होली 2018, भद्रा का प्रभाव 2 घंटे 29 मिनट ही मुहूर्त

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। साल बदलते हैं लेकिन त्योहार नहीं। नए साल में एक बार फिर खुशियों और पुरातन परंपराओं के साथ दस्तक देते हैं। साल 2018 में अब एक बार फिर त्योहारों की झड़ी लगने वाली है। हिंदू परिवार में कुछ प्रमुख त्योहार हैं जिन्हें धूमधाम से मनाया जाता है। इन्हीं में से एक है होली। साल 2018 में होलिका दहन 1 मार्च 2018 बृहस्पतिवार को किया जाएगा, जबकि दूसरे दिन अर्थात 2 मार्च 2018 को धुड़ेरी है।
फाल्गुन माह की पूर्णिमा को होलिका दहन की परंपरा है। इसे सूर्यास्त के बाद पूर्णिमा तिथि पर करना चाहिए। परंपरानुसार होलिका की गोद में भक्त प्रहलाद का दहन किया जाता है। इसी बीच को निकाल लिया जाता है, जबकि होलिका जल जाती है।
भद्रा पर नही होता दहन
होलिका की आग से घरों में रोटी, बाटी बनाने की भी परंपरा है। कहा जाता है कि इसकी अग्नि समस्त नकारात्मक शक्तियों को घर से दूर कर देती है। पूर्णिमा तिथि के दौरान यदि भद्रा है तो ऐसी स्थिति में होलिका पूजन और होलिका दहन करना अशुभ माना गया है। क्योंकि भद्रा में भी शुभ कार्य वर्जित माने गए हैं।
प्रचलित है ये कथा
इस त्योहार को लेकर वर्णित कथा के अनुसार हिरण्यकश्यप के पुत्र प्रहलाद बहुत बड़े विष्णु भक्त थे। किंतु हिरण्यकश्यप को यह पसंद नही था। अतः उसने प्रहलाद को मारने का निर्णय लिया। इसके लिए उसने अपनी बहन होलिका से कहा। होलिका को अग्नि में ना जलने का वरदान ब्रम्हदेव से प्राप्त था। अतः वह प्रहलाद को गोद में लेकर बैठ गई, किंतु विष्णु की कृपा से प्रहलाद बच गए और होलिका जल गई।
शुभ मुहूर्त
होलिका दहन का शुभ मुहूर्त - 18:26 से 20:55
मुहूर्त की अवधि- 2 घंटे 29 मिनट
भद्रा पूंछ- 15:54 से 16:58
भद्रा मुख- 16:58 से 18:45
पूर्णिमा तिथि
पूर्णिमा तिथि प्रारंभ- 1 मार्च 2018 को 08:57 बजे से
पूर्णिमा तिथि समाप्त- मार्च 2018 को 06:21 बजे तक
Created On :   27 Dec 2017 9:29 AM IST