Mumbai News: सिंघाड़ा को मिला कृषि फसल का दर्जा, पूर्व विदर्भ अंचल में किसान छोटे तालाबों में करते हैं उत्पादन

सिंघाड़ा को मिला कृषि फसल का दर्जा, पूर्व विदर्भ अंचल में किसान छोटे तालाबों में करते हैं उत्पादन
  • पूर्व विदर्भ अंचल में किसान छोटे तालाबों में उत्पादन करते हैं
  • सिंघाड़ा को मिला कृषि फसल का दर्जा

Mumbai News. प्रदेश सरकार ने सिंघाड़ा को कृषि फसल का दर्जा दिया है। राज्य के कृषि विभाग ने इस संबंध में शासनादेश जारी किया है। इससे अन्य कृषि फसलों के लिए लागू विभिन्न योजनाओं का लाभ अब सिंघाड़ा उत्पादक किसानों को भी मिल सकेगा। सरकार के मुताबिक राज्य के पूर्व विदर्भ अंचल में किसान छोटे-छोटे तलाबों में बड़े पैमाने पर सिंघाड़े का उत्पादन करते हैं। सिंघाड़ा फाइबर से युक्त होता है। सिंघाड़ा से विभिन्न उप पदार्थ बनाए जाते हैं। पारंपरिक धान की खेती के साथ सिंघाड़ा की पैदावार करने से किसानों को आर्थिक लाभ मिल सकेगा। ग्रामीण इलाके के बेरोजगारों को रोजगार का नया अवसर भी मिलेगा। इसके मद्देनजर सरकार ने सिंघाड़ा को कृषि फसल इस संबंध में मान्यता प्रदान की है।

राज्य के विपणन विभाग ने सिंघाड़ा को खेती उपज के रूप में अधिसूचित किया है। इसके अलावा कोंकण के दापोली स्थित डॉ.बालासाहेब सावंत कोंकण कृषि विश्वविद्यालय ने भी सिंघाड़ा को कृषि फसल के रूप में समावेश करने की सिफारिश की थी। इसके मद्देनजर सरकार ने यह फैसला लिया है। राज्य के कृषि आयुक्त की ओर से सिंघाड़ा उत्पादक किसानों के लिए लागू लाभ के बारे में विस्तृत दिशानिर्देश जारी किया जाएगा। राज्य में अभी तक सिंघाड़ा को कृषि फसल के रूप में मान्यता नहीं मिलने के कारण इसका उत्पादन करने वाले किसानों को कृषि फसल की विभिन्न योजनाओं का लाभ नहीं मिल पा रहा था।


Created On :   30 April 2025 9:45 PM IST

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