Death Anniversary: भारत के पहले प्रधानमंत्री नेहरू की 56वीं पुण्यतिथि, पीएम मोदी और राहुल ने दी श्रद्धांजलि
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। भारत के पहले प्रधानमंत्री पंडित जवाहरलाल लाल नेहरू की आज (27 मई) 56वीं पुण्यतिथि है। इस मौके पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की। बता दें कि 1964 में नेहरू का 75 वर्ष की आयु में दिल का दौरा पड़ने से निधन हो गया था। उन्होंने 1947 में भारत को मिली स्वतंत्रता के बाद से 1964 में निधन होने तक भारत के प्रधानमंत्री के रूप में कार्य किया। 27 मई को अंतिम सांस लेने के बाद 28 मई को नेहरू का यमुना के तट पर शांतिवन में अंतिम संस्कार किया गया था।
Tributes to our first PM, Pandit Jawaharlal Nehru Ji on his death anniversary.
— Narendra Modi (@narendramodi) May 27, 2020
कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने श्रद्धांजलि देते हुए कहा, पंडित जवाहरलाल नेहरू जी एक बहादुर स्वतंत्रता सेनानी, आधुनिक भारत के वास्तुकार और हमारे पहले पीएम थे।
Pandit Jawaharlal Nehru Ji was a brave freedom fighter, the architect of modern India our first PM. A visionary, he is immortalised in the world class institutions he inspired, that have stood the test of time.
— Rahul Gandhi (@RahulGandhi) May 27, 2020
On his death anniversary, my tribute to this great son of India. pic.twitter.com/ZNUF4ksiDF
पं नेहरू का जन्म 14 नवंबर 1889 को इलाहाबाद में हुआ था। उन्हें आधुनिक भारत का ‘निर्माता’ भी कहा जाता है। 1964 में प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू के निधन के बाद ये फैसला लिया गया कि उनके जन्मदिन को बाल दिवस के तौर पर माना जाए। बाल दिवस के दिन बच्चों के अधिकार, देखभाल और शिक्षा के बारे में लोगों को जागरुक किया जाता है। पं नेहरू की मौत के बाद बच्चों के प्रति उनके प्यार और लगाव के कारण पूरे देश ने एक साथ 14 नवंबर को बाल दिवस मनाने का फैसला किया।
भारत रत्न से सम्मानित
पंडित जवाहरलाल नेहरू ब्रिटिश शासन के खिलाफ भारतीय स्वतंत्रता संग्राम के महान सेनानी थे। वह लोकतंत्र, समाजवाद और धर्मनिरपेक्षता में विश्वास रखते थे। 1955 में नेहरू को भारत के सर्वोच्च नागरिक सम्मान भारत रत्न से सम्मानित किया गया। जब देश भुखमरी, गरीबी और अशिक्षा जैसे संकट से गुजर रहा था, तब पंडित नेहरू ने देश की कमान संभाली।
महान लेखक भी थे पंडित नेहरू
पंडित नेहरू एक महान राजनीतिज्ञ, प्रभावशाली वक्ता और लेखक भी थे। उनकी रचनाओं में इंडिया एंड द वर्ल्ड, द डिस्कवरी ऑफ इंडिया, ग्लिम्प्स ऑफ वर्ल्ड हिस्ट्री और बायोग्राफी "टुवर्ड फ्रीडम" प्रचलित है। इन सभी में सबसे ज्यादा प्रचलित द डिस्कवरी ऑफ इंडिया किताब की रचना 1944 में अहमदनगर की जेल में हुई थी। नेहरू ने इसे अंग्रेजी में लिखा था, बाद में इसका हिंदी में अनुवाद किया गया।
आजादी के बाद नेहरू के पहले भाषण को "ट्रिस्ट विद डेस्टिनी के नाम से जाना जाता है। इसका हिंदी मतलब नियति से साक्षात्कार है। यह भारतीय इतिहास के अब तक के सबसे मशहूर भाषणों में से एक था, जिसमें पं. नेहरू ने कहा था, जब दुनिया सो रही होगी, भारत जीवन और स्वतंत्रता के लिए जग जाएगा।
Created On :   27 May 2020 11:30 AM IST