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Mumbai News: उद्धव को फडणवीस ने सत्ता में आने दिया ऑफर, हमारी विपक्ष में बैठने की उम्मीद नहीं, आपको इधर आने का मौका

- विप में सीएम ने उपमुख्यमंत्री शिंदे की उपस्थिति में दिया बयान, उद्धव भी थे मौजूद
- मुख्यमंत्री बोले- साल 2029 तक हमारे विपक्ष में बैठने की उम्मीद नहीं, आप को इधर आने का है मौका
- विस अध्यक्ष चाहेंगे तो तभी मिलेगा विपक्ष का नेता
Mumbai News. विधान परिषद में मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने शिवसेना (उद्धव) के पक्ष प्रमुख तथा पूर्व मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे को सीधे सत्ता में आने का ऑफर दे दिया। सदन में जब फडणवीस ने यह ऑफर दिया तब शिवसेना (शिंदे) के मुख्य नेता तथा उपमुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे भी मौजूद थे। सदन में विपक्ष के नेता अंबादास दानवे का कार्यकाल 29 अगस्त 2025 को खत्म होगा। इसलिए बुधवार को दानवे को सदन में विदाई दी गई। इससे संबंधित प्रस्ताव पर बोलते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि दानवे का कार्यकाल खत्म हो रहा है। लेकिन मेरी उन्हें शुभकामनाएं हैं कि वह दोबारा सदन में लौटे। फिर से सदन में आने के बाद जरूरी नहीं है कि उसी पद पर रहे। मुख्यमंत्री ने कहा कि मेरे इस बयान पर उद्धवजी कहेंगे कि मैं दानवे को अपने पाले में करने की कोशिश कर रहा हूं। इस पर उद्धव ने कहा कि आप ही विपक्ष में आ जाइए। जिसके जवाब में मुख्यमंत्री ने कहा कि उद्धवजी हमारे लिए साल 2029 तक विपक्ष में बैठने की उम्मीद नहीं है। लेकिन यदि आप सदन में सत्तारूढ़ दल की ओर आना चाहेंगे तो इस पर अलग तरीके से विचार किया जा सकता है। फिर मुख्यमंत्री ने कहा कि दानवे चाहे किसी भी दल में रहे। लेकिन उनकी मूल आत्मा हिंदुत्ववादी ही रहेगी। हालांकि बाद में दानवे ने अपने भाषण में कहा कि मैंने अपने दल के प्रति निष्ठा शिवसेना प्रमुख बालासाहेब ठाकरे से सीखी है। मैं अगस्त के बाद सिर्फ सदन का सदस्य नहीं रहूंगा लेकिन पार्टी के लिए पहले की तरह काम करता रहूंगा।
जब विस अध्यक्ष चाहेंगे तो तभी मिलेगा विपक्ष का नेता
मुख्यमंत्री ने कहा कि दानवे के अगस्त में सेवानिवृत्त होने के बाद विधान परिषद में अगला विपक्ष का नेता कौन होगा ? मुझे उम्मीद है कि महाविकास आघाड़ी मिलकर इसका फैसला कर लेगी। जिसके बाद सदन के सभापति राम शिंदे उसको मंजूरी दे देंगे। इस बीच विपक्ष के सदस्यों ने विधानसभा में विपक्ष के नेता पद की नियुक्ति को लेकर टिप्पणी की। इसके जवाब में मुख्यमंत्री ने कहा कि विधानसभा में विपक्ष ने शिवसेना (उद्धव) के विधायक भास्कर जाधव का जो नाम दिया है। वो हमें मंजूर है। लेकिन जब विधानसभा अध्यक्ष राहुल नार्वेकर चाहेंगे तभी विधानसभा में विपक्ष के नेता नियुक्त होंगे।
शिंदे और उद्धव आमने-सामने
सदन में भाषण के दौरान उपमुख्यमंत्री शिंदे और उद्धव ने एक-दूसरे पर इशारों ही इशारों में कटाक्ष किया। शिंदे ने कहा कि दानवे सोने का चम्मच लेकर पैदा नहीं हुए हैं लेकिन उन्होंने विपक्ष के नेता पद पर रहते हुए गरीबों और सामान्य लोगों को न्याय दिलाने का प्रयास किया। इसके जवाब में उद्धव ने शिंदे का नाम लिए बिना कहा कि सदन में अभी किसी ने कहा कि दानवे सोने का चम्मच लेकर पैदा नहीं हुए हैं लेकिन दानवे ने भरी हुई थाली से प्रताड़ना भी नहीं की। जिस दल ने उन्हें सब कुछ दिया वह उसी दल में बने हुए हैं। जबकि कुछ लोग थाली भरी होने के बाद भी और कुछ हासिल करने के चाहत में दूसरे रेस्टोरेंट में गए हैं। कुछ लोग पद पाने के लिए छटपटाते रहते हैं। इसके बाद भाजपा सदस्य प्रवीण दरेकर ने कहा कि साल 2019 के विधानसभा चुनाव के बाद जनादेश का कितने प्रताड़ना किया है? यह सभी जानते हैं।
विधान भवन परिसर में विधान परिषद के सदस्यों के साथ फोटो सेशन के समय उद्धव ने शिंदे के बगल में बैठने से परहेज किया। दरअसल, फोटो सेशन के लिए उद्धव सबसे आखिर में आए। इस दौरान विपक्ष के नेता दानवे ने उन्हें खाली कुर्सी की ओर जाने का आग्रह किया। उपमुख्यमंत्री शिंदे के बगल की कुर्सी खाली थी। उपसभापति नीलम गोर्हे ने उद्धव को उस कुर्सी पर बैठने के लिए आग्रह किया। लेकिन उद्धव ने इनकार करते हुए कहा कि मैं आपके बगल में बैठूंगा। फिर उद्धव उपसभापति के बगल में बैठे। शिंदे और उद्धव के बीच में उपसभापति गोर्हे बैठी थीं। इस दौरान शिंदे भी थोड़े असहज हो गए थे।
Created On :   16 July 2025 9:57 PM IST