चीन के मुद्दे पर सभी राजनीतिक पार्टियों ने सरकार का किया समर्थन

All political parties supported the government on the issue of China
चीन के मुद्दे पर सभी राजनीतिक पार्टियों ने सरकार का किया समर्थन
चीन के मुद्दे पर सभी राजनीतिक पार्टियों ने सरकार का किया समर्थन

नई दिल्ली, 19 जून (आईएएनएस)। गलवान घाटी में 20 भारतीय जवानों के शहीद होने और भारत और चीन सीमा विवाद को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा बुलाई गई सर्वदलीय बैठक में सभी राजनीतिक दलों ने मोदी सरकार का समर्थन देने की बात कही है।

बैठक की शुरूआत में पीएम मोदी ने गलवान घाटी में शहीद हुए जवानों को श्रद्धांजलि अर्पित की। पीएम मोदी के साथ अन्य नेताओं ने भी गलवान घाटी में शहीद हुए जवानों को श्रद्धांजलि दी। इसके बाद रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने बैठक को संबोधित किया।

बैठक के दौरान रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने सभी विपक्षी नेताओं को गलवान में हिंसक झड़प के बाद के मौजूदा हालात की जानकारी दी। राजनाथ सिंह ने विपक्षी नेताओं को यह भी बताया कि भारतीय सेना किसी भी हालात से निपटने के लिए पूरी तरह से तैयार है। उन्होंने कहा कि सीमा पर सेना पूरी तरह मुस्तैद हैं।

बैठक में कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने शहीद जवानों को श्रद्धांजलि देने और उनके परिजनों के प्रति संवेदना व्यक्त करने के बाद अपनी बात शुरू की। उन्होंने सरकार पर कई सवाल उठाये।

उन्होंने कहा कि हम अब भी इस विवाद के कई अहम पहलुओं को लेकर अंधेरे में है। सोनिया गांधी ने सरकार से सवाल किया कि आखिर किस दिन लद्दाख में चीनी सैनिकों ने घुसपैठ की? सरकार को कब चीनी घुसपैठ का पता चला? क्या सरकार को 5 मई को चीनी घुसपैठ की जानकारी मिली या और पहले? क्या सरकार ने नियमित रूप से अपने देश की सीमाओं की सैटेलाइट तस्वीरें नहीं हासिल की? क्या हमारी खुफिया एजेंसियों ने एलएसी के आसपास असामान्य गतिविधियों की जानकारी नहीं दी? क्या मिल्रिटी इंटेलिजेंस ने चीनी घुसपैठ और एलएसी पर चीनी सैनिकों के जमावड़े को लेकर सरकार को अलर्ट नहीं किया? क्या सरकार इसको खुफिया तंत्र की विफलता मानती है?

बैठक में विपक्षी दलों के 20 नेता शामिल हुये। जिसमें अलग-अलग पार्टियों के अध्यक्ष शामिल हुए। सीपीआई के डी राजा ने कहा हमें अमेरिका द्वारा उनके गठबंधन से जोड़ने के प्रयासों का विरोध करने की आवश्यकता है जबकि सीपीआई (एम) के सीताराम येचुरी ने इस घटना पर दुख जताते हुए कहा कि दोनों देशों के विदेश मंत्रियो की 6 जून की वार्ता के अनुसारव्यवहार होना चाहिये। दोनो देश ऐसा कुछ नहीं करे जिससे मामला और बिगड़े। उन्होंने कहा कि जो स्टैण्ड भारत सरकार ने लिया है , हम उसका समर्थन करते हैं।

बीजू जनता दल के पिनाकी मिश्रा ने बैठक में कहा कि हम पूरी तरह से और बिना शर्त सरकार के साथ खड़े हैं। डीएमके के एमके स्टालिन ने कहा कि जब हम देशभक्ति की बात करते हैं तो हम एकजुट होते हैं। उन्होंने चीन के मुद्दे पर पीएम के हालिया बयानों का भी स्वागत किया।

