मुख्य आरोपी रेव पार्टी में गिरफ्तार
डिजिटल डेस्क, तिरुवनंतपुरम। टी.पी. चंद्रशेखरन हत्याकांड में पैरोल पर छूटे किरमानी मनोज को केरल पुलिस ने उस समय गिरफ्तार किया, जब वह वायनाड में एक रेव पार्टी में पहुंचा था। एक गुप्त सूचना पर कार्रवाई करते हुए, वायनाड पुलिस ने इलाके के कुछ रिसॉर्ट्स में चेकिंग के बाद मनोज सहित 15 लोगों को एक रेव पार्टी में गिरफ्तार किया, जिसे एक बदमाश की शादी की सालगिरह मनाने के लिए बुलाया गया था।
पुलिस ने कहा, पुलिस ने गिरफ्तार व्यक्तियों के पास से एमडीएमए और गांजा बरामद किया है और आगे की जांच जारी है, लेकिन बाकी आरोपियों की जानकारी का इंतजार है। क्रांतिकारी मार्क्सवादी पार्टी की शुरूआत करने वाले 51 वर्षीय टी.पी.चंद्रशेखरन को 4 मई, 2012 को हमलावरों ने हमला किया था, जब वह कोझीकोड के पास अपने गृहनगर में अपनी मोटरसाइकिल पर घर लौट रहे थे।
इस मामले में एक अदालत ने 11 लोगों को आजीवन कारावास की सजा सुनाई, जिनमें से तीन माकपा नेता थे। चंद्रशेखरन कोझीकोड जिले में एक बेहद लोकप्रिय माकपा नेता थे, लेकिन 2008 में उन्होंने पार्टी छोड़ दी और अपना खुद का संगठन - आरएमपी बनाया और सीपीआई-एम के दुश्मन बन गए। इस हत्या ने केरल के राजनीति में हलचल पैदा कर दी थी और कई बार ऐसी अटकलें लगाई जाती थीं कि माकपा के शीर्ष नेतृत्व को भी इस नृशंस हत्या के बारे में पता था।
जाहिर तौर पर 2021 अप्रैल के विधानसभा चुनाव में चंद्रशेखरन की विधवा पत्नी के.के. रेमा ने कांग्रेस के नेतृत्व वाले यूडीएफ के समर्थन से वडकारा विधानसभा क्षेत्र से शानदार जीत हासिल की, जबकि माकपा ने उन्हें दूर रखने की पूरी कोशिश की। मनोज को पैरोल देने में जिस तरह से नियमों की धज्जियां उड़ाई गई हैं, उस पर हंगामा पैदा हो गया था और 2016 में पिनराई विजयन के पद संभालने के बाद से विधानसभा में इसे कई बार उठाया गया है।
मीडिया से बात करते हुए रेमा ने कहा कि वह इस बात से हैरान हैं कि कैसे विजयन के पदभार संभालने के बाद चीजें आरोपी के पक्ष में बदल गईं। रेमा ने कहा, सरकार और माकपा दोनों ही आरोपियों का समर्थन कर रही हैं। कोविड महामारी के बाद जरा देखिए कि इन आरोपियों को इसका लाभ कैसे मिला है और अब लगभग दो साल से बाहर हैं।
आईएएनएस
Created On :   11 Jan 2022 2:31 PM IST