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Bhandara News: भंडारा में बाघ की दहशत से तेंदूपत्ता संकलन पर लगा ब्रेक

- आलेसुर के बाजार चौक में बाघ नजर आने से ग्रामीण भयभीत
- करीब 12 गांवों के नागरिक दुबके घरों में
Bhandara News तुमसर तहसील के वनक्षेत्र ग्राम आलेसूर के बाजार चौक में रविवार की रात करीब 9.30 से 10 बजे के दौरान एक बाघ को मुक्त विचरण करते हुए देखा गया। जिसकी दहशत से सोमवार को 10 से 12 गांवों के मजदूर जंगल में तेंदूपत्ता संग्रहण करने नहीं गए। हालांकि, इस बाघ ने किसी को नुकसान नहीं पहुंचाया और वापस जंगल लौट गया, लेकिन क्षेत्र में बाघ की दहशत फैली है, जिससे लोग अपने घरों से बाहर निकलने में कतरा रहे है्।
जानकारी के अनुसार, रविवार की रात करीब 9.30 से 10 बजे के दौरान शंकरपट देखकर स्थानीय निवासी रमेश मेहर गांव की ओर लौट रहा था। तभी चिखली रोड पर स्थित बाजार चौक में उसने बाघ को घूमते हुए देखा। पहले तो मेहर को विश्वास नहीं हुआ। तभी कुछ समय बाद बाघ को इधर-उधर विचरण करते देखकर वह बाजार चौक से सीधे गांव की ओर दौड़ पड़ा और ग्रामीणों को इसकी जानकारी दी। साथ ही वन विभाग को सूचित किया। सूचना मिलने पर रविवार की रात वन विभाग के कर्मचारी ने आलेसुर बाजार चौक पहुंचकर निरीक्षण किया। लेकिन बाघ किसी को चोट पहुंचाए बिना जंगल में लौट गया था।
बाजार चौक में बाघ को देखे जाने की खबर गांव मे फैलते ही गांव में दहशत का माहौल है। उल्लेखनीय है कि, तुमसर तहसील के अंतिम छोर पर बसे आलेसुर गांव की आबादी लगभग एक हजार 300 है। यह गांव घने जंगल से घिरा हुआ है और सातपुड़ा पर्वत श्रृंखला में स्थित है। लेंडेझरी वन क्षेत्र में आनेवाले इस गांव में जंगली जानवरों का विचरण रहता है। ऐसे में आलेसुर के बाजार चौक में आया बाघ पानी या शिकार की तलाश में आने की संभावना व्यक्त की जा रही हंै। लेकिन बाघ गांव के आसपास रहने की आशंका व्यक्त की जा रही है।
कुड़वा में बाघ ने किया था किसान पर हमला : क्षेत्र के 10 से 12 गांवों के नागरिक गर्मी में तेंदूपत्ता संग्रहण करते है। तेंदूपत्ता संकलन के माध्यम से एक व्यक्ति लगभग 300 से 500 रुपए प्रति दिन कमाता है और आलेसुर के 700 से 800 नागरिक बाघों के भय से सोमवार को तेंदूपत्ता इकट्ठा करने जंगल में नहीं गए। इस क्षेत्र में अब बाघ का खतरा मंडरा रहा है। मध्यप्रदेश की सीमा पर स्थित आलेसुर गांव से कुछ किलोमीटर दूर मध्य प्रदेश के ग्राम कुड़वा में दस दिन पहले एक बाघ ने एक किसान पर हमला किया था। इस घटना के बाद से इलाके में दहशत का माहौल है।
अधिकारी से नहीं हुआ संपर्क : आलेसुर में हुई घटना के बारे में पूछे जाने पर लेंडेझरी वन परिक्षेत्र अधिकारी अपेक्षा शेंडे से मोबाइल फोन पर संपर्क किया गया, लेकिन उनसे कोई जवाब नहीं मिला। स्थानीय निवासी राघोबा मेहर और अखाडू सोनवाने ने बताया कि रविवार को आलेसुर के बाजार चौक पर बाघ देखे जाने के बाद सोमवार को दर्जनभर गांवों के लोग तेंदूपत्ता इकट्ठा करने के लिए जंगल में नहीं गए।
Created On :   20 May 2025 3:03 PM IST