वर्धा: ईश्वर की आराधना करने से बुरे विचारों का होता है नाश - सराफ

ईश्वर की आराधना करने से बुरे विचारों का होता है नाश - सराफ
  • बुरे विचारों का होता है नाश
  • ईश्वर की आराधना जरूरी
  • पुराणों में एकादशी की कई कथाएं

डिजिटल डेस्क, वर्धा. पुराणों में एकादशी की कई कथाएं है। सभी कहानियों का सार यह है कि नारी शक्ति का उदय मरू नामक राक्षस को नष्ट करने के लिए हुआ था। जिसने देवताओं को भी पीड़ा दी थी। विष्णुजी ने उसका नाम उत्पत्ति एकादशी रखा। लेकिन ये पौराणिक कहानियां होते हुए भी इनका आशय बहुत बड़ा है। जब कोई व्यक्ति ईश्वर की आराधना करता है, तो वह अपने मन में अच्छे विचार और संस्कार धारण कर समाज में चल रही बुरी प्रवृत्ति से आसानी से निपट सकता है। यही आज की वास्तविक आवश्यकता है, मानव हृदय में उदारता और सेवा की भावना उत्पन्न होना ही सच्ची उत्पत्ति एकादशी है। ऐसा प्रतिपादन संत महादेव बाबा सेवा समिति ट्रस्ट की मार्गदर्शक सुश्री साधना सराफ ने किया। वे प.पू. संत महादेव बाबा सेवा समिति ट्रस्ट शक्ति धाम सुकली बाई विट्‌ठल रुक्मिणी देवस्थान में उत्पत्ति एकादशी पर आयोजित कार्यक्रम में बोल रहीं थीं। प्रत्येक एकादशी पर शाम के समय सामूहिक आरती भजन आदि कार्यक्रम पिछले 3 वर्षों से लगातार चल रहे हैं। इसके अनुसार "उत्पत्ति एकादशी" का भी आयोजन किया गया था।

इस अवसर पर अर्चना ताटेवार ने ‘गवलन’ की सुंदर प्रस्तुति दी और ‘शक्ति धाम’ आने के अपने अनुभव के बारे में एक मार्मिक संबोधन दिया। सुकली की बाल कलाकार रानी गुडेकर ने सुंदर भजन और कलाकृति प्रस्तुत की। दुर्गा गवई ने भजन,पसायदान प्रस्तुत किया। कार्यक्रम का संचालन रोहित राठी ने किया। सफलतार्थ अध्यक्ष अजय राठी,उपाध्यक्ष पंकज मानलवार, कोषाध्यक्ष गोपाल भाटी,ट्रस्टी प्रशांत सराफ,नंदूभाऊ गावंडे, रामचंद्र बरैया,अमोल माळवे, छाया राठी, सुनीता गुडेकर, शिखा राठी और अनेक ग्रामीण उपस्थित थे।

Created On :   19 Dec 2023 1:56 PM GMT

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