राज्य की मांग: कारगिल और लेह में भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता, 2023 की धारा 163 के तहत निषेधाज्ञा लागू

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। 24 सितंबर को लेह में हुई हिंसा के बाद भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता, 2023 की धारा 163 के तहत निषेधाज्ञा लागू है। ज़िले में पाँच या अधिक व्यक्तियों के एकत्र होने पर प्रतिबंध है। बिना पूर्व लिखित अनुमति के कोई भी जुलूस, रैली या मार्च नहीं निकाला जा सकता। यहाँ सुरक्षाकर्मी तैनात हैं।
आपको बता दें संविधान की छठी अनुसूची के तहत लद्दाख को राज्य का दर्जा और विशेष सुरक्षा की मांग को लेकर प्रदर्शन हुए, जो बाद में हिंसक हो गए। उग्र विरोध प्रदर्शन के बाद प्रशासन ने कर्फ्यू लगाया हुआ है। कारगिल में भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता (BNS), 2023 की धारा 163 के तहत निषेधाज्ञा लागू है।
लद्दाख के एलजी कविंदर गुप्ता न्यूज एजेंसी एएनआई से बात करते हुए कहते हैं, "जो वीडियो सामने आए हैं, उनमें शांतिपूर्ण माहौल को भड़काने की कोशिश की गई थी। उसके बाद ही ऐसी कार्रवाई की गई है। हम नहीं चाहते कि हमारे युवाओं का भविष्य बर्बाद हो। इसलिए मेरा मानना है कि जो जांच चल रही है, उसमें कई बातें सामने आएंगी, कई लोगों से पूछताछ हो रही है। उसके लिए भी आदेश जारी किए जा रहे हैं (सुरक्षा बलों द्वारा कथित गोलीबारी के संबंध में)।इसमें शामिल सभी लोगों की पहचान कर ली गई है। भविष्य में ऐसी कोई भी घटना बर्दाश्त नहीं की जाएगी। मैं स्थानीय लोगों, यहाँ के हमारे जिम्मेदार लोगों, सामाजिक संगठनों, धार्मिक संगठनों से भी अनुरोध करना चाहता हूँ कि आप लद्दाख की वास्तविक परंपरा को बनाने का प्रयास करें, और प्रशासन उनके साथ खड़ा है।
गृह मंत्रालय से मिली जानकारी के अनुसार सामाजिक कार्यकर्ता सोनम वांगचुक पर नेपाल के जेन जेड जैसे आंदोलनों का उल्लेख कर जनता इसमें भी खासतौर पर युवाओं को भड़काने का आरोप है। पहले वांगचुक का अनशन, फिर भड़काउ भाषण ने भीड़ को प्रदर्शन के लिए उकसाया। जिसके बाद भीड़ ने लेह में मुख्य चुनाव अधिकारी के कार्यालय और एक राजनीतिक दल के कार्यालय पर हमला कर दिया।
Created On :   26 Sept 2025 9:00 AM IST