49 प्रतिशत से अधिक लोगों ने माना, कोरोना के खतरे को बढ़ा चढ़ा कर पेश किया गया

More than 49 percent believed corona risk was exaggerated
49 प्रतिशत से अधिक लोगों ने माना, कोरोना के खतरे को बढ़ा चढ़ा कर पेश किया गया
49 प्रतिशत से अधिक लोगों ने माना, कोरोना के खतरे को बढ़ा चढ़ा कर पेश किया गया
हाईलाइट
  • 49 प्रतिशत से अधिक लोगों ने माना
  • कोरोना के खतरे को बढ़ा चढ़ा कर पेश किया गया

नई दिल्ली, 23 जुलाई (आईएएनएस)। 49 प्रतिशत लोगों का मानना है कि कोरोनावायरस खतरे को बढ़ा-चढ़ा कर पेश किया गया है, जबकि गुरुवार तक देश में कोरोना संक्रमण का मामला 12 लाख पार कर गया।

आईएएनएस-सीवोटर कोविड-19 ट्रैकर से पता चला कि 49.3 प्रतिशत लोगों का मानना है कि इस महामारी के खतरे को हौवा बनाया गया, जबकि 41.2 प्रतिशत लोग इससे इनकार करते हैं। यह पोल 16 मार्च से 22 जुलाई के बीच देशभर में 1,723 लोगों पर किया गया।

आश्चर्यजनक रूप से जब पहली बार लॉकडाउन लागू किया गया था, उस दिन अधिकतर लोगों का मानना था कि स्थिति को बढ़ाया जा रहा है। 23 मार्च को 23.53 प्रतिशत लोगों का मानना था कि यह खतरा सामान्य है, जबकि 33.1 प्रतिशत लागों का मानना था कि यह खतरा गंभीर है।

वहीं 10 दिन बाद, जब देश घरों में कैद हो गया, इस महामारी को खतरा मानने वाले लोगों की संख्या बढ़ गई। 1 जून को, जब देश अनलॉक 1.0 में प्रवेश कर रहा था, 53.2 प्रतिशत लोग ऐसा मान रहे थे।

इसबीच, अनलॉक-2.0 के पहले दिन.ऐसे लोगां की प्रतिशत में थोड़ी कमी आई, जो कि 48 प्रतिशत रहा। 22 जुलाई को हालांकि यह प्रतिशत घटकर 41.2 रह गया।

हालांकि, कोरोना को बढ़ा चढ़ा कर पेश किया गया ..ऐसा मानने वाले लोगों का ग्राफ लॉकडाउन के शुरुआत में ज्यादा था। इसमें 9 मई को कमी आई और फिर 8 जून को बाद भी कमी आई।

Created On :   23 July 2020 6:00 PM GMT

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