आक्रोश: मेयो-मेडिकल के सभी संगठनों ने किया नांदेड़ घटना का विरोध

मेयो-मेडिकल के सभी संगठनों ने किया नांदेड़ घटना का विरोध
  • राज्य भर में उग्र आंदोलन की चेतावनी
  • सांसद पाटील से माफी मांगने की मांग की

डिजिटल डेस्क, नागपुर। नांदेड़ स्थित डॉ. शंकरराव चव्हाण शासकीय चिकित्सा महाविद्यालय व अस्पताल के अधिष्ठाता के साथ सांसद हेमंत पाटिल द्वारा अशोभनीय अपमानस्पद कृत्य किया गया। इसका राज्य भर में निषेध किया जा रहा है। शहर के मेडिकल और मेयो अस्पताल में घटना के निषेधार्थ जोरदार प्रदर्शन किया गया। दोनों अस्पतालों के वरिष्ठ स्नातकोत्तर के विद्यार्थी, इंटर्न डॉक्टर, नर्सेस ने घटना का विरोध करते हुए सांसद पाटील से माफी मांगने की मांग की और कहा कि यदि सांसद हेमंत पाटील ने माफी नहीं मांगी तो सेंट्रल मार्ड की सूचनानुसार राज्य भर में तीव्र आंदोलन किया जाएगा।

डॉक्टरों पर फोड़ दिया मौत की संख्या का ठीकरा : सरकार की उदासीनता के चलते राज्य भर के सरकारी अस्पतालों में से अधिकतर उपेक्षा के शिकार हैं। कहीं मनुष्यबल, तो कहीं दवाओं और कहीं चिकित्सा सामग्री व जरूरी मशीनों की कमी, असर मरीजों पर हो रहा है। बड़ी परेशानी क्लास 3 व क्लास 4 के कर्मचारियों की संख्या कम होने की है। बावजूद इसके सरकारी अस्पताल का प्रशासन व्यवस्था को बनाए रखने के लिए अपने स्तर पर प्रयास करता है, लेकिन कुछ राजनीतिक दल सारा दोष अस्पताल प्रशासन और वरिष्ठ अधिकारियों को देता है। नांदेड़ में भी यही स्थिति थी। वहां दो दिन में सामने आई मौत के आंकड़ों का ठीकरा डॉक्टरों पर फोड़ दिया गया। बिना जांच-पड़ताल किए घटना का जायजा लेने पहुंचे सांसद पाटील ने गंदे शौचालय देखकर अपनी नाराजगी वहां के अधिष्ठाता डॉ. श्याम वाकोडे पर व्यक्त की। डॉ. वाकोडे और अन्य डॉक्टरों को झाडू थमाकर शौचालय साफ करने के लिए मजबूर किया। अधिष्ठाता के साथ किये गए इस कृत्य का विरोध करने मेडिकल और मेयो में निषेध आंदोलन किया गया।

सांसद को माफी मांगने के लिए दिया निवेदन : मेडिकल के अधिष्ठाता कार्यालय के सामने महाराष्ट्र राज्य चिकित्सा शिक्षक संगठन (एमएसएमटी), निवासी डॉक्टरों का संगठन मार्ड, यूजी डॉक्टर्स, इंटर्न्स व महाराष्ट्र राज्य परिचारिका संगठन ने घटना के निषेधार्थ प्रदर्शन कर नारेबाजी की। सभी संगठनों ने मिलकर स्थानीय अधिष्ठाताओं को निवेदन दिया। वहीं मेयो व मेडिकल के डॉक्टरों ने हाथों पर काली पट्‌टी बांधकर घटना का निषेध किया। हालांकि मरीजों की सेवा प्रभावित नहीं हुई। सभी ने नियमित सेवाएं दी। मेडिकल मार्ड के अध्यक्ष मनीष बागडे ने बताया कि नांदेड़ की घटना अमानवीय है।

मेयो-मेडिकल में 1000 से अधिक ने किया निषेध : मेयो व मेडिकल स्थित विविध संगठनों के 1000 से अधिक कर्मचारी, डॉक्टर्स, विभाग प्रमुख व विद्यार्थी शामिल हुए थे। मेयो अस्पताल में कैज्युअल्टी के सामने विरोध प्रदर्शन व नारेबाजी की गई। प्रदर्शनकारियों में महाराष्ट्र स्टेट मेडिकल टीचर्स एसोसिएशन मेयो के अध्यक्ष डॉ. मिलिंद सूर्यवंशी, डॉ. मंगेश टेकाडे, डॉ. भावना सोनवणे, डॉ. जीवन वेदी, डॉ. राहुल डगवार, डॉ. बलवंत कोवे, डॉ. अरुण तडस, महाराष्ट्र एसोसिएशन ऑफ बाँडेड रेसिडेंट डॉक्टर्स संगठन के अध्यक्ष डॉ. सजल बंसल, महाराष्ट्र एसोसिएशन ऑफ रेसिडेंट डॉक्टर्स संगठन के अध्यक्ष सारीपूत गजभारे, एसोसिएशन ऑफ मेडिकल इंटर्न्स महाराष्ट्र के उपाध्यक्ष डॉ. अथर्व शिंदे आदि शामिल हुए थे।

Created On :   6 Oct 2023 6:00 AM GMT

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