New Delhi News: कपास आयात शुल्क छूट की समय सीमा 31 दिसंबर 2025 तक बढ़ी - वित्त मंत्रालय

कपास आयात शुल्क छूट की समय सीमा 31 दिसंबर 2025 तक बढ़ी - वित्त मंत्रालय
  • कपास आयात शुल्क छूट की समय सीमा को लेकर वित्त मंत्रालय ने दी जानकारी
  • छूट की समय सीमा 31 दिसंबर 2025 तक बढ़ी
  • आयात शुल्क छूट की अधिसूचना को रद्द करने की मांग कर रहे किसान संगठन

New Delhi News. अमेरिका द्वारा भारतीय वस्त्र निर्यात पर 50 प्रतिशत टैरिफ लागू करने के ठीक एक दिन बाद केंद्र सरकार ने कपास आयात पर दी गई शुल्क छूट की अवधि 31 दिसंबर 2025 तक बढ़ा दी है। केंद्रीय वित्त मंत्रालय ने गुरुवार को यह घोषणा की, जिससे भारतीय वस्त्र उद्योग को दीर्घकालिक आयात अनुबंध करने में सुविधा मिलेगी। सरकार के इस कदम का उद्देश्य निर्यातकों को वैश्विक प्रतिस्पर्धा में मजबूती देना है, लेकिन किसान संगठन इसके सख्त खिलाफ हैं। किसान संगठनों ने केंद्र को सितंबर में राष्ट्रव्यापी आंदोलन की चेतावनी दी है। वित्त मंत्रालय के अनुसार, भारतीय वस्त्र उद्योग के लिए कपास की उपलब्धता बढ़ाने के उद्देश्य से 19 अगस्त से 30 सितंबर 2025 तक कपास (एचएस 5201) पर आयात शुल्क हटाया गया था। अब इस अवधि को बढ़ाकर 31 दिसंबर 2025 तक कर दिया गया है। केंद्र सरकार के इस फैसले का कपड़ा उद्योग ने इस निर्णय का स्वागत किया है। सरकार का यह निर्णय ऐसे समय में आया है जब अमेरिकी टैरिफ के कारण भारतीय वस्त्र निर्यातकों को ऑर्डर रद्द होने और संभावित घाटे का सामना करना पड़ रहा है।

आयात शुल्क छूट की अधिसूचना को रद्द करने की मांग कर रहे किसान संगठन

संयुक्त किसान मोर्चा (एसकेएम) ने कपास पर आयात शुल्क छूट की अधिसूचना को तुरंत रद्द करने की मांग की है। किसान नेताओं ने चेतावनी दी है कि अगर सरकार ने फैसला वापस नहीं लिया, तो सितंबर से देशव्यापी आंदोलन शुरू होगा। वरिष्ठ किसान नेता राकेश टिकैत ने पहले ही घोषणा कर रखी है कि 17-18 सितंबर को एक प्रतिनिधिमंडल विदर्भ का दौरा करेगा, जहां कपास किसानों की आत्महत्या और आर्थिक संकट की समीक्षा की जाएगी।

Created On :   28 Aug 2025 10:02 PM IST

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