मनी लॉन्ड्रिंग मामला: सोरेन ने ईडी से मांगा 3 सप्ताह का समय
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन ने गुरुवार को झारखंड और बिहार में अवैध खनन और जबरन वसूली से संबंधित धन शोधन रोकथाम मामले में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के समक्ष पेश होने के लिए तीन सप्ताह का समय मांगा।
ईडी के सूत्रों ने दावा किया कि सोरेन ने जांच एजेंसी को पत्र लिखकर कुछ कार्यक्रमों में शामिल होने की वजह से समय मांगा है। सोरेन को ईडी ने गुरुवार को जांच में शामिल होने के लिए तलब किया था, लेकिन उन्होंने पूछताछ में शामिल होने से किनारा कर लिया।
संघीय एजेंसी ने पूछताछ से पहले झारखंड पुलिस आयुक्त को उचित सुरक्षा व्यवस्था के लिए एक पत्र भी लिखा था। सूत्रों ने कहा, सोरेन द्वारा हस्ताक्षरित एक चेक था, जो हाल ही में छापेमारी के दौरान हमें मिला था। उन्होंने कथित तौर पर अपने पद का दुरुपयोग किया और लीज प्रदान की। हाल ही में, ईडी ने पंकज मिश्रा, बच्चू यादव और प्रेम प्रकाश के खिलाफ विशेष रांची अदालत के समक्ष अभियोजन शिकायत (आरोप पत्र) दायर किया था, इन सभी को झारखंड के सीएम का करीबी बताया गया। चार्जशीट पर कोर्ट पहले ही संज्ञान ले चुका है।
मामले की जांच के दौरान, कई तिथियों पर पूरे भारत में 47 जगहों पर तलाशी की गईं, जिसके परिणामस्वरूप 5.34 करोड़ रुपये की नकदी जब्त की गई, 13.32 करोड़ रुपये की बैंक शेष राशि को फ्रीज किया गया, एक अंतर्देशीय जहाज को फ्रीज किया गया, 5 स्टोन क्रशर, दो हाइवा ट्रक के अलावा दो एके-47 असॉल्ट राइफल के साथ आपत्तिजनक दस्तावेज जब्त किए गए। इससे पहले ईडी ने पंकज मिश्रा, बच्चू यादव और प्रेम प्रकाश को गिरफ्तार किया था जो न्यायिक हिरासत में हैं।
ईडी ने मिश्रा और अन्य के खिलाफ आईपीसी की विभिन्न धाराओं के तहत साहिबगंज जिले के बरहरवा पुलिस स्टेशन में दर्ज प्राथमिकी के आधार पर मनी लॉन्ड्रिंग की जांच शुरू की। बाद में, आईपीसी, विस्फोटक पदार्थ अधिनियम, शस्त्र अधिनियम और अवैध खनन के संबंध में कई और मामले जोड़े गए। इस मामले में अब तक ईडी एक हजार करोड़ रुपये से अधिक के अवैध खनन से संबंधित पीओसी की पहचान कर चुकी है।
पीएमएलए जांच से पता चला कि मुख्यमंत्री के प्रतिनिधि होने के नाते राजनीतिक दबदबे के चलते मिश्रा अपने सहयोगियों के माध्यम से साहेबगंज और उसके आसपास के क्षेत्रों में अवैध खनन व्यवसायों के साथ-साथ अंतर्देशीय नौका सेवाओं को नियंत्रित करता था। वह स्टोन चिप्स और बोल्डर के खनन के साथ-साथ साहेबगंज में विभिन्न खनन स्थलों पर स्थापित कई क्रशरों की स्थापना और संचालन पर काफी नियंत्रण रखता है। ईडी अधिकारी ने कहा- मिश्रा द्वारा अर्जित 42 करोड़ रुपये की अपराध की आय की अब तक पहचान की जा चुकी है। मामले में आगे की जांच जारी है।
(आईएएनएस)।
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Created On :   3 Nov 2022 5:31 PM IST