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सीट बंटवारे के लिए कांग्रेस-एनसीपी के बीच फिर शुरु होगा बैठकों का दौर

डिजिटल डेस्क, मुंबई। पांच राज्यों के विधानसभा चुनाव बीतने के बाद एक फिर कांग्रेस-राकांपा के बीच सीट बंटवारे को लेकर बैठकों का दौर शुरु होगा। आगामी 19 व 20 दिसंबर को विधानसभा मे विपक्ष के नेता राधाकृष्ण विखेपाटील के सराकारी आवास पर दोनों दलों के वरिष्ठ नेताओं की बैठक होगी। सूत्रों के अनुसार दोनों दलों के बीच कुछ सीटों की अदला-बदली होने वाली है। 40 लोकसभा सीटों को लेकर विवाद नहीं है पर 8 सीटों को लेकर पेंच फंसा है। साथ ही राकांपा आधी सीटे यानि 24 सीटों के लिए अड़ी हुई है, जबकि कांग्रेस सीट बंटवारे के लिए 2014 का पूराना फार्मूला ही जारी रखना चाहती है।
सूत्रों के अनुसार सिंधुदुर्ग लोकसभा सीट से नारायण राणे राकांपा के सहयोग से चुनाव लड़ना चाहते हैं, इस लिए राकांपा यह सीट अपने खाते में चाहती है। फिलहाल यह सीट कांग्रेस के पास है और कांग्रेस राणे को महागठबंधन में लेने के खिलाफ है। प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष अशोक चव्हाण और राणे की राजनीतिक अदावत जगजाहिर है। 2014 में इस सीट से राणे के बेटे निलेश राणे कांग्रेस उम्मीदवार थे। कांग्रेस इस बार भी निलेश को टिकट देने को तैयार है। लेकिन कांग्रेस नेता भाजपा के साथ गए राणे के लिए यह सीट छोड़ने को तैयार नहीं है।
तीन राज्यों में कांग्रेस को मिली जीत के बाद राकांपा अध्यक्ष शरद पवार ने जिस तरह कांग्रेस को ही भाजपा का विकल्प बताया है, उससे समझा जा रहा है कि सीटों की संख्या को लेकर कांग्रेस-राकांपा के बीच ज्यादा खिंचतान नहीं होगी। तीन राज्यों में मिली जीत से कांग्रेस कि स्थिति मजबूत हुई है। कांग्रेस नेताओं की माने तो पार्टी आधी सीटे राकांपा को देने के लिए तैयार नहीं है। इस बारे में अंतिम फैसला कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी व राकांपा अध्यक्ष शरद पवार ही करेंगे। 2014 के लोकसभा चुनाव में कांग्रेस 26 और राकांपा ने 22 सीटों पर अपने उम्मीदवार उतारे थे। जिसमें से कांग्रेस को सिर्फ दो सीटों पर जीत मिली थी जबकि राकांपा को चार सीटे जीतने में पर सफल रही थी।
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डिजिटल डेस्क, जबलपुर। किसी के लिए भी प्रॉपर्टी खरीदना जीवन के महत्वपूर्ण कामों में से एक होता है। आप सारी जमा पूंजी और कर्ज लेकर अपने सपनों के घर को खरीदते हैं। इसलिए यह जरूरी है कि इसमें इतनी ही सावधानी बरती जाय जिससे कि आपकी मेहनत की कमाई को कोई चट ना कर सके। प्रॉपर्टी की कोई भी डील करने से पहले पूरा रिसर्च वर्क होना चाहिए। हर कागजात को सावधानी से चेक करने के बाद ही डील पर आगे बढ़ना चाहिए। हालांकि कई बार हमें मालूम नहीं होता कि सही और सटीक जानकारी कहा से मिलेगी। इसमें bhaskarproperty.com आपकी मदद कर सकता है।
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ध्यान रखें की प्रॉपर्टी RERA अप्रूव्ड हो
कोई भी प्रॉपर्टी खरीदने से पहले इस बात का ध्यान रखे कि वो भारतीय रियल एस्टेट इंडस्ट्री के रेगुलेटर RERA से अप्रूव्ड हो। रियल एस्टेट रेगुलेशन एंड डेवेलपमेंट एक्ट, 2016 (RERA) को भारतीय संसद ने पास किया था। RERA का मकसद प्रॉपर्टी खरीदारों के हितों की रक्षा करना और रियल एस्टेट सेक्टर में निवेश को बढ़ावा देना है। राज्य सभा ने RERA को 10 मार्च और लोकसभा ने 15 मार्च, 2016 को किया था। 1 मई, 2016 को यह लागू हो गया। 92 में से 59 सेक्शंस 1 मई, 2016 और बाकी 1 मई, 2017 को अस्तित्व में आए। 6 महीने के भीतर केंद्र व राज्य सरकारों को अपने नियमों को केंद्रीय कानून के तहत नोटिफाई करना था।