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सुप्रीम कोर्ट का फैसला : सरकारी जमीन पर अतक्रिमण मामले में पंचायत सदस्य की सदस्यता खारिज

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। सुप्रीम कोर्ट ने सरकारी जमीन पर अतक्रिमण करने के एक मामले में सुनवाई करते हुए कहा है कि अगर कोई ग्राम पंचायत सदस्य सरकारी जमीन पर अतिक्रमण करता है तो उसकी सदस्यता को अयोग्य घोषित किया जाना चाहिए। शीर्ष अदालत ने बुधवार को मुंबई उच्च न्यायालय के उस फैसले पर मुहर लगा दी है, जिसमें अपीलकर्ता पंचायत सदस्य की इस आधार पर सदस्यता रद्द कर दी गई थी जिसके परिजनों ने सरकारी जमीन पर अतक्रिमण कर रखा था।
मामला महाराष्ट्र के ग्राम पंचायत कलंबा (महाली) का है। आरोप था कि ग्राम पंचायत सदस्य के ससूर और पति ने 1981 से एक सरकारी जमीन पर कब्जा कर रखा था। जिसका इस्तेमाल पंचायत सदस्य भी कर रही थी। इस मामले में 2012 में अतिरिक्त आयुक्त द्वारा जांच की गई थी। जांच में पता लगा कि पंचायत ने जमीन खाली कराने के लिए सदस्य के पति को नोटिस दिया था। जिसके जवाब में न सिर्फ सरकारी जमीन पर अतिक्रमण की बात स्वीकार की गई बल्कि उसे सही भी ठहराया गया। आरोपी पंचयात सदस्य इस मामले में अपना बचाव करने में नाकाम रही और बॉम्बे हाईकोर्ट ने उसकी सदस्यता को खारिज करने का फैसला सुनाया।
मामला सुप्रीम कोर्ट पहुंचा। कई सुनवाई के बाद आज शीर्ष अदालत ने हाईकोर्ट के फैसले को सही ठहराते हुए पंचायत सदस्य की सदस्यता को बहाल करने की मांग ठुकरा दी। हालांकि बचाव पक्ष के वकील ने बॉम्बे हाईकोर्ट के फैसले के खिलाफ दलील दी कि अतिक्रमण पंचायत सदस्य द्वारा नही किया गया है, इसलिए उसकी सदस्यता रद्द करने का फैसला गलत है। सुप्रीम कोर्ट ने बचाव पक्ष की दलील को अस्वीकार करते हुए कहा कि याचिका में कोई दम नही है।
Created On :   19 Sept 2018 9:49 PM IST