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Tuljapur News: तुलजाभवानी मंदिर में दाहिनी सूंड वाले सिद्धिविनायक के दर्शन करने भक्तों की भारी भीड़

- दाहिनी सूंड वाले सिद्धिविनायक की प्राचीन और दिव्य मूर्ति विराजमान
- गणेशोत्सव और विसर्जन परंपरा
- दर्शन करने भक्तों की लंबी कतारें
Tuljapur News. श्री तुलजाभवानी मंदिर में राजेनिबालकर महाद्वार के पास दाहिनी सूंड वाले सिद्धिविनायक गणेशजी की प्राचीन और दिव्य मूर्ति विराजमान है। गणेशोत्सव के दौरान इस विशेष गणेश प्रतिमा के दर्शन के लिए भक्तों की भारी भीड़ उमड़ती है।
शुभ, सिद्धि और समृद्धि का प्रतीक
दाहिनी सूंड वाले गणेशजी को शुभ, सिद्धि और समृद्धि का प्रतीक माना जाता है। मान्यता है कि सिद्धिविनायक के दर्शन से भक्तों की मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं और जीवन की बाधाएं दूर होती हैं।
मंदिर परिसर में गणेश मूर्तियों का वैभव
- तुलजाभवानी माता को पार्वती का अवतार माना जाता है, और चूंकि श्रीगणेश पार्वती पुत्र हैं, इसलिए मंदिर परिसर में हर ओर गणेश मूर्तियां देखने को मिलती हैं।
- राजेनिबालकर महाद्वार के दोनों ओर दाहिनी सूंड वाले गणेशजी की मूर्तियां हैं।
- होमकुंड के शिखर पर शारदा श्रीगणेश के पैर दबाते हुए एक छोटी, अद्भुत प्रतिमा विराजमान है।
- मंदिर के शिखर, पीतल के दरवाजों और उनके हैंडल, तथा देवी के पीछे के दरवाजे पर भी गणेश प्रतिमाएं स्थापित हैं।
गणेशोत्सव और विसर्जन परंपरा
तुलजाभवानी मंदिर में गणेशोत्सव बड़े उत्साह और श्रद्धा से मनाया जाता है। दस दिनों तक यहां श्रीगणेश की स्थापना होती है। अनंत चतुर्दशी के दिन देवी का छबीना और गणेश मूर्ति का भव्य जुलूस निकाला जाता है। इसके बाद श्री कल्लोल तीर्थकुंड में विधिपूर्वक गणेश विसर्जन किया जाता है।
Created On :   1 Sept 2025 6:10 PM IST