सात आपराधिक मामलों में वांछित गैंगस्टर दिल्ली के गांव से गिरफ्तार
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। एक 31 वर्षीय गैंगस्टर और कुख्यात काला जठेड़ी गिरोह का सदस्य, जो सात आपराधिक मामलों में वांछित था, उसे दिल्ली के मुंगेशपुर गांव से गिरफ्तार किया गया है। एक अधिकारी ने मंगलवार को यह जानकारी दी। आरोपी की पहचान गांव कटेवरा निवासी रविंदर उर्फ लप्पू के रूप में हुई है, जो पहले नीतू दबोदा और अशोक प्रधान गिरोह से भी जुड़ा हुआ था। पुलिस के मुताबिक, जानकारी मिली थी कि रविंदर पिछले कुछ दिनों से अक्सर मुंगेशपुर आता-जाता रहता है।
पुलिस उपायुक्त (विशेष प्रकोष्ठ) आलोक कुमार ने कहा, उसके बारे में अधिक जानकारी इकट्ठा करने के लिए एक टीम की प्रतिनियुक्ति की गई और उसकी गतिविधियों पर निगरानी रखी गई। 29 अप्रैल को इनपुट मिला कि रविंदर दोपहर 3 से 4 बजे के बीच मुंगेशपुर में श्मशान घाट के पास अपने एक सहयोगी से मिलने जाएगा।
डीसीपी ने कहा, अपराह्न् करीब 3.20 बजे रविंदर को श्मशान घाट की ओर आते देखा गया। हालांकि, जब पुलिस टीम ने उसे घेर लिया, तो उसने अपनी पिस्तौल निकाल ली और गोली चलाने की धमकी दी। लेकिन, पुलिस टीम ने उसे दबोच लिया। अधिकारी ने कहा, उसके कब्जे से चार गोलियों के साथ .32 बोर की एक पिस्तौल बरामद की गई।
रविंदर पिछले आठ साल से दिल्ली-एनसीआर में जघन्य अपराध कर रहा था। डीसीपी ने कहा, आरोपी ने यह भी खुलासा किया है कि वह पहले नीतू दाबोदा-अशोक प्रधान गिरोह के साथ काम कर चुका है। आरोपी आदतन अपराधी है और 10 आपराधिक मामलों में शामिल है। रविंदर का आपराधिक गतिविधियों का एक लंबा इतिहास रहा है, जिसके कारण वह कई बार जेल भी जा चुका है।
आधिकारिक रिकॉर्ड के अनुसार, रविंदर को पहली बार 2009 में पश्चिमी दिल्ली में हत्या के प्रयास के आरोप में गिरफ्तार किया गया था। 2014 में उसने और उसके साथियों ने कंझावला में एक स्विफ्ट कार सवार का अपहरण कर लिया और उसे लूट लिया। इस मामले में कोर्ट ने उनके खिलाफ गैर जमानती वारंट जारी किया है।
2017 में रविंदर और उसके सहयोगी शेखू ने व्यक्तिगत दुश्मनी निकालने के लिए दिल्ली के लदरावां गांव के प्रदीप कुमार पर गोली चलाई थी। अधिकारी ने कहा, शेखू अशोक प्रधान गिरोह का सक्रिय सदस्य है। उसी साल नरेला इंडस्ट्रियल एरिया में रविंदर और उसके साथियों ने एक शख्स को बुरी तरह पीटा था।
कंझावला के एक व्यवसायी से रंगदारी मांगने के आरोप में रविंदर को 2019 में फिर से गिरफ्तार किया गया था। उसने उसी साल नरेला के एक व्यवसायी से 15 लाख रुपये की रंगदारी मांगी थी। 2021 में रविंदर और उसके साथियों ने कंझावला में एक अज्ञात स्थान से 18 लाख रुपये लूट लिए।
अधिकारी ने कहा, रविंदर की आपराधिक गतिविधियों ने उसे कानून प्रवर्तन एजेंसियों के रडार पर डाल दिया, और गैरकानूनी गतिविधियों में उसकी निरंतर संलिप्तता के कारण उसके खिलाफ बार-बार गिरफ्तारी और वारंट हुए।
सोर्सः आईएएनएस
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Created On :   2 May 2023 7:30 PM IST