28 करोड़ की धांधली मामले में डीएमओ भारतभूषण पाटील निलंबित

डिजिटल डेस्क, भंडारा. जिले के अलग-अलग तहसीलों में धान खरीदी केंद्र चलाने वाली संस्थाओं में लगभग 28 करोड़ रुपयों की धांधली करने के मामला उजागर होने पर भी भंडारा जिला पणन अधिकारी (डीएमओ) भारतभूषण पाटील द्वारा कार्रवाई करने में कोताही बरती गई। पाटील ने जांच किए बिना फिर से ऐसे गड़बड़ी करने वाली संस्थाओं को धान खरीदी केंद्र चलाने की अनुमति दी। इस आरोप में प्रबंधकीय संचालक तथा प्राधिकृत अधिकारी सुधाकर तेलंग ने जिला पणन अधिकारी भारतभूषण पाटील को निलंबित किया है। उन्हें अगले आदेश तक पाटील को नागपुर में मुख्यालय में रहना होगा। जिले की पवनी की आधार बहुउद्देशीय सुशिक्षित बेरोजागर सेवा सहकारी संस्था, तुमसर तहसील के बपेरा की अन्नपूर्णा सुशिक्षित बेरोजगार सेवा सहकारी संस्था, भंडारा की संकल्प सुशिक्षित बेरोजगार सेवा सहकारी संस्था, आंबागड की विविध कार्यकारी सेवा सहकारी संस्था, नाकाडोंगरी की विविध कार्यकारी सेवा सहकारी संस्था, वाहनी की विविध कार्यकारी सेवा सहकारी संस्था, मुंढरी बुर्ज ग्राम की मा. शारदा बहुउद्देशीय सुशिक्षित बेरोजगार सेवा सहकारी संस्था ने किसानों के सातबारा लेकर उसके जरिए शासन के पोर्टल पर दस्तावेजों पर धान की खरीदी दिखाकर सांठगांठ कर करोड़ों रुपयों की गड़बड़ी की। लेकिन इन संस्थाओं को जब शासन को मिलिंग के लिए धान देने की बारी आई, तो आनाकानी करने लगे। इस प्रकरण में जिला पणन अधिकारी पाटील ने मामला सामने आने के बाद भी कार्रवाई में विलंब किया। यह पूरा मामला 28 करोड़ 39 लाख 31 हजार 365 रुपयों की गड़बड़ी का होकर भी इसे गंभीरता से नहीं लिया। प्रकरण की सूचना पुलिस को देने में भी विलंब किया गया। जिससे प्रबंधकीय संचालक तथा प्राधिकृत अधिकारी सुधाकर तेलंग ने आदेश जारी कर डीएमओ को निलंबित किया है।
नियमों को ताक पर रख बांटा 1.88 करोड़ का कर्ज
डिजिटल डेस्क, यवतमाल.
यवतमाल जिला मध्यवर्ती सहकारी बैंक की हिवरा शाखा में नियमों को ताक पर रखकर 1.88 करोड़ रुपए का कर्ज बांटने के आरोप में 11 कर्मचारी-अधिकारियों पर मामला दर्ज किया गया है। सभी आरोपियों के खिलाफ महागांव थाने में भादंवि की धारा 409,420,468,471, 472 के तहत अपराध दर्ज किया गया है। इनमें से आठ को निलंबित किया गया हैै। निलंबित आरोपियों के नाम हिवरा शाखा के मैनेजर संतोष नंदूसिंह राठोड़, उमेश वसंत जोशी, शाखा निरीक्षक निशिकंात प्रभाकर श्रीरामे, निरीक्षक अशोक हीरासिंह राठोड़, वसूली अधिकारी सुरेश पंजाबराव भरवाडे, निरीक्षक विष्णु रतन आडे, शाखा मैनेजर प्रकाश बापूराव राठोड और कैशियर अविनाश थावरा राठोड़ बताए जाते हैंं। इसके अलावा यहां के पूर्व मैनेजर मुकिंदा राजाराज चावरे सेवानिवृत्त हो चुके हैं तथा ठेका पद्धति पर कार्यरत क्लर्क बीबीचंद राठोड और चिलगव्हाण ग्रामविकास सोसाइटी के सचिव साहबराव पुतलाजी नरवाडे पर भी कार्रवाई की गई है। इन लोगों ने वर्ष 2021-22 में सीएपी और कंपनी के अकाउंटेंट अमरावती से प्राप्त ऑडिट रिपोर्ट में हिवरा शाखा से संलग्न चिलगव्हाण ग्रामविकास सोसाइटी की जांच की थी। जिसमें नियमाें को ताक पर रखकर कर्ज वितरण करने की जानकारी सामने आ रही है। इस संस्था में 1 करोड़ 87 लाख 67 हजार 182 रुपए का कर्ज नियमों को अनदेखा कर वितरित किया गया। जिसमें अकेले चिलगव्हाण सोसाइटी में 91 लाख 78 हजार 11 रुपए का गबन होने की बात सामने आई थी। उसी प्रकार हिवरा शाखा से जुड़े पाेहंडुल, लेवा, खडका, धनोडा, शिरपुर, हिवरा आदि ग्राम-विकास संस्थाओं की रिपोर्ट भी की गई। इसमें 95 लाख 89 हजार 171 रुपए की धांधली होने की बात सामने आयी।
इन दोनों धांधली मिलाकर 1 लाख 87 हजार 67 हजार 182 रुपए शामिल हैं। इससे इन लोगों को नोटिस देकर उनके जवाब मांगे गए थे। मगर उनके जबाब संतोषजनक नहीं थे। इन 11 अधिकारियों से उक्त राशि वसूलने के लिए प्रयास किए गए। मगर जब यह सफल नहीं हुए तब इस मामले की शिकायत एसपी यवतमाल से की गई थी। इससे उन्होंने इस मामले की जांच उमरखेड़ डीवाईएसपी को करने के निर्देश दिए थे। जांच के पश्चात सोमवार 13 फरवरी को इन सभी के खिलाफ अपराध दर्ज किया गया है।
Created On :   14 Feb 2023 7:00 PM IST