया है। चीन, एंटीगुआ व बारबुडा, बेलारूस, बोलीविया, वेनेजुएला, कंबोडिया, कैमरून, मध्य अफ्रीकी गणराज्य, क्यूबा, उत्तर कोरिया, मिस्र, इक्वेटोरियल गिनी, इरिट्रिया, इथियोपिया, ईरान, लाओस, निकारागुआ, पाकिस्तान, रूस, फिलिस्तीन, दक्षिण सूडान, श्रीलंका, सूडान, सीरिया और जिम्बाब्वे सहित 25 देशों ने उपरोक्त संयुक्त बयान पर संयुक्त रूप से हस्ताक्षर किये।

(साभार -- चाइना मीडिया ग्रुप, पेइचिंग)

 

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Created On :   20 Oct 2022 5:31 PM IST

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