महिला सशक्तिकरण की दिशा में कदम: मध्य प्रदेश सरकार का विजन बन रहा महिलाओं की तरक्की की राह, इतनी योजनाओं से बदल रही जिंदगी

मध्य प्रदेश सरकार का विजन बन रहा महिलाओं की तरक्की की राह, इतनी योजनाओं से बदल रही जिंदगी
  • एमपी सरकार का विजन बन रहा महिलाओं की तरक्की की राह
  • कई योजनाओं से बदल रही महिलाओं की जिंदगी
  • मुख्यमंत्री लाडली बहना योजना- आर्थिक आत्मनिर्भरता की मिसाल

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव महिलाओं को विकास की राह से जोड़ने के लिए अलग-अलग योजनाओं पर काम कर रहे हैं। साथ ही, सीएम मोहन यादव महिलाओं को आर्थिक रूप से सशक्त बनाने और उनकी सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए प्रदेश में कई योजनाएं चला रहे हैं। ये योजनाएं न केवल महिलाओं के जीवन को बेहतर बना रही हैं, बल्कि समाज में उनकी स्थिति को भी मजबूत कर रही हैं। आइए, इन योजनाओं पर विस्तार से नजर डालते हैं, जिसके जरिए महिलाओं को फायदा मिल रहा है।

मुख्यमंत्री लाडली बहना योजना- आर्थिक आत्मनिर्भरता की मिसाल

मध्य प्रदेश सरकार की सबसे लोकप्रिय योजनाओं में से एक, मुख्यमंत्री लाडली बहना योजना, प्रदेश की 1.27 करोड़ महिलाओं को हर महीने 1250 रुपये की आर्थिक सहायता प्रदान कर रही है। इस योजना का उद्देश्य महिलाओं को आर्थिक रूप से आत्मनिर्भर बनाना और उनकी दैनिक जरूरतों को पूरा करने में मदद करना है। सरकार इस योजना का विस्तार करने पर विचार कर रही है, जिसमें सहायता राशि को बढ़ाने की संभावना भी शामिल है। यह योजना महिलाओं के लिए गेमचेंजर साबित हो रही है।

लाडली लक्ष्मी योजना- बेटियों का भविष्य संवारने की पहल

लाडली लक्ष्मी योजना बेटियों के जन्म को प्रोत्साहित करने, लिंगानुपात में सुधार और उनकी शिक्षा व स्वास्थ्य को बेहतर बनाने के लिए शुरू की गई है। इसके तहत पात्र परिवारों को बेटी के जन्म से लेकर उच्च शिक्षा तक विभिन्न चरणों में वित्तीय सहायता दी जाती है। यह योजना बेटियों को बोझ नहीं, बल्कि गर्व का प्रतीक बनाती है।

सरकारी नौकरियों में 35% आरक्षण- रोजगार के नए द्वार

महिलाओं को रोजगार के अवसर प्रदान करने के लिए मध्य प्रदेश सरकार ने सभी सरकारी सेवाओं (वन विभाग को छोड़कर) में 35% आरक्षण लागू किया है। यह कदम महिलाओं को कार्यक्षेत्र में सशक्त बनाने और उनकी आर्थिक स्वतंत्रता को बढ़ावा देने की दिशा में महत्वपूर्ण है।

आहार अनुदान योजना- मां और बच्चे के लिए पोषण

गर्भवती और धात्री महिलाओं के स्वास्थ्य को प्राथमिकता देते हुए सरकार ने आहार अनुदान योजना शुरू की है। इस योजना के तहत पोषण सहायता प्रदान की जाती है, ताकि मां और बच्चे दोनों स्वस्थ रहें। यह योजना ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में महिलाओं के लिए विशेष रूप से लाभकारी है।

गैस सिलेंडर सब्सिडी- रसोई का बोझ कम

महिलाओं की रसोई का खर्च कम करने के लिए सरकार समय-समय पर गैस सिलेंडर पर सब्सिडी देती है। हाल ही में 1.29 करोड़ महिलाओं के खातों में सब्सिडी राशि ट्रांसफर की गई है। पहले 450 रुपये में सिलेंडर देने की घोषणा की गई थी, जो महिलाओं के लिए बड़ी राहत है।

