वायरल वीडियो में पीपीई किट में बंद शख्स को लेकर परिवार ने किया पिता होने का दावा

After Seen a Viral video, Family claims to be father in PPE kit
वायरल वीडियो में पीपीई किट में बंद शख्स को लेकर परिवार ने किया पिता होने का दावा
वायरल वीडियो में पीपीई किट में बंद शख्स को लेकर परिवार ने किया पिता होने का दावा

डिजिटल डेस्क, मुंबई। शमशान गृह में खड़ी शववाहिनी में पीपीई किट में बंद जीवित व्यक्ति का जो वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ था उस मामले में नया मोड़ आ गया है। विजय गुप्ता नाम के एक व्यक्ति का दावा है कि वीडियो में दिख रहा व्यक्ति उनके पिता रामशरण गुप्ता हैं। बांद्रा पुलिस स्टेशन में मामले की लिखित शिकायत करते हुए विजय ने दावा किया है कि पिछले साल जून महीने में कोरोना के इलाज के लिए अस्पताल में भर्ती उनके पिता को मृत बातकर उनका शव परिवार को सौंप दिया गया था। परिवार ने अस्पताल वालों से कहा कि उनके पिता का कद काठी और मृतक की कद काठी मेंं अंतर हैं वे चेहरा देखना चाहते हैं लेकिन कोरोना से मौत का हवाला देते हुए इसकी इजाजत नहीं दी गई और परिवार को मजबूरी में अंतिम संस्कार करना पड़ा। वायरल वीडियो देखने के बाद परिवार का दावा है कि वह रामशरण गुप्ता हैं। परिवार को उम्मीद जगी है कि वे जिंदा हो सकते हैं इसलिए मामले की शिकायत पुलिस से करते हुए उन्हें खोजने की मांग की गई है। 

गुप्ता की उल्हासनगर में रहने वाली बेटी निर्मला गुप्ता ने बताया कि उनके पिता चेंबूर इलाके में परिवार के रहते थे। निमोनिया की शिकायत के बाद उन्हें पिछले साल 24 जून को चेंबूर के निजी अस्पताल में भर्ती कराया गया था लेकिन जांच में कोरोना संक्रमण की पुष्टि हुई तो 27 जून को उन्हें बांद्रा के भाभा अस्पताल में दाखिल करा दिया गया। 29 जून को परिवार को बताया गया कि उनकी मौत हो गई। परिवार को अंतिम संस्कार के लिए स्मशान भूमि में बुलाया गया। परिवार के लोगों ने बताया कि रामशरण की लंबाई ज्यादा थी जबकि मृतक की लंबाई कम लग रही है लेकिन कर्मचारियों नेे उन्हें नियमों का हवाला देते हुए चेहरा देखने की इजाजत नहीं दी। अब सोशल मीडिया पर वायरल तस्वीर देखकर परिवार को उम्मीद जगी है कि रामशरण जिंदा हो सकते हैं इसलिए वे पुलिस से मामले की छानबीन की मांग कर रहे हैं।

बांद्रा के सीनियर इंस्पेक्टर निखिल कापसे ने शिकायत मिलने की पुष्टि करते हुए बताया कि मामले की छानबीन की जा रही है। बता दें कि यह वीडियो ट्वीट करने वाले मुंबई भाजपा के प्रवक्ता सुरेश नाखुआ के खिलाफ बीएमसी की शिकायत पर भोईवाडा पुलिस ने एफआईआर दर्ज की है। बीएमसी का दावा है कि वीडियो मुंबई का नहीं हैं। उसने नाखुआ पर बदनाम करने और अफवाह फैलाने का आरोप लगाया है। वीडियो के बारे में ज्यादा जानकारी न होने के चलते नाखुआ को भी मामले में माफी मांगनी पड़ी। लेकिन अगर गुप्ता परिवार का दावा सही है तो बीएमसी मुश्किल में पड़ सकती है।

Created On :   23 April 2021 3:37 PM GMT

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