पवार की पार्टी में टूट के बीच क्या एक हो रहे हैं ठाकरे बंधु, इन मुलाकातों के बाद उठ रहे सवाल?

पवार की पार्टी में टूट के बीच क्या एक हो रहे हैं ठाकरे बंधु, इन मुलाकातों के बाद उठ रहे सवाल?
  • एमएनएस के नेता अभिजीत पानसे और ठाकरे ग्रुप के नेता सांसद संजय राउत की मुलाकात।
  • राज्य में 'अब एक साथ आओ' स्लोगन के बैनर देखे जा रहे हैं।

डिजिटल डेस्क,मुंबई। महाराष्ट्र में लगातार सियासी समीकरण तेजी से बदल रहे हैं। शिवसेना के बाद अब एनसीपी भी दो गुटों में बंट गयी है। भारतीय राजनीति में अहम भूमिका निभाने वाले शरद पवार का परिवार अब बिखर चुका है। महाराष्ट्र में सियासी चल रहे उठापटक के बीच अब ऐसे परिवार के एक होने की अटकलें भी तेज हो गई है जो एक-दूसरे को देखना भी पसंद नहीं करते हैं। जी हां हम बात कर रहे हैं ठाकरे परिवार की।

'अब एकसाथ आओ'

बीते कई दिनों से राज्य में 'अब एक साथ आओ' स्लोगन के बैनर देखे जा रहे हैं। इन बैनरों के माध्यम से शिवसेना (यूबीटी) के प्रमुख उद्धव ठाकरे और उनके चचेरे भाई व महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना के प्रमुख राज ठाकरे के बीच सुलह की बातें कही जा रही है। दोनों ही भाइयों के बीच सुलह की बात को हवा केवल इन बैनरों की वजह से नहीं दी जा रही इसकी एक वजह एमएनएस नेता के एक नेता और ठाकरे ग्रुप के सांसद संजय राउत की एक मुलाकात भी है।

दरअसल एमएनएस के नेता अभिजीत पानसे और ठाकरे ग्रुप के नेता सांसद संजय राउत दोनों ने एक साथ यात्रा की जिसके बाद से ही इन कयासों को हवा मिली। मीडिया रिपोर्टस की मानें तो दोनों ही नेताओं ने एक ही कार में नाहुर से प्रभादेवी तक सफर किया। अभिजीत पानसे ने नहूर में संजय राउत से मुलाकात की जिसके बाद दोनों ही नेता एक साथ प्रभादेवी स्थित मैच ऑफिस के लिए रवाना हुए।

संजय राउत के लेकर यह कहा जाता है कि वह हमेशा लिंक मार्ग से यात्रा करते हैं लेकिन आज मैच ऑफिस उनकी गाड़ी दूसरे रास्ते से गई। माना जा रहा है कि इस दौरान दोनों नेताओं के बीच लंबी चर्चा हुई है लेकिन उन्होंने सार्वजनिक टिप्पणी करने से इंकार कर दिया है।

एमएनएस के नेता पनसे से जब दोनों भाइयों के बीच सुलह के बारे में पूछा गया तो उन्होंने कहा "ठाकरे गुट और मनसे के बीच गठबंधन का फैसला मेरे जैसा छोटा कार्यकर्ता नहीं ले सकता। मेरी ऐसी कोई चर्चा नहीं हुई है। संजय राउत से मेरा निजी काम था। इसके लिए उनसे मिला।" यात्रा के बाद पनसे ने कहा कि मेरी गठबंधन को लेकर उनसे चर्चा नहीं हुई। वहीं इस मुलाकात को लेकर संजय राउत ने कोई भी टिप्पणी नहीं की है।

हालांकि कहानी यहीं खत्म नहीं हुई, एमएनएस के नेता पनसे संजय राउत से मुलाकात कर सीधे शिवतीर्थ पहुंचे जहां उन्होंने राज ठाकरे से मुलाकात की वहीं संजय राउत भी सीधे उद्धव ठाकरे से मिलने मातोश्री पहुंचे। हाल ही में हुए इन घटनाक्रमों की वजह से ही ठाकरे बंधुओं के बीच सुलह की चर्चा तेज हो गई है। माना जा रहा है कि बीएमसी चुनाव को देखते हुए दोनों के बीच सुलह हो सकती है।

हाल ही में इस मामले में जब राज ठाकरे की पत्नी शर्मिला ठाकरे से जब पूछा गया तो उन्होंने पत्रकारों से ही जवाब के बदले में सवाल पूछ लिया "आप (उद्धव और राज) एक साथ आने के बारे में क्या सोचते हैं"। शर्मिला ने दोनों भाइयों के एक होने की अटकलों को सिरे से खारिज नहीं किया है। वहीं राज ठाकरे के करीबी माने जाने वाले नंदगांवकर ने कहा, 'इसके लिए अतीत में कई प्रयास किए गए हैं।'

Created On :   6 July 2023 8:15 PM IST

Tags

और पढ़ेंकम पढ़ें
Next Story