नागपुर हाईकोर्ट: वरिष्ठता तय करने में वेतनश्रेणी व पदोन्नति तिथि निर्णायक नहीं, जिला परिषद शिक्षकों पर अहम फैसला

वरिष्ठता तय करने में वेतनश्रेणी व पदोन्नति तिथि निर्णायक नहीं, जिला परिषद शिक्षकों पर अहम फैसला
यह देखना आवश्यक है कि शिक्षक ने बी.एड. जैसी प्रशिक्षण योग्यता कब प्राप्त की

Nagpur News. जिला परिषद शिक्षकों की वरिष्ठता को लेकर बॉम्बे हाईकोर्ट की नागपुर खंडपीठ ने एक महत्वपूर्ण निर्णय सुनाया है। अदालत ने भंडारा जिला परिषद की उच्च माध्यमिक शिक्षकों की अंतिम वरिष्ठता सूची को रद्द कर दिया। न्यायमूर्ति मुकुलिका जवलकर और न्यायमूर्ति राज वाकोडे की खंडपीठ ने स्पष्ट किया कि वरिष्ठता तय करते समय यह देखना आवश्यक है कि शिक्षक ने बी.एड. जैसी प्रशिक्षण योग्यता कब प्राप्त की। वेतनश्रेणी या पदोन्नति की तिथि वरिष्ठता का आधार नहीं हो सकती।

यह याचिका जिला परिषद शिक्षक जयप्रकाश गायधने ने दायर की थी। उन्हें 1988 में सहायक शिक्षक के रूप में नियुक्त किया गया था और 2001 में बी.एड. डिग्री हासिल की थी। लेकिन जिला परिषद ने उनकी वरिष्ठता 2012 से मानी, जब उन्हें उच्च माध्यमिक शिक्षक के रूप में पदोन्नति मिली। गायधने ने इस निर्णय को चुनौती देते हुए कहा कि माध्यमिक शाला संहिता की धारा-45 के अनुसार उनकी वरिष्ठता 2001 से गिनी जानी चाहिए थी।

जिला परिषद ने अपने जवाब में कहा कि वरिष्ठता उच्च माध्यमिक शिक्षक के रूप में नियुक्ति की तिथि से तय होती है। अदालत ने यह तर्क खारिज करते हुए कहा कि जिला परिषद के स्कूल भी माध्यमिक शाला संहिता के अधीन हैं और वरिष्ठता तय करते समय प्रशिक्षण योग्यता की तिथि ही निर्णायक होगी। अदालत ने आदेश दिया कि गायधने का नाम ‘श्रेणी-बी’ में 2001 से दर्ज किया जाए और 23 सितंबर 2024 को प्रकाशित वरिष्ठता सूची को रद्द कर नई सूची तैयार की जाए।

Created On :   22 Sept 2025 8:44 PM IST

Tags

और पढ़ेंकम पढ़ें
Next Story