नकली दस्तावेज से जमीन हड़पने के 55 फर्जी केस लगाने वाला ठग जगदीश जैस्वाल धराया

नकली दस्तावेज से जमीन हड़पने के 55 फर्जी केस लगाने वाला ठग जगदीश जैस्वाल धराया
  • हुड़केश्वर पुलिस ने धोखाधड़ी के मामले में घर से दबोचा
  • आरोपी परिवार से आता था चोरी-छिपे मुलाकात करने
  • कोर्ट ने भी माना था गंभीर मामला है
  • लोगों के नाम के नकली दस्तावेज बनाकर उनके खिलाफ केस लगाता था

डिजिटल डेस्क, नागपुर. लोगों की जमीन हड़पने के लिए नकली कागज बनाकर उनके खिलाफ फर्जी केस लगाने वाले ठग जगदीश जैस्वाल को आखिरकार पुलिस ने गिरफ्तार कर लिया। उसने ऐसे करीब 55 केस लगाए थे, जिनमें से कुछ मामलों में अपने हित में फैसला भी करवा लिया, जबकि जिसकी प्रॉपर्टी थी उन्हें पता भी नहीं चला कि, उनके नाम से कोई केस भी चल रहा है। इसमें कई वकील और कोर्ट का स्टॉफ भी शामिल था। ऐसे ही ठगी के करीब पांच मामले अलग-अलग थानों में दर्ज भी हैं। हाई कोर्ट से जमानत खारिज होने के बाद से ही जगदीश फरार था। पुलिस ने बड़े ड्रामे के बाद रविवार को उसे धरदबोचा। उल्लेखनीय है कि, दैनिक भास्कर ने जगदीश जैस्वाल के मामलों का खुलासा किया था। जगदीश अक्सर अपने घर पर ही रहता था, जैसे ही पुलिस आती, तो वह घर में छिप जाता और पीछे के रास्ते से भाग जाता था। पुलिस को रविवार को सूचना मिली कि, वह घर पर है। जब पुलिस पहुंची, तो हमेशा की तरह घर की महिलाओं ने पुलिस को घर के भीतर आने से रोका। इसके बाद महिला पुलिस आगे आई। शुरूआत में घर के कमरों को छानने के बाद वह नहीं मिला। पुलिस जब रसोईघर में पहुंची, तो वह गैस की टंकी के पीछे छिपा मिला। वह पीछे के रास्ते से कहीं भाग न जाए इसलिए पुलिस ने भी पहले से ही घेराबंदी कर रखी थी।

इस मामले में थी तलाश : आरोपी को गिरफ्तार करने वाले एपीआई गाडगे के अनुसार 60 वर्षीय कुमुद पोहनेकर ने वर्ष 1982 में 1200 स्क्वेयर फीट का एक प्लॉट गोविंद प्रसाद पांडे से लिया था। जगदीश ने प्लॉट के फर्जी दस्तावेज बनाकर उसे साथियों के साथ मिलकर हड़पने का षड़यंत्र रचा था। पहले वह प्लॉटधारक को लालच देता था कि, वह उसके प्लॉट की केस में उसके पक्ष में काेर्ट से फैसला दिलवा देगा। कई मामले में उसने प्लॉटधारकों से लाखों रुपए की मांगकर मामला सेटलमेंट करने की बातें करता था। आरोपी जगदीश जैस्वाल के खिलाफ हुड़केश्वर थाने में कुमुद पोहनेकर नामक वृद्ध महिला ने धोखाधड़ी किए जाने की शिकायत दर्ज कराई थी। आरोपी ने कुमुद को भी यही भरोसा दिलाया था कि, उनके प्लॉट के मामले में चल रही केस को वह सुलझा देगा। इसके बदले में उसने कुमुद से कुछ दस्तावेज लिए। इसके बाद उनसे वकालतनामे पर खुद ही कुमुद के हस्ताक्षर कर लिए।

पश्चात उसने कब्जा पत्र अपने नाम से तैयार करवाया और उस पर कुमुद के फर्जी हस्ताक्षर कर उनका प्लॉट हडपने का प्रयास किया। जब जगदीश और उसके साथियों के काले कारनामे सामने आए, तब कुमुद ने उसके खिलाफ हुड़केश्वर थाने में 13 दिसंबर 2023 को शिकायत दर्ज कराई। हुड़केश्वर थाने के तत्कालीन थानेदारों ने भी मामले को दबाकर रख दिया था। जगदीश के कारनामों की लंबी फेहरिस्त है। वह अपने घर में चोरी छिपे जाता था और एक घंटे के बाद फिर गायब हो जाता था। हुड़केश्वर पुलिस मामले की जांच कर रही है। वरिष्ठ थानेदार कैलास देशमाने के मार्गदर्शन में एपीआई गाडगे जांच कर रहे हैं। हाई कोर्ट में इस मामले की सुनवाई में कोर्ट के सामने 55 केस पेश किए गए थे, जिसमें जगदीश जैस्वाल ने एक ही तरीके से फर्जी कागजात बनाकर प्लॉट, संपत्ति हड़पने का प्रयास किया था। कोर्ट ने माना कि, यह गंभीर किस्म का मामला है। पुलिस को सभी मामलों की जांच करना चाहिए। इस पर पुलिस ने आश्वासन भी दिया था।

Created On :   15 April 2024 12:28 PM GMT

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