लोकसभा अध्यक्ष से अपील - बागी सांसद शेवाले को गुट नेता और गवली को मुख्य सचेतक के तौर दिया जाए मान्यता

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। शिवसेना के एकनाथ शिंदे गुट के 12 सांसदों ने मंगलवार को लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला से शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे गुट के सांसद विनायक राऊत की जगह सांसद राहुल शेवाले को उनके गुट का नेता नियुक्त करने का आग्रह किया है। इसके साथ ही कहा है कि शिवसेना की ओर से भावना गवली जो पहले से सदन में मुख्य सचेतक है को उसी पद पर बने रहने दिया जाए। लोकसभा अध्यक्ष को पत्र सौंपने के बाद महाराष्ट्र सदन में मीडिया से मुखातिब होते हुए मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने फिर दोहराया है कि उन्होंने कोई नई पार्टी नहीं बनाई है। हम सब शिवसेना के ही है और एनडीए के साथ बने हुए है। इसलिए आज 12 सांसदों ने लोकसभा अध्यक्ष को पत्र देकर विनायक राऊत की जगह राहुल शेवाले को अपना नेता नियुक्त करने की मांग की है। मुख्यमंत्री शिंदे ने कहा कि लोकसभा अध्यक्ष ने उन्हें आश्वस्त किया है कि वे इस मांग पर विचार करेंगे।
मुख्यमंत्री शिंदे के यह कहने पर कि वे अब भी शिवसेना के ही है, इसलिए आप सब पार्टी प्रमुख उद्धव ठाकरे को ही अपना नेता मानते है क्या? इस सवाल का सीधा जवाब न देते हुए एकनाथ शिंदे ने कहा कि हम बालासाहेब ठाकरे के विचारे को और उनके हिन्दुत्व के मुद्दे को आगे बढाने के लिए यह कदम उठाया है। इससे और ज्यादा कहने की जरुरत नहीं है और हमने कोई गलत काम नहीं किया है। उन्होंने यह भी कहा कि एकसाथ सारी बाते नहीं बताई जा सकती। आगे-आगे सब पता चल जाएगा।
गठबंधन को लेकर पीएम मोदी के साथ उद्धव ठाकरे की 1 घंटे हुई थी चर्चा
प्रेस कॉन्फ्रेंस में एकनाथ शिंदे गुट में शामिल हुए 12 सांसद भी मौजूद थे। क्या ईडी के डर से सांसद भी शिंदे गुट में शामिल हुए है इस सवाल पर राहुल शेवाले ने कहा कि हमने हिंदुत्व और विकास के मुद्दे को आगे बढ़ाने के लिए यह फैसला किया है। क्योंकि गत ढाई साल में हमने काफी यातनाएं सही है। उन्होंने कहा कि उद्धव ठाकरे से हमने यह बात कहीं थी कि 2024 का लोकसभा चुनाव जितना है तो हमे भाजपा के साथ हाथ मिलाना जरूरी है। ठाकरे के साथ हमारी कई बैठकें हुई। इस दौरान उन्होंने हमसे कहा था कि मुझे भी गठबंधन करना है और उस दिशा में प्रयास कर रहा हूं।
बागी सांसद शेवाले ने रहस्य खोलते हुए कहा कि इस मसले को लेकर पार्टी प्रमुख ठाकरे की प्रधानमंत्री के साथ एक घंटा चर्चा हुई है। इस संबंध में विस्तृत जानकारी देते हुए उन्होंने कहा कि 1 जून को हमने उद्धव ठाकरे को बताया था कि वे उनके साथ ही रहेंगे। साथ ही यह भी कहा था कि हमने भाजपा के साथ मिलकर चुनाव लड़ा है। हमे तकलीफ हो रही है। उस दौरान ठाकरे ने कहा था कि शिंदे मुख्यमंत्री बनते है तो वे उस भूमिका का स्वागत करेंगे। इस दौरान बैठक में संजय राऊत, विनायक राऊत, अनिल देसाई, अरविंद सावंत मौजूद थे। इन सबके सामने उद्धव ठाकरे ने यह बात कहीं थी। भाजपा ने यह निर्णय लिया। इसलिए हमने भी स्वागत किया। शेवाले ने कहा कि एक तरफ पार्टी प्रमुख गठबंधन की बात करते है और दूसरी तरफ मानसून सत्र के दौरान भाजपा के 12 विधायकों पर कार्रवाई होती है। इस बात से भाजपा नेता काफी खफा हुए। इतना ही नहीं अब उपराष्ट्रपति पद के लिए विपक्ष के उम्मीदवार को ठाकरे ने समर्थन दिया है। इसलिए हमने नाराज होकर शिंदे गुट में शामिल होने का निर्णय लिया।
Created On :   19 July 2022 8:25 PM IST