आज से इतिहास बनने की राह पर टेकड़ी उड़ानपुल

  • 4 साल से अटका था काम
  • मुआवजे को लेकर दिक्कतें रहीं
  • मनपा की प्रक्रिया पूरी

डिजिटल डेस्क, नागपुर। साल 2008 में रेलवे स्टेशन के सामने बना उड़ानपुल अब इतिहास बनकर रह जाएगा। इस पुल को तोड़कर अब 6 लेन की सड़क बनाने की कार्रवाई शुरू हो जाएगी। इस पुल को यातायात जाम की समस्या से निजात दिलाने के लिए बनाया गया था। इस दौरान फुटपाथ दुकानदारों ने विरोध किया था। ऐसे में प्रशासन ने उड़ानपुल के नीचे 175 दुकानें बनवाईं, ताकि दुकानदारों को राहत मिलने के साथ ही स्टेशन के यात्रियों को भी सुविधा हो। इनमें से 17 दुकानों को मनपा ने अपने कब्जे में रखा था। करीब 158 दुकानें दुकानदारों को आवंटित की गई थीं। लंबी मशक्कत के बाद इस उड़ानपुल को तोड़ने की अनुमति मिली है। जल्द ही महामेट्रो प्रशासन निर्माणकार्य की प्रक्रिया आरंभ करेगा। मनपा के विद्युत विभाग से बिजली के खंबों को भी निकाला जा रहा है।

मुआवजे को लेकर दिक्कतें रहीं

पिछले कई सालों से यहां दुकानदार अपने परिवारों की आजीविका का गुजर-बसर कर रहे हैं। मनपा की ओर से उड़ानपुल को गिराकर 6 लेन की सड़क बनाने का फैसला होते ही दुकानदारों ने विरोध किया। लंबी कानूनी प्रक्रिया के बाद न्यायालय के माध्यम से मनपा और दुकानदारों के बीच समझौता हुआ है। मनपा प्रशासन ने 158 दुकानदारों में से करीब 60 दुकानदारों को 7.06 करोड़ मुआवजा दिया है, जबकि 90 दुकानदारों ने प्रस्तावित मेट्रो के व्यावसायिक संकुल में दुकानों को लेने का फैसला किया है। अब जल्द से जल्द उड़ानपुल गिराने के लिए कवायद आरंभ करने का दावा अधिकारी कर रहे हैं।

4 साल से अटका था काम

रामझूला बनने के बाद से ही मानस चौक और जयस्तंभ चौक पर खासी मशक्कत होने लगी है। रेलवे स्टेशन के मुख्य प्रवेश द्वार पर एकल मार्ग होने से परेशानी को देखते हुए केन्द्रीय मंत्री नितीन गडकरी ने उड़ानपुल को गिराकर 6 लेन की सड़क बनाने का निर्देश दिया। ऐसे में 29 सितंबर 2018 को मनपा ने प्रस्ताव पारित कर 6 लेन की सड़क की मंजूरी दी है। केन्द्र सरकार से लोकनिर्माण विभाग को 234.21 करोड़ रुपए की निधि भी मिल गई। लोकनिर्माण विभाग ने उड़ानपुल की जिम्मेदारी महामेट्रो को सौंपी है। पिछले करीब 4 सालों से व्यावसायिक संकुल पार्किंग प्लाजा समेत उड़ानपुल का प्रस्ताव अटक गया था। मनपा की ओर से दुकानदारों को दुकानों काे खाली करने का नोटिस दिया गया था, जिसके विरोध में न्यायालय की शरण ली गई थी। लंबी प्रक्रिया के बाद दुकानदारों के मुआवजे और पुनर्वसन का निपटारा होने पर गुरुवार की देर शाम तक दुकानों की चाबियां मनपा प्रशासन को सौंपी गईं। अब महामेट्रो निर्माणकार्य कर सकेगी।

मनपा की प्रक्रिया पूरी

मिलिंद मेश्राम, उपायुक्त, कर विभाग, मनपा के मुताबिक त्रिपक्षीय अनुबंध के तहत मनपा द्वारा दुकानों को खाली करवाकर महामेट्रो को सौंपना है, जबकि लोकनिर्माण विभाग को निधि मुहैया करानी है। महामेट्रो वर्तमान पुराने उड़ानपुल को तोड़कर नए निर्माणकार्य की प्रक्रिया करेगी। न्यायालय के निर्देश पर गुरुवार की देर रात दुकानों की चाबियां लेकर औपचारिक हस्तांतरण करना था, यह प्रक्रिया पूरी हो चुकी है।


Created On :   14 July 2023 7:46 PM IST

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