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स्कूलों में सिखाया जाएगा क्रिएटिव आंसर लिखना
डिजिटल डेस्क, नागपुर। सेंट्रल बोर्ड ऑफ सेकंडरी एजुकेशन (सीबीएसई) द्वारा मान्यता प्राप्त स्कूलों में छात्र-छात्राओं के लिए क्रिएटिव राइटिंग की क्लास शुरू की जाएगी। इसमें एक्सपर्ट छात्र-छात्राओं को बोर्ड एग्जाम में आने वाले अलग-अलग सब्जेक्ट्स के कुछ टॉपिक्स दिए जाएंगे, जिसमें उन्हें अपने मन से आंसर लिखकर देने होंगे। यह टास्क एक्सपर्ट की ओर से हर सब्जेक्ट के लिए दिया जाएगा। उसके बाद एक्सपर्ट उन आंसर को चेक करेंगे और विद्यार्थियों को स्कोर देंगे।
जिसका आंसर सबसे अच्छा होगा, उसे उदाहरण के तौर पर सभी विद्यार्थियों को पढ़ने के लिए दिया जाएगा। इसके बाद उनसे अलग-अलग टॉपिक्स पर आंसर राइटिंग की प्रैक्टिस कराई जाएगी। जानकारों के अनुसार इस बार बोर्ड एक्जाम में बदलाव होने की वजह से छात्रों को अांसर राइटिंग पर फोकस करना होगा। इसमें भी ऐसे आंसरों को प्राथमिकता दी जाएगी, जो छात्रों द्वारा रटे-रटाए नहीं, बल्कि क्रिएटिव रूप से लिखे गए होंगे। इससे छात्रों की लिखने-पढ़ने की स्किल, प्रैक्टिकल नॉलेज और थॉट प्रोसेस को बढ़ाया जा सकेगा।
बदलाव के बाद आएंगे सैंपल पेपर
एक्सपर्ट के मुताबिक इसे एक प्रोजेक्ट की तरह शुरू किया जा रहा है। बदलाव फाइनल होने के बाद छात्रों को नए पैटर्न के सैंपल पेपर भी जारी किए जाएंगे। इससे छात्र नए पैटर्न को समझ सकें और लिखने-पढ़ने की स्किल बढ़ा सकेंगे। बोर्ड के एक्सपर्ट इस नए पैटर्न पर विचार कर रहे हैं, जिससे प्रश्नों की संख्या कम कर प्रत्येक प्रश्न के मार्क्स को बढ़ा सकें।
थॉट प्रोसेस बढ़ेगी
क्रिएटिव राइटिंग से छात्रों को संबंधित विषय का उत्तर लिखने की थॉट प्रोसेस बढ़ेगी, साथ ही छात्रों को चिंता करने की जरूरत नहीं है, क्योंकि पूरे क्वेश्चन पेपर को नहीं बदला जाएगा। इसमें कुछ मामूली बदलाव ही किए जाएंगे। इसकी वजह है कि बोर्ड एग्जाम में क्रिएटिव आंसर के मुताबिक अंक देना शुरू किए गए हैं। इसलिए इन सेशन में छात्रों को क्रिएटिव आंसर लिखने की तकनीक सिखाई जाएगी।
प्रशिक्षणार्थी सीख रहे चित्रकला एवं रंगोली के हुनर
दक्षिण मध्य क्षेत्र सांस्कृतिक केंद्र द्वारा ‘जलियांवाला बाग’ हत्याकांड को सौ साल पूरे होने पर 20 से 26 मई तक ‘ग्रीष्मकालीन हस्तकला तथा चित्रकला प्रशिक्षण कार्यशाला’ का आयोजन केंद्र परिसर में किया गया है। कार्यक्रम का शुभारंभ सोमवार को पूर्व फ्लाइट लेफ्टिनेंट शिवाली देशपांडे, अंतरराष्ट्रीय चित्रकार प्रमोद रामटेके, कार्यक्रम समिति सदस्य राजश्री शिर्के, शिखर सम्मान प्राप्त मांडना चित्रकार कृष्णा वर्मा, दमक्षेसां केंद्र के निदेशक डॉ. दीपक खिरवडकर, उपनिदेशक मोहन पारखी, कार्यक्रम अधिकारी गोपाल बेतावार ने दीप प्रज्वलन कर किया। इस अवसर पर कार्यक्रम अधिकारी दीपक कुलकर्णी, प्रेमस्वरूप तिवारी, शशांक दंडे उपस्थित थे। संचालन सलीम शेख ने किया। शुभारंभ के अवसर पर 300 से अधिक प्रशिक्षणार्थियों ने चित्रकारिता एवं रंगोली के गुण सीखे।
Created On :   21 May 2019 4:16 PM IST