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प्लाट की रजिस्ट्री कर शासकीय जमींन को पजेशन में देने का आरोप
डिजिटल डेस्क,पन्ना। जिले में सक्रिय भू-माफिया कालोनाईजर मनमाने तरीके से जमींन की खरीद-फरोख्त कर रहे है। क्रेताओं को कालोनाईजरों से धोखाधड़ी का सामना करना पड़ रहा है। जिस जमीन पर प्लाट की रजिस्ट्री करके क्रेताओं से लाखों रूपये वसूल किये जाते है उन क्रेताओं में से कई क्रेताओं के साथ धोखाधड़ी करते हुये प्लाट का पजेशन दूसरी जमीन पर दे दिया जाता है जो कि उनकी नही होती है। इस तरह प्लाटों की बिक्री के पजेशन में धोखाधड़ी करके देवेन्द्रनगर में सरकारी जमीन को कालोनाईजर द्वारा बेंच दिये जाने के आरोप लगेे है। पीडि़त क्रेता को जब कालोनाईजर द्वारा की गई धोखाधड़ी की जानकारी हुई तो क्रेता संतोष कुमार चौधरी पिता कंधी लाल चोैधरी द्वारा थाना प्रभारी को इसकी लिखित शिकायत करके कार्यवाही की मांग की है। पीडि़त शिकायकर्ता संतोष चौधरी ने अपने आवेदन पत्र में बताया कि उसने वर्ष २०२१ में देवेन्द्रनगर निवासी सुनील कुमार जैन हरियंत इन्फ्राटेक कंपनी से ३० बाई ४० वर्ग फुट का प्लाट ४२५ वर्ग फुट की दर से सौदकर कुल ०५ लाख १० हजार रूपये में क्रय करते हुये दो चेकों में राशि जमा करवाई। जिस पर कंपनी के पार्टनरों द्वारा ८३१ के ११ जुज भाग में दिनांक ३० जुलाई २०२१ को रजिस्ट्री करवाई गई। जिसका नामांतरण २७ सितंबर २०२१ को तहसील न्यायालय द्वारा करते हुये ऋण पुस्तिका जारी की गई। कंपनी के पार्टनर सुनील जैन द्वारा चूना डालकर सीमाकंन करार कर प्लाट को उसके अधिपत्य में दिया गया जिस पर निर्माण कार्य उसके द्वारा प्रारंभ किया तब तहसील द्वारा किसी व्यक्ति की आपत्ति पर प्लाट की जमीन पर जिस पर वह पजेशन के बाद मकान बना रहा है सरकारी जमींन बताते हुये रोक लगा दी गई र्है। शिकायकर्ता का आरोप है कि कालोनाईजरों द्वारा उसे क्रय की गई भूमि स्थल पर पजेशन न देकर दूसरे स्थान पर पजेशन दिया गया है। जिससे उसे परेशानी हो रही है शिकायतकर्ता ने थाना प्रभारी से कार्यवाही करने की मांग की गई है।
कालोनाईजर की अपनी सफाई
वहीं उक्त पूरे मामले को लेकर विक्रेता सुनील जैन पार्टनर इन्फ्राटेक कंपनी ने मीडिया को बताया कि उक्त जमींन में कोई विवाद नही है जमींन हमारी कंपनी के नाम है। हमारे द्वारा विधिवत रजिस्ट्री करवाकर नामातंरण कराया गया है। अनावश्यक रूप से झूठी शिकायत करके बदनाम किया जा रहा है। पूर्व विधिवत रूप से जमींन का सीमाकंन भी किया गया था फिर भी हमारे द्वारा कलेक्टर भू-अभिलेख शाखा में ईटीएस मशीन से सीमाकंन कराये जाने का आवेदन लगाया गया है। जिससे सीमाकंन हो जायेगा और जमीन का निराकरण हो जायेगा। हमारा उद्देश्य किसी के साथ धोखाधड़ी करना नही है। जो शासकीय जमीन है उससे दूर है उस पर अवैध कब्जा कर लोगो ने अपने मकान भी बना लिये है।
Created On :   25 April 2022 5:09 PM IST