चंदे के पैसे से लगाए 8 CCTV कैमरे, अब सोते हैं चैन की नींद- रहती हर गतिविधी पर नजर

8 CCTV cameras installed with donation money, residents are now feeling relaxed
चंदे के पैसे से लगाए 8 CCTV कैमरे, अब सोते हैं चैन की नींद- रहती हर गतिविधी पर नजर
चंदे के पैसे से लगाए 8 CCTV कैमरे, अब सोते हैं चैन की नींद- रहती हर गतिविधी पर नजर

डिजिटल डेस्क, नागपुर। कलमना थाने से लगभग दो किलोमीटर की दूरी पर स्थित ओम साई नगर शहर के लिए अनोखा उदाहरण बनने जा रहा है। इस क्षेत्र की एक बस्ती के लोग आए दिन हो रही चोरी की वारदातों से त्रस्त थे। हर जगह गुहार लगाई, लेकिन जब उचित व्यवस्था नहीं हो पाई तो सबने मिल कर एक तरकीब निकाली। चंदा जमा किया और परिसर को सीसीटीवी कैमरे की सुरक्षा दी। बस्ती में लगभग 250 लोग रहते हैं। कुछ मेहनत-मजदूरी करते हैं तो कुछ मध्यमवर्गीय लोग भी हैं।  

इसलिए पड़ी जरूरत
आए दिन घटित चोरी की वारदातों से बस्ती के लोग बहुत त्रस्त थे। एक महीने में दो बार घर में तोड़-फोड़ और दो जगहों पर गाड़ी के टायर चोरी हुए। शिकायत कलमना पुलिस थाने में दर्ज करने के बावजूद चोरी पर नियंत्रण नहीं लग सका। अंतत: पार्षद निरंजना महेश पाटील ने अनोखी पहल की। नाना भाऊ महेश बावने, अतुल राऊत, जनुल, गणेश, प्रदीप आदि ने 3 हजार रुपए चंदा जमा किया। जो लोग आर्थिक रूप से सक्षम नहीं थे, उनसे चंदा नहीं लिया गया। फिर भी कुछ लोगों ने अपनी आर्थिक स्थिति के अनुसार इसमें योगदान दिया है। करीब दो महीने पहले 8 कैमरे खरीदे गए।  

घर को बनाया कंट्रोल रुम  
सामाजिक कार्यकर्ता विलाम बावणे के घर को कंट्रोल रूम बनाया गया है। वहीं से बैठे-बैठे बस्ती की हर गतिविधि को देखा जा सकता है। इसके अलावा बस्ती के अधिकांश लोगों के मोबाइल से वाई-फाई को जोड़ा गया है। 

इन दिनों चारों तरफ निर्माण कार्य जारी है। इन कार्यों में विकास की झलक तो दिखती है, पर वाहनधारक व पैदल राहगीर परेशान हो रहे हैं। वही दूसरी ओर शहर की सुरक्षा भी खतरे में पड़ी है। दरअसल शहर में लगाये सीसीटीवी कैमरों में इन दिनों 304 कैमरे बंद कर रखे हैं। कई जगह तो इन्हें निकाल ही दिया गया है। हालांकि संबंधित विभाग के अनुसार, काम खत्म होने के बाद कैमरों को लगाया जाना है। 

700 चौराहों पर लगे हैं कैमरे
नागपुर शहर में गत एक वर्ष में अनेक चौराहों और संवेदनशील स्थानों पर नजर रखने के लिए सीसीटीवी कैमरे लगाए गए हैं। कैमरों से लैस चौराहों की संख्या 700 बताई जाती है। अभी तक इन कैमरों के माध्यम से 2 लाख 86 हजार 3 सौ 38 लोगों की तस्वीरें निकाली गई हैं। वहीं 1 लाख 39 हजार से ज्यादा को चालान भी भेजा गया है। 

हर गतिविधियों पर रहती है नजर
इन कैमरों का उपयोग केवल चालान बनाने के लिए ही नहीं, बल्कि रास्ते पर होनेवाली आपराधिक गतिविधियों पर नजर रखने के लिए भी किया जाता है। अपहरण जैसे मामलों में भी इन्हीं कैमरों से पुलिस को ठोस सुराग मिलने लगे हैं। शहर में 3912 कैमरे प्रस्तावित हैं। अब तक 3682 कैमरे लगाए जा चुके हैं। जानकारी के अनुसार, इन दिनों इसमें 3378 कैमरे ही काम कर रहे हैं। 304 कैमरे अभी बंद हैं। शहर के सदर, बर्डी, कॉटन मार्केट, रेलवे स्टेशन, सिविल लाइंस परिसर में मेट्रो, राष्ट्रीय महामार्ग के निर्माणकार्य के अलावा कई सार्वजनिक निर्माण विभाग व मनपा की ओर से भी काम चल रहे हैं। ऐसे में उक्त 304 कैमरों को बंद कर रखा है। कई जगहों पर इन कैमरों को निकाला गया है। काम पूरे होने के बाद इन्हें लगाने के बारे में बताया जा रहा है। 

Created On :   20 Dec 2018 12:38 PM GMT

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