110 फीट गहरे बोरवेल से 31 घंटे बाद सुरक्षित निकाली गई 3 साल की सना
- SDRF और NDRF की टीमों ने सेना की मदद से यह रेस्क्यू ऑपरेशन चलाया।
- इसे रात 10.40 पर कामयाबी मिली।
- बिहार में 3 साल की सना को 31 घंटे तक चले रेस्क्यू ऑपरेशन के बाद 110 फीट गहरे बोरवेल से सुरक्षित निकाल लिया गया।
डिजिटल डेस्क, पटना। बिहार में 3 साल की सना को 31 घंटे तक चले रेस्क्यू ऑपरेशन के बाद 110 फीट गहरे बोरवेल से सुरक्षित निकाल लिया गया। SDRF और NDRF की टीमों ने सेना की मदद से यह रेस्क्यू ऑपरेशन चलाया, जिसे रात 10.40 पर कामयाबी मिली। फिलहाल सना का इलाज मुंगेर के सिविल अस्पताल में किया जा रहा है।
#Bihar: 3-year-old girl who was rescued after being trapped in a 110 feet deep borewell since yesterday, has been admitted to Sadar hospital in Munger. pic.twitter.com/w6H1u6WQDF
— ANI (@ANI) August 1, 2018
बता दें कि मुंगेर जिले के थाना मुर्गीयाचक मोहल्ला में मंगलवार शाम 3 साल की सना घर के आगन में बने बोरवेल में गिर गई थी। सना पंजाब नेशनल बैंक में काम करने वाले अपने पापा नचिकेता के साथ 2 दिन पहले नाना के घर आई थी। मंगलवार शाम वह ननिहाल में पड़ोसी के घर हो रहे बोरिंग के लिए खोदे गए गड्ढे में गिर गई। नचिकेता मुंगेर के दलहट्टा इलाके में रहते हैं।
#WATCH: A team of National Disaster Response Force (NDRF) rescue the three-year-old girl who was stuck in a 110 feet deep borewell in Munger since yesterday. #Bihar (Source: NDRF) pic.twitter.com/FDm8bZ9SDk
— ANI (@ANI) August 1, 2018
एसडीआरएफ के संजीव कुमार ने बताया कि बच्ची के रेस्क्यू के लिए हर मुमकिन कोशिश की गई। मौके पर L शेप में गड्ढा खोदा गया। कोतवाली थाना प्रभारी राजेश शरण ने बताया बच्ची को सांस लेने में दिक्कत न हो इसलिए बोरवेल में लगातार ऑक्सीजन पहुंचाई गई।
31 घंटे चला रेस्क्यू ऑपरेशन
सना को बचाने के लिए 31 घंटे तक रेस्क्यू टीम लगी रही। रेस्क्यू के दौरान बच्ची का पैर फंसा होने की वजह से उसे सुरक्षित निकालने में थोड़ी देरी हुई। इसके अलावा बारिश होने के चलते भी टीम को रेस्क्यू में समस्या का सामना करना पड़ा। इस दौरान सदर अस्पताल के डॉ. फैज सना की सेहत पर लगातार नजर रखे हुए थे। सना पर सीसीटीवी से नजर रखी जा रही थी। टीम ने बताया कि सना 45 फीट की गहराई में फंसी थी। बोरवेल की खुदाई में प्रशासन ने उन मजदूरों को भी लगाया था, जो कब्र खोदते हैं। ये मजदूर गड्ढे खोदने में माहिर होते हैं।
Created On :   1 Aug 2018 1:02 PM IST