टीआरएस चीफ और तेलंगाना सीएम केसीआर ने कहा कि कश्मीर पर पीएम की स्पष्टता ने चीन को नाराज कर दिया है। कश्मीर के विकास पर पीएम के जोर ने भी चीन को नाराज किया है। उन्होंने जोर देकर कहा कि पीएम के आत्मनिर्भर भारत के आह्वान ने चीन को झकझोर दिया है।

सूत्रों के अनुसार बैठक में सिक्किम क्रांतिकारी मोर्चा के प्रमुख और सिक्किम के मुख्यमंत्री प्रेम सिंह तमांग ने कहा कि हमें पीएम पर पूरा भरोसा है। अतीत में भी, जब राष्ट्रीय सुरक्षा की बात आई तब पीएम ने ऐतिहासिक निर्णय लिए।

एनसीपी प्रमुख और पूर्व रक्षा मंत्री शरद पवार ने कहा कि सैनिकों ने हथियार उठाए हैं या नहीं इसका फैसला अंतरराष्ट्रीय समझौतों से होता है। हमें ऐसे संवेदनशील मामलों का सम्मान करने की जरूरत है।

बैठक में बसपा प्रमुख मायावती ने विदेश मंत्री एस जयशंकर द्वारा दिये गये विस्तृत जानकारी की तारीफ की और कहा कि हमे चीन के साथ व्यापार और निवेश के बारे में कठोर फैसले लेने होंगे। उन्होंने कहा कि अभी राजनीति करने का समय नही है। प्रधानमंत्री जो भी इस मसले पर फैसला लेंगे हम उनके साथ है।

उधर तृणमूल कांग्रेस की अध्यक्ष और पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने कहा कि सर्वदलीय बैठक से अच्छा संदेश जाएगा कि हम हमारे जवानों के पीछे खड़े है। उन्होंने कहा कि तृणमूल इस मुद्दे पर सरकार के साथ मजबूती के साथ खड़ी है। हम लोगो को ऐसा कुछ नही करना चाहिए जिसमें चीन को गलत मैसेज जाये। हम चीन के सामने नही झुकेंगे। हमे चीन को टेलीकॉम , रेलवे और उड्डयन के क्षेत्र में नही घुसने देना चाहिए। उन्होंने कहा कि चीन हारेगा, भारत जीतेगा।

बिहार के मुख्यमंत्री और जेडीयू अध्यक्ष नीतीश कुमार ने कहा कि देश मे चीन के खिलाफ गुस्सा है। हमलोगों इस मुद्दे पर मतभेद नहीं रखना है। हम साथ साथ है।

उधर लोजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष चिराग पासवान ने शहीदो को श्रद्धांजलि अर्पित करते हुये उनके परिवारों के प्रति संवेदना प्रकट की और घायल जवानों के जल्द स्वास्थ्य होने की भी कामना की। चीन की निंदा करते हुये उन्होंने कहा की चीन की नियत में सदैव खोट रही है। एक तरफ जहां विश्व के अधिकांश देश मौजूदा महामारी के लिए चीन को जिम्मेदार मानते है, वही दूसरी तरफ भारत में घुसपैठ करने का प्रयास चीन की खराब नियत को दशार्ता है।

पासवान ने प्रधानमंत्री पर विश्वास जताते हुए कहा कि हमारे प्रधानमंत्री को आपदा को, अवसर में बदलना आता है। पूर्व में भी उन्होंने जब कहा कि शहीदों का बलिदान व्यर्थ नही जाएगा तो उन्होंने ये करके दिखाया। चिराग ने प्रधानमंत्री से आग्रह किया कि चीन से हो रहे अनावश्यक वस्तुओं के आयात पर रोक लगायी जाय।

-- आईएएनएस

Created On :   19 Jun 2020 4:01 PM GMT

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