नई तकनीक : गड्‌ढों को भरने के लिए पहली बार रिएक्टिव डामर का इस्तेमाल

नई तकनीक : गड्‌ढों को भरने के लिए पहली बार रिएक्टिव डामर का इस्तेमाल
  • गड्‌ढे भरने के बाद महज दो घंटे में शुरु हो गया यातायात
  • मुंबई के सभी 24 विभागों को मिक्स बैग उपलब्ध कराए गए
  • गड्‌ढों को भरने के लिए पहली बार रिएक्टिव डामर का इस्तेमाल

डिजिटल डेस्क, मुंबई। महानगर में बारिश के मौसम में सड़कों पर बने गड्ढों को भरने के लिए मनपा का सड़क विभाग द्वारा विभिन्न उपाय कर रहा है। गड्ढों को भरने के लिए इस मानसून में पहली बार रिएक्टिव डामर सामग्री का उपयोग किया जा रहा है। मानसून में सड़कों में बने गड्‌ढों को भरने के लिए मनपा ने अधिकारियों को विभागवार जिम्मेदारी दी है। मनपा अधिकारी ने बताया कि इस रेएक्टिव डामर का उपयोग एच पूर्व विभाग के खार सबवे में किया गया है। गड्‌ढे भरने के महज दो घंटों के भीतर उसे वाहनों के आवागमन के लिए खोल दिया गया।

बीएमसी के अतिरिक्त आयुक्त पी वेलारासू ने बताया कि मुंबई मनपा क्षेत्र में गड्ढों को भरने के लिए प्रतिक्रियाशील डामर का उपयोग करने वाला एक पायलट प्रोजेक्ट कुछ दिन पहले आयोजित किया गया था। पायलट प्रोजेक्ट ने मिश्रण के उपयोग के सफल परिणाम दिखाए। इसलिए मनपा के सड़क विभाग ने पूरे महानगर में रिएक्टिव डामर मिश्रण का उपयोग करने का निर्णय लिया है। सड़क विभाग ने हर विभाग में गड्ढे भरने के लिए यह मिश्रण उपलब्ध कराया है।

रिएक्टिव डामर प्रक्रिया

प्रतिक्रियाशील डामर रासायनिक रूप से मिश्रित डामर है। महत्वपूर्ण बात यह है कि डामर के सड़कों पर पानी के संपर्क में आने से गड्ढे बन जाते हैं, लेकिन इन गड्ढों को केवल प्रतिक्रियाशील डामर मिश्रण में पानी मिलाकर ही भरा जाता है। गड्ढों को भरने के लिए रासायनिक पाउडर, बजरी और पानी के मिश्रण का उपयोग किया जाता है। प्रतिक्रियाशील डामर में रासायनिक पाउडर पर पानी का कोई प्रभाव नहीं पड़ता है। मुंबई के सभी 24 विभागों को मिक्स बैग उपलब्ध कराए गए हैं। यह तकनीक इकोग्रीन इंफ्रा डेवलपमेंट कंपनी द्वारा विभागों को उपलब्ध कराई गई है। इसका रासायनिक पाउडर आयात किया गया है।

कोई शिकायत नहीं मिली

मुंबई में एक पायलट प्रोजेक्ट के तहत, इस मिश्रण का उपयोग शहर, पूर्वी उपनगरों और पश्चिमी उपनगरों की कुछ सड़कों पर गड्ढों को भरने के लिए किया गया था। इसके बाद इन सड़कों पर जहां गड्ढे भरे गए हैं, वहां यातायात सुचारू रूप से जारी है। सड़क की बजरी हटाने या दोबारा पाटने जैसी कोई शिकायत नहीं देखी गई।

रैपिड हार्डनिंग तकनीक

पिछले वर्ष मानसून के दौरान मनपा ने रैपिड हार्डनिंग तकनीक का उपयोग किया था। प्रौद्योगिकी के लिए नौ सेवा प्रदाताओं के माध्यम से रैपिड हार्डनिंग को मुंबई महानगरीय क्षेत्र में तैनात किया जाएगा। इस तकनीक के प्रयोग में मनपा को सफलता भी मिली। हालांकि इस तकनीक के उपयोग के लिए सूखी सतह की आवश्यकता होती है। रैपिड हार्डनिंग कंक्रीट का उपयोग कर छह घंटे बाद उक्त सड़क को यातायात के लिए खोला जा सकेगा।

कोल्ड मिक्स की आपूर्ति

मुंबई में छह मीटर और उससे कम चौड़ाई वाली सड़कों के गड्ढे भरने के लिए मनपा के रख-रखाव विभाग के माध्यम से कोल्ड मिक्स का उपयोग किया जाएगा। मुंबई के सभी विभागों में गड्ढे भरने के लिए अब तक 1300 मीट्रिक टन कोल्ड मिक्स सप्लाई किया जा चुका है, जबकि 200 मीट्रिक टन कोल्ड मिक्स रिजर्व रखा गया है।

पी. वेलारासू, अतिरिक्त आयुक्त-बीएमसी के मुताबिक तीन जगहों पर रिएक्टिव डामर के मिश्रण का इस्तेमाल कर पायलट प्रोजेक्ट लागू किया गया है। गुरुवार को खार सबवे मार्ग पर गड्ढा भरने का काम किया गया। यहां रिएक्टिव डामर का उपयोग कर तुरंत सड़क यातायात बहाल कर दिया गया।


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Created On :   2 July 2023 5:12 PM IST

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