किसानों को दूध की न्यूनतम दर देने समिति का गठन

किसानों को दूध की न्यूनतम दर देने समिति का गठन
  • दुग्ध व्यवसाय विकास आयुक्त शिरपुरकर की अध्यक्षता में बनी समिति
  • किसानों को दूध की न्यूनतम दर देने समिति का गठन

डिजिटल डेस्क, मुंबई। प्रदेश सरकार ने गाय और भैंस के दूध के लिए न्यूनतम दर तय करने को लेकर समिति का गठन किया है। यह समिति दूध उत्पादक किसानों को दूध के लिए दी जाने वाली न्यूनतम दर तय करेगी। इससे राज्य के सहकारी और निजी दूध संघों को दूध उत्पादक किसानों को न्यूनतम दर देना अनिवार्य हो जाएगा। सरकार ने राज्य के दुग्ध व्यवसाय विकास आयुक्त डॉ. श्रीकांत शिरपुरकर की अध्यक्षता में समिति गठित की है। जिसमें दुग्ध व्यवसाय विभाग के अधिकारियों और सहकारी व निजी दुध संघों के प्रतिनिधियों को शामिल किया गया है। मंगलवार को राज्य के दुग्ध व्यवसाय विभाग ने इस संबंध में शासनादेश जारी किया है। समिति को हर तीन महीने में बैठक लेकर दूध उत्पादक किसानों को दिए जाने वाली न्यूनतम दर को तय करेगी। दुग्ध व्यवसाय विकास आयुक्त को दूध की न्यूनतम दर की मंजूरी सरकार से लेनी होगी। समिति को विशिष्ट प्रकरण मं विशेषज्ञों का अभिप्राय की आवश्यकता होने पर निजी व्यक्ति और अधिकारियों को बैठक में निमंत्रित करने की छूट रहेगी। सरकार की ओर से गठित समिति में सहकारी दूध संघों के प्रतिनिधि के रूप में महानंद के चेयरमैन, जलगांव जिला सहकारी दुध उत्पादक संघ, वारणा सहकारी दूध उत्पादक प्रक्रिया संघ, कोल्हापुर जिला सहकारी दूध उत्पादक संघ और औरंगाबाद जिला सहकारी दूध उत्पादक संघ को शामिल किया गया है। जबकि निजी दूध संघ के प्रतिनिधि के रूप में सांगली के चितले डेयरी भिलवडी, पुणे के इंदापुर की डेयरी एंड मिल्क कंपनी, पुणे की ऊर्जा मिल्क एण्ड मिल्क कंपनी को शामिल किया है। इससे पहले बीते 22 जून को पुणे में राज्य के दुग्धव्यवसाय विकास मंत्री राधाकृष्ण विखे-पाटील ने बैठक की थी। जिसमें दूध उत्पादक संगठनों के प्रतिनिधियों ने दूध की दरों में बड़े पैमाने पर गिरावट होने के चलते नाराजगी जताई थी। जिसके बाद विखे-पाटील ने दूध के न्यूनतम दर तय करने के लिए समिति बनाने की घोषणा की थी।

Created On :   27 Jun 2023 9:23 PM IST

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