कर्नाटक में गठबंधन सरकार को झटका, कांग्रेस के 2 विधायकों ने सौंपा इस्तीफा
- कर्नाटक में पिछले कई दिनों से चल रहा सियासी संकट खत्म होने का नाम नहीं ले रहा है
- कांग्रेस के दो विधायकों ने सोमवार को राज्य विधानसभा से इस्तीफा दे दिया
- विधायक आनंद सिंह और रमेश जारकीहोली ने अपना त्याग पत्र सौंपा
डिजिटल डेस्क, बेंगलुरु। कर्नाटक में पिछले कई दिनों से चल रहा सियासी संकट खत्म होने का नाम नहीं ले रहा है। सोमवार को कर्नाटक में गठबंधन की सरकार को दोहरा झटका लगा है। कांग्रेस के दो विधायकों ने सोमवार को राज्य विधानसभा से इस्तीफा दे दिया। विजयनगर से कांग्रेस विधायक आनंद सिंह, बेलागवी जिले के गोकक से विधायक रमेश जारकीहोली ने विधानसभा अध्यक्ष को अपना त्याग पत्र सौंपा।
सिंह ने इस्तीफे की पुष्टि करते हुए कहा, "हां मैंने इस्तीफा दे दिया है। आज सुबह, मैंने अपना इस्तीफा सौंपा।" राज्यपाल से मिलने के बाद, आनंद सिंह ने संवाददाताओं से कहा कि उन्होंने बल्लारी में जेएसडब्ल्यू स्टील को (लगभग 3,600 एकड़) जमीन बेचने के राज्य सरकार के फैसले के विरोध में इस्तीफा दे दिया है। बता दें कि हाल ही में, सिंह ने जेएसडब्ल्यू स्टील को 3,667 एकड़ जमीन की बिक्री के खिलाफ बल्लारी में एक प्रेस कॉन्फ्रेंस आयोजित की थी जिसमें उन्होंने संकेत दिया था कि वह पद छोड़ देंगे। अनुमान है कि अब वह भाजपा में शामिल होंगे।
जब सिंह को यह बताया गया कि विधानसभा अध्यक्ष केआर रमेश कुमार ने आपके इस्तीफे की पुष्टि नहीं की है, तो सिंह ने कहा, "क्या ऐसा है? तब मैं फिर से इस्तीफा दूंगा।" विधानसभा स्पीकर ने कहा, "मुझे कोई इस्तीफा नहीं मिला है। किसी ने मुझे इस्तीफा देने के लिए मुझसे संपर्क नहीं किया।
ट्विटर पर जेडी(एस) के नेता और मुख्यमंत्री एचडी कुमारस्वामी, जो वर्तमान में अमेरिका में हैं, ने कहा कि वह राज्य में राजनीतिक घटनाक्रम से अवगत है। कुमारस्वामी ने कहा, "स्वामीजी के तत्वावधान में न्यू जर्सी में कालभैरवेश्वर मंदिर की नींव रखी जा रही है। मैं यहां से सारा घटनाक्रम देख रहा हूं। बीजेपी गठबंधन सरकार को अस्थिर करने का सपना देख रही है।"
इससे पहले जनवरी में, कर्नाटक के इगलटन रिजॉर्ट में ठहरे कांग्रेस विधायकों के बीच मारपीट हो गई थी। यह मारपीट कांग्रेस के दो विधायक आनंद सिंह और जेएन गणेश के बीच हुई थी, जिसमें आनंद सिंह घायल हुए थे। आनंद को बेंगलुरु के अपोलो अस्पताल में भर्ती कराया गया था।
बता दें कि पूर्व मुख्यमंत्री बीएस येदियुरप्पा ने कहा था कि उनकी पार्टी के नेतृत्व ने उन्हें "ऑपरेशन लोटस" में शामिल नहीं होने का निर्देश दिया है क्योंकि उन्हें उम्मीद है कि गठबंधन सरकार अपने आप गिर जाएगी। हालांकि, सिंह के इस्तीफे ने सवाल उठाए हैं कि क्या भाजपा नेतृत्व ने ऑपरेशन लोटस को फिर से शुरू कर दिया है। 12 जुलाई से विधानसभा सत्र शुरू होने वाला है। रिपोर्ट्स में कहा जा रहा कि कांग्रेस के कम से कम छह और विधायक भी अपनी पार्टी के खिलाफ बगावत करेंगे।
कांग्रेस और जनता दल (सेक्युलर) के नेतृत्व वाले गठबंधन के पास अब 117 सदस्यों का समर्थन है। इसमें कांग्रेस के 77, जेडीएस के 37, बहुजन समाज पार्टी के एक और दो निर्दलीय विधायक है। भारतीय जनता पार्टी के 105 सदस्य हैं, जबकि बहुमत का आंकड़ा 113 है।
Created On :   1 July 2019 5:25 PM IST