Jammu Kashmir Landslide: जम्मू-कश्मीर के हालातों को देखते हुए केंद्रीय मंत्री ने बाढ़ पर दिया ताजा अपडेट, जम्मू के अधिकांश हिस्सों में भारी बारिश का दौर रहेगा जारी

- जम्मू-कश्मीर में हुए भूस्खलन में कई लोगों ने खोई अपनी जान
- रेस्क्यू ऑपरेशन लगातार है जारी
- केंद्रीय मंत्री ने दी अहम जानकारियां
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। जम्मू-कश्मीर में लगातार भारी बारिश का दौर देखने को मिल रहा है। जम्मू-कश्मीर में बाढ़ की स्थिति देखने को मिल रही है। केंद्रीय मंत्री डॉ. जितेंद्र सिंह ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर हालातों का अपडेट दिया है। साथ ही कई अहम जानकारियां दी हैं। उन्होंने बताया है कि, जम्मू संभाग के कई सारे हिस्सों में भारी बारिश हो रही है, लेकिन अब बारिश की तेजी कम हो गई है। केंद्रीय मंत्री ने बताया है कि, तावनी नदी और चेनाब नदीं दोनों ही ऊफान मार रही हैं। साथ ही चेनाब नदी खतरे के निशान पर बह रही है। स्थानीय प्रशासन की तरफ से बाढ़ के संभावित खतरे को देखते हुए ससभी लोगों को सतर्क रहने का आदेश दिया है।
भूस्खलन से 30 लोगों की मौत
जम्मू-कश्मीर के कटरा में भूस्खलन होने से करीब 30 लोगों की मौत हो गई है। साथ ही कई लोग गंभीर रूप से घायल हैं। भूस्खलन के बाद बचाव सामग्री लेकर सी130 और आईएल 76 जम्मू पहुंचे हैं। कटरा में लगातार रेस्क्यू ऑपरेशन चल रहा है। कई लोगों को हॉस्पिटल भेज दिया गया है। साथ ही अब भी कुछ लोगों के लापता होने की भी संभावना जताई जा रही है। कठुआ में करीब 22 जवानों ने रेस्क्यू किया है। अब भी रेस्क्यू ऑपरेशन जारी है।
केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह का क्या है कहना?
जितेंद्र सिंह ने बाढ़ और बिगड़ते हालातों को लेकर जानकारी दी है। उन्होंने सोशल मीडिया एक्स पर ट्वीट किया कि, पुंछ और राजौरी जिलों को छोड़कर, पूरे जम्मू संभाग में अभी भी बारिश हो रही है, हालांकि इसकी तीव्रता कम है। साथ ही तवी नदी का जलस्तर कम हो गया है, लेकिन चिनाब नदी अभी भी खतरे के निशान के करीब बह रही है। तत्काल प्राथमिकता बिजली, पानी और मोबाइल सेवाओं की बहाली है, जिसके लिए अधिकारी रात भर लगातार काम कर रहे हैं। एसडीआरएफ, एनडीआरएफ, अर्धसैनिक बल, सेना और वायु सेना के अधिकारी नागरिक प्रशासन के साथ मिलकर काम कर रहे हैं। स्कूल और कॉलेज बंद रखने का आदेश दिया गया है, और आम जनता को अपनी सुरक्षा के लिए अनावश्यक आवाजाही से बचने की सलाह दी गई है। ऐतिहासिक माधोपुर पुल, जो 11 मई 1953 को डॉ. श्यामा प्रसाद मुखर्जी की गिरफ्तारी के बाद इतिहास का हिस्सा बन गया था। आज सुबह लगभग 3 बजे से इस पुल पर यातायात रोक दिया गया है। प्रधानमंत्री मोदी व्यक्तिगत रूप से स्थिति पर नजर रख रहे हैं और अपडेट प्राप्त कर रहे हैं।
जारी किए गए हेल्पलाइन नंबर
स्थिति से बचने के लिए ही जम्मू-कश्मीर प्रशासन ने हेल्पलाइन नंबर भी जारी किए हैं।
Created On :   27 Aug 2025 1:08 PM IST