मध्य प्रदेश के सियासी संकट को भाजपा ने कांग्रेस का निजी संकट बताया

BJP termed Madhya Pradeshs political crisis as Congresss personal crisis
मध्य प्रदेश के सियासी संकट को भाजपा ने कांग्रेस का निजी संकट बताया
मध्य प्रदेश के सियासी संकट को भाजपा ने कांग्रेस का निजी संकट बताया
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नई दिल्ली, 4 मार्च (आईएएनएस)। मध्य प्रदेश के आठ विधायकों के गुरुग्राम के होटल पहुंचने पर कमलनाथ सरकार पर संकट के बादल मंडरा रहे हैं। राज्य में ऑपरेशन कमल के जरिए सरकार गिराने के आरोपों पर भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने प्रतिक्रिया दी है। हालांकि सरकार को समर्थन दे रही बसपा की एक विधायक रमाबाई राज्य सरकार के खेमे में वापस लौट आई हैं।

मध्य प्रदेश में सरकार परिवर्तन की कोशिशों को भाजपा ने गलत बताया है। केंद्रीय मंत्री मुख्तार अब्बास नकवी ने इसे कांग्रेस का आंतरिक कलह बताया और कहा कि भाजपा का इससे कोई लेना देना नहीं है।

भाजपा के मध्य प्रदेश अध्यक्ष बीडी शर्मा ने भी राज्य के सियासी घटनाक्रम के पीछे भाजपा की भूमिका से इनकार किया है। बीडी शर्मा ने मीडिया से कहा, यह कमलनाथ, दिग्विजय सिंह और सिंधिया जी (माधव राव सिंधिया) को बताना चाहिए कि विधायक कहां हैं। यह कांग्रेस की आंतरिक कलह का मामला है।

दरअसल मध्य प्रदेश के आठ विधायक मंगलवार को अचानक गायब हो गए। पता चला की सभी गुरुग्राम के एक होटल में हैं। जिसके बाद कांग्रेस ने भाजपा पर विधायकों को होटल में जबरन बंधक बनाने का आरोप लगाते हुए कहा कि 25 से 30 करोड़ में उन्हें खरीदने की कोशिश की जा रही है।

पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह ने मीडिया से कहा, विधायकों को अगवा करने में कुछ अराजक तत्वों ने भी भूमिका निभाई।

दिग्विजय सिंह ने शिवराज सिंह चौहान की भी इस मामले में भूमिका होने की बात की।

बता दें कि गुरुग्राम में ठिकाना बनाने वाले इन आठ विधायकों में चार कांग्रेस के और एक-एक विधायक सपा, बसपा के और दो निर्दलीय विधायक हैं। राज्य में संख्या बल की बात करें तो इस वक्त कांग्रेस के पास 114 और भाजपा के पास 107 विधायक हैं।

Created On :   4 March 2020 7:00 AM GMT

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