किसान आंदोलन: एसएफजे ने प्रदर्शनकारी किसानों के लिए 10 लाख डॉलर की मदद का किया ऐलान, हाई एलर्ट पर सुरक्षा एजेंसियां 

किसान आंदोलन: एसएफजे ने प्रदर्शनकारी किसानों के लिए 10 लाख डॉलर की मदद का किया ऐलान, हाई एलर्ट पर सुरक्षा एजेंसियां 
हाईलाइट
  • SFJ ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर किया मदद का वादा
  • पंजाब की स्वतंत्रता के लिए खालिस्तान रेफरेंडम वोटिंग की शुरुआत कर रहा SFJ

डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। पंजाब, हरियाणा और उत्तर प्रदेश के हजारों किसान दिल्ली के तीन अंतरराज्यीय सीमा बिंदुओं पर रैली कर रहे हैं, प्रतिबंधित अलगाववादी समूह सिख्स फॉर जस्टिस (Sikhs for Justice) ने हरियाणा में पुलिस कार्रवाई में घायल हुए या जिनके वाहनों को नुकसान पहुंचा है, उनके लिए 10 लाख डॉलर सहायता की घोषणा करके उन्हें अपने जाल में फंसाने की चाल चली है।

इस सूचना ने सुरक्षा एजेंसियों की चिंता बढ़ा दी है और विरोध स्थलों पर SFJ समर्थकों पर कड़ी नजर रखने के लिए सादे कपड़ों में पुलसिकर्मी तैनात किए गए हैं, ताकि SFJ प्रदर्शनकारियों के साथ घुल-मिलकर उनका अनुचित फायदा न उठा सके।

SFJ ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर किया मदद का वादा 
SFJ ने एक सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म के माध्यम से अपनी हालिया घोषणा में कहा कि यह पंजाब और हरियाणा के उन किसानों को 10 लाख डॉलर की सहायता देगा, जो दिल्ली की ओर कूच करते समय पुलिस की कार्रवाई में घायल हुए हैं या जिनके वाहनों को नुकसान पहुंचा है। SFJ के संदेश में 30 नवंबर को अमेरिका, कनाडा, ब्रिटेन, फ्रांस और जर्मनी में 24 घंटे के कॉल सेंटर खोलने की इसकी योजना का उल्लेख किया गया है, ताकि पंजाब और हरियाणा के किसानों के नुकसान की भरपाई के लिए और खालिस्तान रेफरेंडम के लिए ऑनलाइन आवेदन स्वीकार किए जा सकें।

पंजाब की स्वतंत्रता के लिए खालिस्तान रेफरेंडम वोटिंग की शुरुआत कर रहा SFJ
अमेरिका में रह रहे SFJ के जनरल काउंसिल और ग्रुप के प्रमुख नेता गुरपतवंत सिंह पन्नून द्वारा सर्कुलेट संदेश का उल्लेख करते हुए कहा गया कि SFJ 15 अगस्त, 2021 को लंदन से पंजाब की स्वतंत्रता के लिए खालिस्तान रेफरेंडम वोटिंग की शुरुआत कर रहा है। पन्नून को भारत सरकार ने आंतकी घोषित कर रखा है। पंजाब और हरियाणा के किसानों को यह आश्वासन देते हुए कि SFJ उनके सभी नुकसानों की भरपाई करेगा, पन्नून ने कहा एक बार पंजाब के भारत से अलग हो जाने के बाद, किसानों का ऋण माफ कर दिया जाएगा और मुफ्त बिजली आपूर्ति दी जाएगी। समूह ने धमकी दी है अगर भारत सरकार ने सितंबर में लागू किए गए अपने तीन विवादास्पद कृषि कानूनों को निरस्त नहीं किया तो वह इसे अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर उठाएगा।

पन्नून ने संदेश में कहा कि अगर मोदी सरकार किसानों की मांग के अनुसार कृषि बिलों को नहीं निरस्त करती है, तो SFJ विभिन्न कसिान संगठनों का समर्थन करते हुए अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर भारत के खिलाफ कानूनी मुहिम शुरू करेगा। SFJ पहले से ही राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) के रडार पर है, जो इसके प्रमुख नेताओं जैसे पन्नून और कई अन्य लोगों के खिलाफ कार्रवाई कर रहा है। सितंबर की शुरुआत में एनआईए के इनपुट के आधार पर एमएचए ने पन्नून और SFJ के कनाडा कोऑर्डिनेटर हरदीप सिंह निज्जर की संपत्तियों को कुर्क करने का आदेश जारी किया था।

Created On :   29 Nov 2020 2:32 PM GMT

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