स्व-सहायता समूह- आत्मनिर्भरता की राह

महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने के लिए स्व-सहायता समूहों (SHGs) को प्रोत्साहन दिया जा रहा है। इनके माध्यम से महिलाओं को प्रशिक्षण, ऋण और बाजार तक पहुंच प्रदान की जाती है। यह पहल ग्रामीण महिलाओं को अपने उत्पाद बेचने और आर्थिक रूप से मजबूत होने में मदद कर रही है।

महिला हेल्पलाइन और वन स्टॉप सेंटर- सुरक्षा का भरोसा

महिलाओं की सुरक्षा के लिए 181 हेल्पलाइन शुरू की गई है, जो आपात स्थिति में त्वरित सहायता प्रदान करती है। इसके अलावा, 57 जिलों में वन स्टॉप सेंटर स्थापित किए गए हैं, जहां महिलाओं को कानूनी, चिकित्सा और मनोवैज्ञानिक सहायता मिलती है। ये केंद्र महिलाओं के लिए सुरक्षित स्थान के रूप में काम करते हैं।

शिक्षा और कौशल विकास- आत्मनिर्भरता की नींव

कक्षा 10 पास करने वाली छात्राओं को वित्तीय साक्षरता और कौशल प्रशिक्षण (जैसे हथकरघा, कढ़ाई आदि) प्रदान किया जा रहा है। यह पहल युवा लड़कियों को आत्मनिर्भर बनाने और रोजगार के अवसर प्रदान करने में मददगार है।

महिला उद्यमियों के लिए 275 करोड़ का पैकेज

महिलाओं को व्यवसाय शुरू करने के लिए प्रोत्साहित करने हेतु सरकार ने 275 करोड़ रुपये का उद्यमिता पैकेज घोषित किया है। इसके तहत प्रशिक्षण, ऋण और बाजार तक पहुंच प्रदान की जाती है, ताकि महिलाएं अपने उत्पादों को बेच सकें और आर्थिक रूप से स्वतंत्र बन सकें।

बलात्कारियों के लिए मौत की सजा- सख्त कानून

महिलाओं की सुरक्षा को सुनिश्चित करने के लिए मध्य प्रदेश सरकार ने बलात्कार जैसे जघन्य अपराधों के लिए मौत की सजा का प्रावधान लागू किया है। ऐसा करने वाला मध्य प्रदेश देश का पहला राज्य बन गया है। इस कदम से अपराधियों में डर पैदा होगा और समाज में सुरक्षित माहौल बनेगा।

पंचायतों में 35% आरक्षण और बजट में बढ़ोतरी

पंचायतों और शहरी निकायों में महिलाओं के लिए 35% आरक्षण लागू किया गया है, जिसका लक्ष्य 50% भागीदारी सुनिश्चित करना है। साथ ही, वित्त वर्ष 2024-25 में महिलाओं के कल्याण के लिए बजट में 81% की बढ़ोतरी की गई है। यह राशि शिक्षा, स्वास्थ्य और रोजगार जैसे क्षेत्रों में महिलाओं को लाभ पहुंचाएगी।

महिला IAS अधिकारी की नियुक्ति

महिलाओं के मुद्दों पर विशेष ध्यान देने के लिए एक महिला IAS अधिकारी को मुख्य सचिव नियुक्त किया गया है। यह कदम महिलाओं की समस्याओं के समाधान में मदद करेगा।

आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं के लिए लाभ

आंगनवाड़ी कार्यकर्ताओं और सहायिकाओं को बेहतर सुविधाएं और ग्रैच्युटी जैसे लाभ दिए जा रहे हैं।

मध्य प्रदेश सरकार की ये योजनाएं महिलाओं को न केवल आर्थिक रूप से सशक्त बना रही हैं, बल्कि उनकी सुरक्षा, शिक्षा और स्वास्थ्य को भी प्राथमिकता दे रही हैं। यह प्रयास समाज में लैंगिक समानता और सशक्तिकरण की दिशा में एक मजबूत कदम है।

Created On :   23 May 2025 7:00 PM IST

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